- कोरोना की वजह से लोगों ने मुर्गे से किया किनारा, ऑप्शन के तौर पर कटहल की डिमांड

- दो दिन में मार्केट से बिक गया 110 टन कटहल

कोरोना की वजह से लोगों ने मुर्गे से किया किनारा, ऑप्शन के तौर पर कटहल की डिमांड

- दो दिन में मार्केट से बिक गया क्क्0 टन कटहल

GORAKHPUR: GORAKHPUR: कोरोना को लेकर देश भर में दहशत का माहौल है। होली का जश्न भी इस माहौल में फीका पड़ने लगा है। मुर्गे की कीमतें भी लगातार नीचे आ रही हैं। कोरोना इफेक्ट के भ्रम से बड़ी तादाद में लोगों ने नॉनवेज से दूरी बना रखी है। मगर इन सबके बीच इस दहशत भरे माहौल में भी होली के जश्न को खुशनुमा बनाने का ऑप्शन ढूंढ लिया है। अब मटन-चिकन की जगह लोगों ने वेजिटेरियन नॉनवेज ऑप्शन कटहल को चुना है। इसके साथ ही मशरूम और पनीर की मांग भी मार्केट में काफी ज्यादा बढ़ गई है। यही वजह है कि पिछले दो दिनों में मार्केट में मुर्गे से भी महंगा कटहल की मांग रही। रविवार और सोमवार को मिलाकर थोक मंडी में पिछले सभी रिकॉर्ड को तोड़ते हुए क्क्0 टन कटहल की बिक्री हुई।

सब्जी मेन्यू में शामिल

महेवा स्थित सब्जी मंडी में कटहल की आवक खूब है। त्योहार में डिमांड के हिसाब से पहले ही बंगाल, केरल और उडि़सा से कटहल मंगाई गई थी। होली में इस सब्जी की डिमांड बढ़ जाती है हर साल होली में नॉनवेज पसंद करने वाले शिवपुर शहबाजगंज के प्रमोद सिंह का कहना है कि मंगलवार के दिन पूरा परिवार नॉनवेज से दूर रहता है। इसलिए इस बार मशरूम व कटहल की सब्जी को खाने की मेन्यू में शामिल किया है। घोषकंपनी के आकाश सिंह का कहना है कि कोरोना के कारण तो नहीं लेकिन मंगलवार का दिन होने से इस बार नॉनवेज नहीं खाएंगे। कई दोस्त मिलकर होली पर्व मनाते हैं, इस बार खाने में कटहल, मशरूम या पनीर को रखा गया है।

यह हैं सब्जियों के रेट्स -

-कटहल थोक मार्केट में - भ्0 रुपए प्रतिकिलो

- फुटकर में कटहल का रेट - क्00 रुपए प्रतिकिलो

- कटहल थोक बाजार में - ब्0 रुपए प्रतिकिलो की दर से

- मशरूम की कीमत - क्भ्0 से क्80

-पनीर की कीमत - ख्म्0 रुपए प्रति किलो

-मुर्गे की कीमत - 7भ् रुपए प्रति किलो

कड़कनाथ की बढ़ गई डिमांड

कोरोना वायरस के प्रभाव के चलते लोग पोल्ट्री आइटम से दूरी बना ली, लेकिन छत्तीसगढ़ के जंगलों में पाए जाने वाले कड़कनाथ मुर्गे की विकल्प के रूप में डिमांड गढ़ गई है। पोल्ट्री कारोबारी सुधीर सिंह के अनुसार इस मुर्गे में प्रतिरोधक क्षमता अधिक मानी जाती है। जिससे एक वर्ग इसे पसंद करता है। आमतौर पर इसकी बिक्री कम ही होती है। इस समय देसी मुर्गा भी बहुत कम मिला।

कोरोना वायरस की वजह से नॉनवेज से दूरी बना ली है। वहीं मंगल को काफी लोग नॉन वेज नहीं खाते हैं, इसलिए इस बार सब्जी का मेन्यू बनाया है।

राजेश

कोरोना वायरस के दहशत की वजह से इस आर नॉनवेज नहीं खाएंगे। सिर्फ घर में कटहल, मशरूम या पनीर को रखा गया है।

धर्मेद्र

मटन और मुर्गे को छोड़ कर लोग कटहल पसंद कर रहे हैं। इसलिए दो दिन से थोक मंडी में कटहल की डिमांड बढ़ गई हैं। करीब क्क्0 टन कटहल सेल हो गए हैं।

अवध गुप्ता, अध्यक्ष सब्जी-फल विक्रेता एसोसिएशन

Posted By: Inextlive