एक हफ्ते से लगातार सिटी में कोरोना संक्रमण के मामलों में तेजी आई है. बीतेे दो-तीन दिनों से रोज 100 से ज्यादा कोरोना संक्रमित शहर में मिल रहे है. कोरोना संक्रमितों के इलाज के लिए अभी शहर में 4 कोविड अस्पताल तैयार हैं 700 से ज्यादा संक्रमित हैलेकिन कोविड हॉस्पिटल्स अभी भी खाली हैं.

कानपुर(ब्यूरो)। एक हफ्ते से लगातार सिटी में कोरोना संक्रमण के मामलों में तेजी आई है। बीतेे दो-तीन दिनों से रोज 100 से ज्यादा कोरोना संक्रमित शहर में मिल रहे है। कोरोना संक्रमितों के इलाज के लिए अभी शहर में 4 कोविड अस्पताल तैयार हैं, 700 से ज्यादा संक्रमित है,लेकिन कोविड हॉस्पिटल्स अभी भी खाली हैं। संडे तक सिर्फ हैलेट अस्पताल में 7 संक्रमित भर्ती थे, जिसमें 5 प्रेगनेंट महिलाएं हैैं। बाकी पेशेंट होम आइसोलेशन में हैैं। इसकी बड़ी वजह है कि इस बार जो संक्रमित मिल रहे हैं। उनमें वायरस के बेहद हल्के लक्षण हैं। या फिर वह एसिम्टोमैटिक हैं।

कुछ में ही एंटी वायरल ड्रग
सिटी में कोरोना संक्रमण के लगातार बढ़ते मामलों के बीच राहत की एक बात यह भी है कि जो भी संक्रमित हो रहे हैं। उनमें कुछ में ही एंटी वायरल ड्रग चलाने की जरूरत पड़ी है। कोविड कंट्रोल रूम के नोडल ऑफिसर डॉ। राजेश्वर के मुताबिक जो पेशेंट्स कंसल्टेशन के लिए फोन कर रहे हैं। उन्हें पैरासीटामोल व एजिथ्रोमाइसिन की ही जरूरत पड़ी है। अभी तक आईवरमेक्टिन या अन्य दवाओं की जरूरत नहीं पड़ी है। फिर भी लापरवाही नहीं बरतने की सलाह दी जाती है। आईआईटी में ही अभी तक 80 से ज्यादा संक्रमित मिल चुके हैं, जिसमें से सिर्फ एक को ही एंटीवायरल ड्रग की जरूरत पड़ी है।


घर में कोरोना के इलाज की फैक्टफाइल-

69000 - से ज्यादा संक्रमित होम आइसोलेशन में हो चुके रिकवर
520 - संक्रमित मौजूदा समय में होम आइसोलेशन पर
87 - परसेंट संक्रमित रिकवर होने वाले घर में ही हुए ठीक
13.65 - परसेंट संक्रमित कुल मरीजों में जो अस्पताल में भर्ती होने के बाद हुए रिकवर।
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होम आइसोलेशन वाले पेशेंट्स में कैसे लक्षण।

- हल्की खांसी, शरीर में ज्यादा दर्द
- बिल्कुल हल्का बुखार, गले में खराश
- माइल्ड पेशेंट्स में 4 से 5 दिन बुखार
कौन अभी भी रिस्क जोन में-
- डायबिटीज, किडनी, लीवर और हार्ट प्रॉब्लम के पेशेंट
- लंग्स डिसीज वाले पेशेंट्स
- वैक्सीन नहीं लगवाने वाले
- एनीमिक और प्रेगनेंट महिलाएं
&& अभी जिन पेशेंट्स में कोरोना संक्रमण मिल रहा है। वह बेहद माइल्ड है। पेशेंट्स में ऑक्सीजन सेचुरेशन लेवल ठीक जा रहा है। सांस लेने में भी प्रॉब्लम नहीं है। इसकी एक बड़ी वजह वैक्सीन की सुरक्षा भी है, लेकिन हल्के लक्षणों के बाद भी सावधानी बरतना जरूरी है.&य&य
- डॉ.सौरभ अग्रवाल, एसोसिएट प्रोफेसर, मेडिसिन डिपार्टमेंट जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज

&& कोरोना संक्रमण को बिल्कुल भी हल्के में न लें। हल्के लक्षण होने पर भी जांच करा खुद को आइसोलेट करें। डॉक्टर की सलाह लेकर ही कोई दवा खाएं। नया वैरियंट ज्यादा तेजी से फैलता है। वैक्सीनेशन जरूर करवाएं.&य&य
- डॉ। शैलेंद्र तिवारी, सीनियर कंसल्टेंट, उर्सला अस्पताल

Posted By: Inextlive