4545 ऑटो राजधानी में

20 हजार ई-रिक्शा शहर में

02 हजार ऑटो इस समय चल रहे

08 हजार ई-रिक्शा अब चल रहे

- पैसेंजर्स कम होने के कारण रोड पर कम हो गई ऑटो और ई-रिक्शा

- सवारियां कम हुई तो ऑटो और ई-रिक्शा वाले लेने लगे ज्यादा किराया

LUCKNOW:

अभी ऑनलाइन कॉल टैक्सी सेवा पूरी तरह शुरू नहीं हुई है और पैसेंजर्स की कम संख्या के कारण ऑटो और ई-रिक्शा भी रोड पर कम निकल रहे हैं। ऐसे में वाहन का खर्च निकालने के लिए इस समय चल रहे ऑटो और ई-रिक्शा लोगों से मनमाना किराया वसूल रहे हैं। जिसका बोझ पैसेंजर्स को उठाना पड़ रहा है। वहीं इस मामले में आरटीओ ऑफिस के अधिकारियों का कहना है कि पब्लिक ट्रांसपोर्ट के किराए में वृद्धि नहीं की गई है। जो बढ़ाकर किराया ले रहे हैं, उनके खिलाफ एक्शन लिया जाएगा।

नहीं माफ हुआ टैक्स

लॉकडाउन में दो माह ऑटो, ई-रिक्शा आदि पब्लिक ट्रांसपोर्ट के साधन खड़े रहे और इनका रोड टैक्स भी माफ नहीं किया गया। लॉकडाउन खत्म होने के बाद इन्हें रोड टैक्स जमा करने का आदेश दे दिया गया। ऐसे में कई वाहन संचालकों ने अपने वाहन खड़े कर दिए और परमिट सरेंडर करने की पहल शुरू कर दी। वहीं रोड पर जो ऑटो और ई-रिक्शा आए उन्होंने खर्चा निकालने के लिए लोगों से ज्यादा किराया लेना शुरू कर दिया। इसकी शिकायतें परिवहन विभाग के हेल्पलाइन नंबरों पर आ रही हैं।

हेल्पलाइन पर शिकायत कर बताया जा रहा किराया

कहां से कहां तक निर्धारित किराया लिया जा रहा बड़ी लाल कुर्ती से चारबाग 12 रुपए 20 रुपए कैसरबाग से चारबाग 10 रुपए 20 रुपए चारबाग से आलमबाग 5 रुपए 10 रुपए

पीजीआई से चारबाग 25 रुपए 40 रुपए

लॉकडाउन ने तोड़ दी कमर

ऑटो रिक्शा संघ के अध्यक्ष पंकज दीक्षित के अनुसार 13 फरवरी 2014 के बाद से किराया नहीं बढ़ा है। लॉकडाउन ने ऑटो और ई-रिक्शा संचालकों की कमर तोड़ दी है। फिर सीएनजी के दाम भी लगातार बढ़ रहे हैं। फिर रोड टैक्स माफ ना होने से परेशानियां बढ़ गई हैं।

ऑटो वाले पैसेंजर्स से अधिक किराया वसूल रहे हैं। इसकी शिकायतें आ रही हैं। इसके लिए जल्द ही अभियान चलाया जाएगा। किसी तरह का किराया नहीं बढ़ाया गया है।

सिद्धार्थ यादव, एआरटीओ प्रवर्तन

आरटीओ ऑफिस

Posted By: Inextlive