अस्पतालों के बाहर लगने थे ब्लैक डस्टबिन, अभी तक नहीं लगे
- स्वच्छ भारत मिशन के अंतर्गत की गई थी तैयारी
- खतरनाक अपशिष्ट के लिए यूज में लाए जाएंगे ब्लैक डस्टबिन LUCKNOW अस्पतालों के बाहर ब्लैक डस्टबिन लगाए जाने की योजना थी लेकिन अभी यह योजना अमल में आते नहीं आ रही है। निगम प्रशासन को इस तरफ ध्यान दिए जाने की जरूरत है। इसलिए आते हैं उपयोग में अभी मास्क या दवाई के रैपर इधर-उधर फेंक दिए जाते हैं, जिसका जनता के स्वास्थ्य पर विपरीत असर देखने को मिलता है। इस समस्या को दूर करने के लिए अस्पतालों के बाहर ब्लैक डस्टबिन लगाए जाने की योजना तैयार की गई थी। रफ्तार की जरूरतस्वच्छ भारत मिशन के अंतर्गत आई गाइडलाइन के बाद ब्लैक डस्टबिन को लगाने के लिए तैयारियां भी शुरू कर दी गई थीं। हर जोन में ऐसे प्वाइंट का सर्वे भी कराया जा रहा था, जहां इन्हें लगाया जाना था। इन डस्टबिनों को प्रमुख मार्गो और सार्वजनिक स्थानों पर भी लगाने की तैयारी थी।
घरों में भी वितरणप्रमुख स्थानों, अस्पतालों के बाहर डस्टबिन लगवाने के बाद इन्हें घरों में भी बंटवाने की तैयारी की जा रही थी, जिससे घरों से निकलने वाले खतरनाक अपशिष्ट को इनमें डाला जा सके। इसके बाद बेहद सावधानीपूर्वक तरीके से इनसे वेस्ट कलेक्ट कर उसका निस्तारण कराया जाएगा।
बाक्स इस तरह होता है यूज ग्रीन डस्टबिन इसमें सड़ने वाले सामान जैसे फल, फूल और अंडे के छिलके आदि डाले जा सकते हैं। ब्लू डस्टबिन प्लास्टिक, पानी की बोतल, पॉलिथिन समेत न गलने वाली सामग्री को डाला जा सकता है। ब्लैक डस्टबिन इसमें खतरनाक अपशिष्ट डाले जा सकते हैं, मुख्य रूप से मेडिकल वेस्ट इत्यादि