गोरखपुर में स्मैक और गांजा का कारोबार धड़ल्ले से चल रहा है. वह कहीं और नहीं बल्कि सिटी के राजघाट व खोराबार थाना क्षेत्र में. टीपी नगर पुलिस चौकी के अंतर्गत 500 मीटर दूरी पर मासूमों से 150 रुपए में स्मैक की पुडिय़ा बिकवाई जा रही है. दैनिक जागरण आईनेक्स्ट टीम राजघाट थाना अंतर्गत अमरूद की बगिया में स्मैक कारोबारियों के पास पहुंची. टीम के पहुंचने के बाद पता चला कि इस कारोबार में महिलाओं और छोटे बच्चों का इस्तेमाल किया जा रहा है. जबकि इसके पीछे कहीं न कहीं बड़े सिंडिकेट का हाथ है. जो इसे ऑपरेट करा है और पुलिस के जिम्मेदार अधिकारी सबकुछ जानते हुए भी कार्रवाई के बजाय आंखें मूंद रखे हैैं.

(अमरेंद्र पाण्डेय).दरअसल, पिछले कई दिनों से डीजे आईनेक्स्ट के पास इस बात की कंप्लेंट आ रही थी कि राजघाट पुल के पास अमरूद का बगीचा है। जहां पर पुल से उतरते ही बगिया की तरफ जाने वाली सड़क पर गुमटी में स्मैक और गांजा आसानी से मिल जाता है। जब इस बात की तहकीकात करने डीजे आईनेक्स्ट की टीम टीपी नगर पुलिस चौकी के पास पहुंची तो चौकी की सड़क पर लाइन से खड़े ठेले वालों ने बताया कि बगिया की तरफ जाने वाली सड़क से उतरते ही नशे का सारा सामान मिल जाएगा। गुमटी पर जैसे ही रिपोर्टर ने पूछा कि स्मैक मिल जाएगा क्या। तभी 8 वर्ष के एक मासूम बच्चे ने हामी भरी और स्मैक के लिए 150 रुपए की डिमांड की।
रिपोर्टर: स्मैक मिल जाएगी क्या?
बच्चा: हां, मिल जाएगी।
रिपोर्टर: कितने की है?
बच्चा: 150 रुपए।
रिपोर्टर: कुछ कम नहीं करोगे?
बच्चा: नहीं, लेना है तो बताइए। वरना जाइए।
रिपोर्टर: रेट ज्यादा बता रहे हो। बहुत दूर से आए हैैं। कुछ कम कर दो।
बच्चा: पहले पैसा दीजिए, तभी आपको मिलेगा।
रिपोर्टर: ठीक है, 150 रुपए लो।
बच्चा: आपको कुछ देर रुकना होगा।
रिपोर्टर: कितने देर?
बच्चा: पांच मिनट।
रिपोर्टर: बहुत कम है। (बच्चा हाथ में देता है)
बच्चा: इतना ही रहता है। अब जाइए।
चुटकी भर स्मैक के लिए लगती भीड़
आईनेक्स्ट टीम जब दुकान पर पहुंची तो पहले से 4-5 लोग वहां मौजूद थे। जो नशे से झूम रहे थे। कुछ लुढ़कते हुए वापस आ रहे थे तो कुछ वहीं नशे की पुडिय़ा के लिए जूझ रहे थे। इस कारोबार में न तो कोई पुरुष सामने आया और ना ही इसका मेन सरगना। एक छोटे से बच्चे से इस कारोबार को डील करवाया जा रहा था। वहां देखने में सामने आया कि चुटकी भर स्मैक बेचने के लिए बच्चे धड़ल्ले से बात करते हैं।
महिलाएं और बच्चे बने कैरियर
बातचीत में रिपोर्टर को पता चला कि यह स्मैक बिहार, बाराबंकी, कोलकाता आदि जगहों से भारी पैमाने पर आती है। सारा माल सब्जी और फल के वाहनों में छुपाकर लाते हैैं, जिसमें कैरियर का काम महिलाएं और बच्चे ही करते हैैं।
एक्सपर्ट कमेंट
नशे से रहें दूर
साइक्लोजिस्ट श्वेता जॉन बताती हैैं कि ड्रग्स एडक्टिेड व्यक्ति को बाद में ड्रग एब्यूज कहा जाता है। ड्रग एब्यूज की वजह से कई तरह के मस्तिष्क विकार होते हैं। जैसे पैरानोइया, अवसाद, चिंता, अतिक्रमण, विभ्रांति और साथ ही साथ हार्ट की प्राब्लम बढ़ जाती है। इसके लिए चार फैक्टर होते हैैं। अत्यधिक तनावग्रस्त स्थितियों में अपने परिवार के साथ बैठें। उनसे अपनी समस्या को शेयर करें। मन की सारी परेशानियों के बारे में बात करें। शुरुआती उम्र में बच्चों पर पेरेंट्स को भी ध्यान देने की जरूरत है। किसी अच्छे काउंसलर या थेरेपिस्ट की मदद लें। बच्चों की परेशानियों को सुनकर, उन्हें समझे और उसे शॉर्ट आउट करने की कोशिश करें।
कब-कब पकड़े गए स्मैक तस्कर
1. मार्च 2022 में एसटीएफ लखनऊ की टीम को सूचना मिली थी कि बाराबंकी जिले के युवक मादक पार्थ की तस्करी में लिप्त हैं। कार से यह लोग स्मैक, ब्राउन शुगर को नेपाल व बिहार ले जाते हैैं। एसटीएफ गोरखपुर के दारोगा आलोक राय ने अपनी टीम के साथ नंदानगर में घेराबंदी कर कार सवार चार तस्करों को दबोच लिया था। करीब ढाई करोड़ रुपए की स्मैक बरामद की थी।
2. जून 2021 में कैंट पुलिस ने 18 ग्राम स्मैक के साथ तीन युवकों को गिरफ्तार किया था। पकड़े गए आरोपित फेरे लगाकर मोहल्ले में स्मैक बेचते थे। कपड़े की गठरी साथ में होने की वजह से पुलिस संदेह नहीं करती थी, लेकिन कैंट पुलिस को सूचना मिली थी की फर्रुखाबाद और कुशीनगर जिले के रहने वाले बदमाश फेरी लगाकर स्मैक बेचते हैैं। प्रभारी निरीक्षक कैंट ने रेलवे स्टेशन के पास तीन युवकों गिरफ्तार कर उन पर एनडीपीएस एक्ट के तहत केस दर्ज किया था।
3. मार्च 2019 में खोराबार पुलिस ने महेवा फलमंडी के पास चल रहे स्मैक के धंधे का पर्दाफाश किया था। पुलिस ने मौके से महेवा निवासी दो सगे भाइयों राजू और प्रदीप निषाद को गिरफ्तार किया था। इनके पास से 196 ग्राम स्मैक, 33 मोबाइल फोन और 2.05 लाख रुपए बरामद किए थे।
राजघाट थाना क्षेत्र में इस तरह का नशे का कारोबार चल रहा है। इसके लिए दबिश दी जाएगी। जो भी इस कारोबार में संलिप्त हैैं, उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
कृष्ण कुमार विश्नोई, एसपी सिटी

Photo by- Pranjal Sahu

Posted By: Inextlive