- अस्पताल और डॉक्टर का लाना होगा पर्चा

- एक मरीज को मिलेगी इंजेक्शन की 6 डोज

LUCKNOW: कोरोना संक्रमण के गंभीर मरीजों के लिए डॉक्टर रेमडेसिविर इंजेक्शन सबसे ज्यादा लिख रहे हैं, जिसकी मांग इतनी बढ़ गई कि यह मार्केट से तो गायब हो ही गये हैं, इसके अलावा कालाबाजारी के चलते लोग हजारों रुपये में इसे खरीदने के लिए मजबूर हैं। इसी समस्या को देखते हुए सरकार ने अपने स्तर पर रेमडेसिविर इंजेक्शन उपलब्ध कराने का निर्णय लिया है। इसके तहत सरकारी कोविड अस्पतालों में जरूरी संख्या में इंजेक्शन पहुंचाया जा रहा है। वहीं दूसरी ओर निजी अस्पतालों में भर्ती मरीजों को यह इंजेक्शन सीएमओ ऑफिस से फ्री में दिया जा रहा है, जिसके लिए तीमारदारों को जरूर डॉक्यूमेंट्स जमा करने होंगे। ऐसे में मरीजों को भी राहत मिलेगी।

फ्री में मिलेगा इंजेक्शन

सीएमओ डॉ। संजय भटनागर ने बताया कि कोरोना संक्रमित मरीजों को रेमडेसिविर इंजेक्शन के लिए काफी भटकना पड़ रहा था। उसी समस्या को देखते हुए सरकार द्वारा इंजेक्शन की कालाबाजारी रोकने के लिए रेमडेसिविर इंजेक्शन केवल जरूरतमंदा मरीजों को खुद ही पहुंचाने का फैसला लिया गया है। इसके तहत सभी सरकारी कोविड अस्पतालों को डिमांड के अनुसार वहीं पर इंजेक्शन उपलब्ध कराया जा रहा है जबकि निजी कोविड अस्पतालों में भर्ती मरीजों को फ्री में रेमडेसिविर इंजेक्शन देने के लिए वहां के अस्पताल का लेटर लिखवा के लाना होगा, जिसमें मरीज की पूरी हिस्ट्री लिखी होनी चाहिए। उसी के आधार पर ही इंजेक्शन केवल तीमारदारों को ही दिया जायेगा। प्रत्येक मरीज को गाइडलाइन के तहत छह डोज इंजेक्शन दिए जाएंगे ताकि गंभीर मरीजों की जान बच सके, जितने में इंजेक्शन रोज आ रहे हैं सब खत्म हो जा रहे हैं। अबतक करीब 50 से 60 जरूरतमंदों को इंजेक्शन की डोज दी जा चुकी है, जिनकी संख्या लगातार बढ़ती जा रही है।

मरीज की पूरी हिस्ट्री लिखनी होगी

फ्री में रेमडेसिवर इंजेक्शन के लिए मरीज के तीमारदारों को कुछ जरूरी डॉक्यूमेंट्स सीएमओ ऑफिस में लाकर जमा करने होंगे, जिसमें मरीज जिस कोविड अस्पताल में भर्ती है वहां के अस्पताल का लेटर, डॉक्टर का लेटर जिसमें मरीज की सभी जरूरी जानकारी जैसे ऑक्सीजन लेवल, क्या स्थित है, गंभीरता कितनी है आदि लिख कर देना होगा। इसके अलावा मरीज को कोविड जांच रिपोर्ट भी देनी होगी ताकि पता किया जा सके कि मरीज वाकई संक्रमित है। इससे फर्जी लोगों को इंजेक्शन देने से रोका जा सकेगा। इसके अलावा आधार कार्ड भी दिखाना होगा। इसके बाद ही सीएमओ ऑफिस से तीमारदारों को रेमडेसिविर इंजेक्शन मिलेगा। हालांकि यह इंजेक्शन उपलब्धता के आधार पर मिलेगा।

यह हैं जरूरी डॉक्यूमेंट

अस्पताल का लेटर जहां भर्ती हैं

डॉक्टर का लेटर जिसमें मरीज की पूरी मेडिकल हिस्ट्री

आधार कार्ड

मरीज का कोविड लैब रिपोर्ट सत्यतता जानने के लिए

कोट

गंभीर मरीजों के इलाज के लिए सरकार द्वारा फ्री में रेमडेसिविर इंजेक्शन दिया जा रहा है। निजी अस्पताल में भर्ती मरीजों को अस्पताल और डॉक्टर का लेटर लेकर सीमएओ ऑफिस लाना होगा, जहां से इंजेक्शन फ्री में मिलेगा।

। डॉ। संजय भटनागर, सीएमओ

Posted By: Inextlive