सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा कि जंगल कौडिय़ा और चरगांवा सीएचसी में खुले मिनी पीकू से लगभग पांच लाख की आबादी को राहत मिलेगी.

गोरखपुर (ब्यूरो)।उन्होंने उम्मीद जताई कि अगले तीन माह में शेष 15 सीएचसी पर भी मिनी पीकू की स्थापना हो जाएगी। जंगल कौडिय़ा सीएचसी में सोमवार को आयोजित मिनी पीकू के उद्घाटन समारोह को संबोधित करते हुए सीएम ने कहा कि 31 वर्ष से बंद चल रहे खाद कारखाना को पीएम नरेंद्र मोदी ने नया जीवन दिया।

#Gorakhpur पीडियाट्रिक ICU के उद्घाटन कार्यक्रम में पहुंचे सीएम योगी। साथ में दिखे सांसद रवि किशन।#GorakhpurNews @myogiadityanath @ravikishann
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— inextlive (@inextlive) March 6, 2023


इस कारखाने का निर्माण हिंदुस्तान उर्वरक एवं रसायन लिमिटेड (एचयूआरएल) ने किया है। यह कारखाना अपनी क्षमता का सौ प्रतिशत उत्पादन भी कर रहा है। उत्तर प्रदेश, बिहार समेत अन्य राज्यों को खाद भेजी जा रही है। पिछले एक वर्षों से किसानों के सामने खाद की किल्लत खत्म हो गई है। एचयूआरएल खाद उत्पादन के अलावा अपने सामाजिक दायित्वों का निर्वहन भी कर रहा है। इसी क्रम में 17 सीएचसी पर मिनी पीकू के निर्माण का निर्णय लिया गया है, जिसमें से जंगल कौडिय़ा व चरगांवा में निर्माण पूरा हो गया है।
स्वास्थ्य सुविधाओं में वृद्धि
सीएम ने कहा, यहां पीकू की बड़ी आवश्यकता थी। इस क्षेत्र ने लंबे समय तक मस्तिष्क ज्वर को झेला है। 1977-78 से लेकर 2017 तक 50 हजार बच्चों की मौत हुई। 2017 में सरकार ने स्वास्थ्य सुविधाओं में वृद्धि की। मिनी पिंकू का निर्माण कराया गया। विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान अन्य अभियानों की वजह से स्वच्छता के प्रति जागरुकता पैदा की गई। इससे इंसेफलाइटिस से मौत पर 96 परसेंट तक नियंत्रण हो गया है। पहले प्रतिवर्ष 12 से 15 सौ मौतें होती थी, अब यह संख्या लगभग शून्य पर पहुंच चुकी है।

Posted By: Inextlive