ALLAHABAD: एडमिनिस्ट्रेशन भी इस बात को समझता है कि सिर्फ अवेयरनेस से काम नहीं चल पाएगा सख्ती भी उतनी ही जरूरी है. ऐसे में एडमिनिस्ट्रेशन ने साफ निर्देश दिए हैं कि जिन स्कूलों में बिना हेलमेट और ड्राइविंग लाइसेंस के स्टूडेंट्स को इंट्री दी जाएंगी उन स्कूलों की एनओसी यानी नो ऑब्जेक्शन सर्टिफिकेट को समाप्त कर दिया जाएगा. डीआईओएस महेंद्र सिंह ने कहा कि एजुकेशन डिपार्टमेंट एडमिनिस्ट्रेशन व ट्रैफिक पुलिस के ऑफिसर्स की टीम द्वारा स्कूलों में रेंडम चेकिंग किया जाएगा. जिन स्कूलों में नाम्र्स फॉलो होते हुए नहीं मिलेगा उन स्कूलों के अगेंस्ट सख्त एक्शन लिया जाएगा. डीआईओएस ने बताया कि डीएम राजशेखर ने इस बारे में निर्देश जारी कर दिए हैं.

 

स्कूलों के बाद parents को किया जाएगा aware

डीएम ने स्कूल प्रबंधक व प्रिसिंपल के साथ सैटरडेट को मीटिंग की थी, जिसके बाद अब डिफरेंट स्कूलों में स्टडी करने वाले बच्चों के पैरेंट्स को मीटिंग के लिए कॉल किया गया है। जिसमें हर हाल में बच्चों को सख्ती से रूल्स फॉलो करवाने के लिए पैरेंट्स को अवेयर किया जाएगा। दरअसल, स्कूल प्रबंधकों ने डीएम की मीटिंग में यह बात रखी कि इस रूल्स को प्रॉपरली फॉलो करने के लिए पैरेंट्स को अवेयर होना जरूरी है। क्योंकि जब तक वह बच्चों के हेलमेट व लाइसेंस के इश्यू पर सीरियस नहीं होंगे तब तक स्टूडेंट्स सख्ती से रूल्स फॉलो नहीं करेंगे। इसके बाद डीएम ने स्कूलों के अभिभावक एसोसिएशन को भी मीटिंग के लिए कॉल किया गया है।

 सिर्फ कागजी नहीं जमीनी असर देखेगी टीम

घर से बाइक से स्कूल आने वाले स्टूडेंट्स के पैरेंट्स को रिटेन वेरिफिकेशन देने का काम स्टार्ट कर दिया गया है। इसमें यह बात मेंशन करनी होगी कि वह अपने बच्चों को बाइक से स्कूल जाने की परमिशन देते हैं। बीएचएस के प्रिसिंपल डेविड ल्यूक ने बताया कि हमने सभी पैरेंट्स को प्रोफार्मा बनवाकर भेज दिया है। प्रोफार्मा में यह भी मेंशन किया गया है कि इस प्रोफार्मा के साथ लाइसेंस की फोटो कॉपी को अटैच्ड किया जाए। इस संबंध में डीआईओएस ने कहा कि सिर्फ पैरेंट्स का वेरीफिकेशन जमा करके स्कूल प्रबंधक अपनी जिम्मेदारी से नहीं बच सकते हैं। उनको रेगुलर यह चेक करना होगा कि स्कूल के भीतर कोई भी स्टूडेंट्स बिना लीगल डाक्यूमेंट और हेलमेट के इंट्री नहीं कर रहा है। स्कूल प्रबंधक की यह रेगुलर जिम्मेदारी है।

 स्कूल regular उठाएगा awareness के step

डीआईओएस ने बताया कि सभी स्कूलों को इस बात के सख्त निर्देश दिए गए हैं कि वह बराबर स्कूलों में अवेयरनेस कैंपेन चलाए। पर डे प्रेयर के दौरान व अन्य प्रोग्राम के दौरान ट्रैफिक रूल्स के प्रति बच्चों को अवेयर किया जाए। उन्होंने बताया कि स्कूल पैरेंट्स मीटिंग के दौरान पैरेंट्स को भी यह कहेगा कि स्टूडेंट्स सीरियसली ट्रैफिक रूल्स को फॉलो करवाएं।

 

Posted By: Inextlive