-पैसेंजर्स की फैसिलिटी के लिए तैयार होने लगे नए कोच

-गोरखपुर के साथ ही दूसरी ट्रेंस में लगाए जाएंगे कोच

GORAKHPUR: दिव्यांग और महिला पैसेंजर्स को अब नए एडवांस कोच में अपने लिए जगह नहीं तलाशनी पड़ेगी। उनके लिए खास जगह अलॉट होगी, जिसे किसी दूसरे को अलॉट नहीं किया जाएगा। वहीं जो एलएचबी रेक के जरिए ट्रेंस चलाई जा रही हैं, उनमें भी अब इन दोनों कैटेगरी के पैसेंजर्स के लिए ट्रेन में फिर से एक्स्ट्रा कोच लगाए जाएंगे। रेलवे बोर्ड ने अति आधुनिक लिंक हॉफमैन बुश (एलएचबी कोच) रेक वाली ट्रेनों के पॉवरकार (अंडर स्लंग पॉवर वैन) को महिला व दिव्यांग कोच से संबद्ध करने का फैसला लिया है। इसमें गा‌र्ड्स के अलावा महिला और दिव्यांग जनों के लिए स्लीपर के कुल 36 सीट रिजवर्1 होंगी।

पॉवरकार में दिव्यांगों के िलए दो बर्थ

जिम्मेदारों की मानें तो दिव्यांगों के लिए फिलहाल एलएचबी रेक में कोई व्यवस्था नहीं है, लेकिन अब ट्रेन के पीछे वाले पॉवरकार में दिव्यांगजनों के लिए नीचे के दो बर्थ रिजर्व होंगे। ऊपर के दो बर्थ उनके साथ चलने वाले सहचर के लिए रिजर्व रहेगा। इसके अलावा बैठने के लिए दो एक्स्ट्रा सीट्स की भी व्यवस्था रहेगी। महिला यात्रियों को बैठने के लिए 30 सीट निर्धारित रहेगी। दरअसल, एलएचबी कोच की रेक वाली ट्रेनों से महिला और दिव्यांग कोच गायब हो गए हैं।

गोरखधाम में 50 सीट रिजर्व

गोरखधाम, कुशीनगर और गोरखपुर-एलटीटी एक्सप्रेस में महिला और दिव्यांग यात्रियों को बैठने की जगह नहीं मिल पाती है। हालांकि, रेलवे प्रशासन ने गोरखधाम की भीड़ को देखते हुए सबसे पीछे वाले जनरल कोच में महिलाओं के लिए 50 सीट रिजर्व की है। नॉर्मल रेक वाली ट्रेन में अभी भी महिला व दिव्यांग कोच लगाए जाते हैं। फिलहाल, रेलवे बोर्ड की यात्री विपणन निदेशक शैली श्रीवास्तव ने सभी जोनल रेलवे को महिला और दिव्यांग यात्रियों को तत्काल राहत देने के लिए पॉवर कार में सीटों और बर्थो की व्यवस्था सुनिश्चित करने के लिए दिशा-निर्देश जारी कर ि1दया है।

वर्जन

रेलवे अब एलएचबी कोच में भी दिव्यांग और महिला कोच की व्यवस्था कर रहा है। पहले यह अलग से नहीं बनाई गई थी। जल्द ही ट्रेंस में इसका इस्तेमाल शुरू हो जाएगा।

-पंकज कुमार सिंह, सीपीआरओ, एनई रेलवे

Posted By: Inextlive