- कोविड-19 लैब के टेक्नीशियन की जेआर ने की पिटाई

- विरोध में धरने प्रदर्शन पर बैठे लैब टेक्निशियन

GORAKHPUR: बीआरडी मेडिकल कॉलेज के जूनियर डॉक्टर्स अब किसी के काबू में नहीं हैं। आए दिन तीमारदारों को पीटकर चर्चा में बने रहने वाले जूनियर डॉक्टर्स अब अपनी हद से आगे बढ़ने लग गए हैं। बुधवार को उन्होंने माइक्रोबायोलॉजी के कोविड-19 लैब में ड्यूटी कर रहे लैब टेक्नीशियन को ही पीट दिया। हॉकी-डंडे से धुनाई की, तो वहीं लैब के सामानों को भी नहीं नहीं छोड़ा। देर रात का मामला होने की वजह से सुबह खूब हंगामा हुआ। पिटाई के बाद सभी लैब टेक्नीशियन जूनियर रेजीडेंट के खिलाफ कारर्वाई के मांग पर उतर गए और धरने पर बैठ गए। फिलहाल जिम्मेदार सिर्फ माफी मांगकर किनारा कर चुके हैं, जबकि कार्रवाई न होने से जेआर के हौसले बुलंद हैं। अब सवाल यह उठता है कि अब तक सिर्फ तीमारदारों को पीटने वाले इन डॉक्टर्स की इस मनबढ़ी को काबू कौन करेगा। पढ़ने-पढ़ाने और लोगों का इलाज करने के लिए बने इस मेडिकल कॉलेज में आखिर मारने-पीटने का इलाज कब होगा।

विभाग में कराना चाह रही थी कोरोना जांच

मेडिकल कॉलेज में सर्जरी के जूनियर डॉक्टर्स ने मारपीट की। मंगलवार देर रात 2 बजे के करीब कोरोना जांच के नाम पर जूनियर डॉक्टर्स ने लैब टेक्नीशियन वीरेंद्र मौर्या को इस कदर पीट दिया कि पीठ पर खून निकल गया। इस घटना के बाद से ही सारे लैब टेक्नीशियन लामबंद हो गए। उनका आरोप था कि सर्जरी की एक महिला डॉक्टर विभाग वार्ड में ही कोरोना जांच कराना चाह रही थी, इसके लिए जब उनसे कहा गया कि वह प्रिंसिपल से इसका आदेश करा लें। इस पर वह भड़क गई और जबरन जांच कराने का दबाव बनाने लगी। विरोध पर गाली भी दी। इसके साथ ही हॉस्टल से अन्य जूनियर डॉक्टर्स को बुला लिया।

डाक्टर्स ने की रात में पिटाई

जूनियर डॉक्टर्स ने आते ही लैब टेक्नीशियन को बुरी तरह पीटना शुरू कर दिया। लैब में तोड़फोड़ भी की। साथ ही एलटी का मोबाइल भी तोड़ दिया। इसकी जानकारी जैसे ही सुबह अन्य लैब टेक्नीशियन को हुई। वह विरोध में कामकाज ठप करते हुए प्रिंसिपल ऑफिस के पास धरने पर बैठ गए। सभी लैब टेक्नीशियन ने जूनियर डॉक्टरों के खिलाफ नारेबाजी शुरू कर दी। सूचना पर मेडिकल कालेज चौकी की पुलिस भी धरना स्थल पर पहुंच गई है। खबर लिखे जाने तक जूनियर डाक्टरों के खिलाफ कार्रवाई नहीं हुई थी।

बीआरडी मेडिकल कॉलेज में होती रहती है मारपीट

26 अगस्त 2020 - वार्ड नंबर 14 में एक महिला को लेकर उसका बेटा पहुंचा था। इलाज के दौरान किसी बात को लेकर विवाद हुआ और डॉक्टर्स व कर्मचारियों ने मिलकर मां के बेटे की पिटाई कर दी। तीमारदार का आरोप था कि डाक्टर्स ने मां का इलाज भी नहीं किया। पीडि़त ने इसकी शिकायत सीएम से लेकर हेल्थ डिपार्टमेंट के मंत्री से की थी।

31 मई 2020 - मेडिकल कालेज के चार जूनियर डाक्टरों ने मरीज व तीमारदार का रविवार को सिर फोड़ दिया। लाठी-डंडे से तब तक मारते रहे जब तक दोनों बेहोश नहीं हो गए।

01 मार्च 2020 - मेडिकल कॉलेज के मेडिसिन विभाग वार्ड 14 में एक मरीज की हालत में सुधार न होने पर तीमारदार ने डॉक्टर से मरीज को रेफर करने को कहा। इसपर दोनों के बीच कहा-सुनी हो गई। जिसके बाद जूनियर डॉक्टरों ने तीमारदार को पीट दिया।

07 अक्टूबर 2019 - मेडिसिन वार्ड के जूनियर डॉक्टरों ने तीमारदारों की सिर्फ इसलिए पिटाई कर दी कि वह मरीज की सीटी स्कैन रिपोर्ट के आने से पहले उसे डिस्चार्ज किए जाने का विरोध कर रहे थे।

25 सितंबर 2019- मेडिसिन विभाग में भर्ती लक्ष्मी गुप्ता और उनके परिजनों को नर्स व जूनियर डॉक्टरो ने पीटा।

-25 जुलाई 2019- मेडिसिन वार्ड नंबर नौ में भर्ती रामदुलारे को जूनियर डॉक्टरों ने दौड़ा कर पीटा।

-12 मई 2019- मेडिसिन विभाग में इलाज के दौरान आनंद कुमार चौरसिया की मौत, परिजनों ने दोबारा जांच का अनुरोध किया तो जूनियर डाक्टरों ने पीटा।

-22 अप्रैल 2019- मेडिसिन वार्ड में इलाज के दौरान अंशू नाम के मरीज की मौत, परिजनों ने दोबारा जांच का अनुरोध किया तो जूनियर डॉक्टरों ने दौड़ा दौड़ा कर पीटा।

- 10 सितंबर 2018 सर्जरी वार्ड नंबर 4 में भर्ती आकांक्षा के पिता कोमल को जूनियर डॉक्टरों ने पीटा।

जूनियर रेजीडेंट के पिटाई के मामले से बीआरडी मेडिकल कॉलेज की छवि खराब हो रही है। कभी मरीज तो कभी लैब टेक्नीशियन के पिटाई के मामले सामने आ रहे हैं। मामले की जांच कराई जाएगी। इसमें जो भी दोषी होगा, उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।

- डॉ। गणेश कुमार, प्रिंसिपल, बीआरडी मेडिकल कॉलेज

Posted By: Inextlive