Allahabad: हर यूनिवर्सिटी की अपनी एक अलग पहचान व क्वालिटी होती है. उसकी दूसरी यूनिवर्सिटी से कभी तुलना नहीं करनी चाहिए. कुछ ऐसी ही सोच रखते हैं इलाहाबाद यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर प्रो. एके सिंह. ट्यूजडे को विशेष बातचीत के दौरान उन्होंने एयू के लिए अब तक की गई प्लानिंग पर चर्चा की. अपने विजन को क्लियर करते हुए उन्होंने कहा कि इलाहाबाद यूनिवर्सिटी को नई ऊंचाई तक ले जाना उनका सपना है. इसे वे रिसर्च और एकेडमिक एक्सेलेंसी के दम पर पूरा करना चाहते हैं.

ये है पहली कोशिश

प्रो। सिंह ने बताया कि उनकी पहली कोशिश डिफरेंट कोर्सेज में क्रेडिट सिस्टम को लागू करना है। कुछ कोर्स के साथ इसकी शुरुआत भी हो चुकी है। पीएचडी व पीजी कोर्स के अलावा यूजी में भी क्रेडिट सिस्टम लागू करना उनके सपनों में शामिल है। उनका मानना है कि इस सिस्टम के थ्रू स्टूडेंट्स को और भी काबिल बनाया जा सकता है। रिसर्च क्वालिटी बेस्ड हो, इसके लिए कोर्स वर्क का कांसेप्ट अपनाया जाएगा। यूनिवर्सिटी में स्कूल ऑफ हेल्थ एंड साइंसेज, स्कूल ऑफ इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी व स्कूल ऑफ लीडरशिप एंड डेवलपमेंट जैसे अन्य कई फैकल्टी शुरुआत करने की भी प्लानिंग है।

 ये है credit system

इसके तहत बीए या फिर बीएससी के स्टूडेंट, जो अपने सब्जेक्ट के अलावा अन्य दूसरे सब्जेक्ट की स्टडी करना चाहेंगे, को फैसिलिटी प्रोवाइड कराई जाएगी। अन्य दूसरे सब्जेक्ट की उन्हें कम से कम 26 क्रेडिट की स्टडी करनी होगी। इन स्टूडेंट्स को बीए या बीएससी माइनर की डिग्री दी जाएगी। इसके अलावा उन स्टूडेंट्स को बीए या बीएससी मेजर की डिग्री दी जाएगी, जो अपने कोर्स संबंधित सब्जेक्ट का गहराई से स्टडी करेंगे।

 PG से शुरू होगा research

क्वालिटी बेस्ट एजुकेशन के लिए पीजी कोर्सेज को भी रिसर्च बेस्ड बनाया जाएगा। चार सेमेस्टर वाले कोर्स में तीन सेमेस्टर तक तो पीजी की पढ़ाई होगी, लेकिन लास्ट यानी चौथे सेमेस्टर में स्टूडेंट को उसके सब्जेक्ट से संबंधित रिसर्च बेस्ड स्टडी कराई जाएगी। जिससे स्टूडेंट्स को फ्यूचर में रिसर्च वर्क करने में कोई प्रॉब्लम न हो।

Posted By: Inextlive