- 15 जनवरी से एम वाहन एप के जरिए शुरू होगी वाहनों की फिटनेस

- रियल टाइम फिटनेस व लोकेशन के साथ वाहनों की होगी जांच

- सर्विस सेंटर के 500 मीटर के दायरे पर वाहन होना जरूरी

- दायरे से बाहर होने पर वाहन की फोटो अपलोड न होकर एप उसे कैंसिल कर देगा

GORAKHPUR: चुनिंदा शहरों में एम वाहन एप पर वाहनों की फिटनेस की शुरुआत हुई है। गोरखपुर आरटीओ भी इस कतार में शामिल था, लेकिन तैयारियां पूरी न होने और टेक्निकल कारणों से यह व्यवस्था अब 15 जनवरी को लागू हो जाएगी। जहां पहले मैनुअल तरीके से आरटीओ में वाहनों की फिटनेस प्रक्रिया पूरी की जाती थी। वाहन मालिकों को गाड़ी के साथ पेपर लेकर आना पड़ता था। यह सुविधा लागू होने पर उन्हें इस झंझट से छुटकारा मिल सकेगा।

वाहन मौके पर पहुंचना अनिवार्य

मिली जानकारी के अनुसार अब वाहनों के फिटनेस सर्टिफिकेट जारी करने में फर्जीवाड़ा नहीं हो सकेगा। फोर व्हीलर वाहनों का फिटनेस एप के माध्यम से होगा। इसके लिए शासन ने एम वाहन एप तैयार कर लिया गया है। हेडक्वार्टर की पहल पर एनआईसी के जरिए एप तैयार किया गया है। यह नई व्यवस्था गोरखपुर में 15 जनवरी से शुरू हो जाएगी। जिसमें वाहनों का मौके पर ही पहुंचना अनिवार्य होगा। वाहनों को देखने और एप पर लाइव तस्वीरें लोड करने के बाद ही संबंधित अधिकारी और कर्मचारी फिटनेस सर्टिफिकेट जारी कर सकेंगे।

अब नहीं हो सकेगा काम में झोल

आरटीओ में वाहनों के फिटनेस जांच के नाम पर सिर्फ खानापूर्ति होती है। वाहन कहीं भी हो लेकिन उनका फिटनेस सर्टिफिकेट आसानी से जारी कर दिया जाता है। फिटनेस जारी होने के बाद भी अनफिट वाहनों सड़कों पर दौड़ती है। इतना ही नहीं आरटीओ में फिटनेस को लेकर कई दिनों तक वाहन स्वामी को चक्कर भी लगाने पड़ते थे। यह व्यवस्था लागू होने से अब वाहन स्वामी को सुविधा मिलेगी।

यह होगे मुख्य फायदे

- डिपार्टमेंट के एम वाहन एप को करें अपलोड।

- गाड़ी जांच के दौरान सेंटर पर होना जरूरी होगा

- फोटो के साि रियल टाइम लोकेशन और फिटनेस सुनिश्चित कराया जाना

- शिकायत होने पर हेडक्वाटर से सीधे देखा जा सकेगा

- फिटनेस सेंटर पर बिना वाहन ले जाए प्रमाण पत्र जारी किए जाने की शिकायतें अक्सर मिलती थी

- वाहन ग्लोबल पोजिशनिंग सिस्टम यानी जीपीएस से भी संबद्ध होगा

- जो वाहन की लोकेशन बताएगा

- फिटनेस की जो डेट मिलेगी एस तारीख में वाहन स्वामी एआरटीओ कार्यालय के फिटनेस सेंटर पर ले जाएगे

- वाहन सामने होने से उसका नंबर फोटो, चेचिस नंबर, किसके नाम गाड़ी है आदि वाहन संबंधित सभी जरूरी चीजें भरी जाएंगी।

- एम वाहन एप से पूरी तरह पेपर लेस होगा काम।

एम वाहन एप लॉच होने से काफी सहूलियत मिलेगी। जहां वाहनों का फिटनेस मैनुअल होता था, अब पेपर लेस होगा। वाहन स्वामी को भी इसका फायदा मिलेगा। अभी कुछ चुनिंदा शहरों में ही यह व्यवस्था है। उम्मीद है कि 15 जनवरी से गोरखपुर आरटीओ में भी यह सिस्टम लागू हो जाएगा।

श्याम लाल, एआरटीओ गोरखपुर

Posted By: Inextlive