सीसीएस यूनिवर्सिटी में पीएचडी में एडमिशन के लिए तय किए गए नए नियम

पीएचडी में निर्धारित सीटों से ज्यादा आ गए हैं आवेदन

Meerut। सीसीएसयू व संबद्ध कॉलेजों में पीएचडी में एडमिशन के लिए मार्च में एंट्रेस होगा। इसके मद्देनजर यूनिवर्सिटी में तैयारियां भी शुरु हो गई है। ऐसे में परीक्षा से पहले जेआरएफ एवं एमफिल के स्टूडेंट्स के आवेदन आरक्षित सीट के लिए आ गए है। यही नहीं हालत यह है कि आरक्षित सीटों से ज्यादा अभ्यर्थियों के आवेदन आने से यूनिवर्सिटी के सामने मुश्किलें खड़ी हो गई है। दरअसल, इसको लेकर यूनिवर्सिटी ने बीते मंगलवार को हुई एक बैठक में रास्ता निकाला है। जिसमें सभी कॉलेजों व यूनिवर्सिटी कोर्डिनेटर की सहमति ली गई है। नए नियमों के मुताबिक अब पीजी यानि पोस्ट ग्रेजुएशन की मेरिट के आधार पर ही पीएचडी में एडमिशन होंगे।

चस्पा की जाएगी मेरिट

दरअसल, इस बार जेआरएफ अभ्यर्थियों के जो आवेदन पीएचडी में एडमिशन के लिए आए हैं। वो यूनिवर्सिटी में आरक्षित सीटों से अधिक हैं, लिहाजा यूनिवर्सिटी ने तय किया है कि जितने भी आवेदन है, उनकी पीजी लेवल की मेरिट चस्पा की जाएगी। साथ ही मेरिट के कट ऑफ के आधार पर ही पीएचडी में एडमिशन होंगे। इससे यूनिवर्सिटी के लिए एडमिशन लेना आसान हो जाएगा। साथ ही सीटों से अधिक आवेदन की समस्या भी हल होगी।

बाहरी को नहीं मिलेगा एडमिशन

यूनिवर्सिटी के मुताबिक इस बार जो पीएचडी में एमफिल के छात्रों के जो डायरेक्ट एडमिशन होंगे। उसके लिए भी बाहरी स्टूडेंट को नहीं लिया जाएगा। यानि बाहरी यूनिवर्सिटी से एमफिल करने वाले एवं प्राइवेट एमफिल के छात्रों को पीएचडी में दाखिला नहीं मिलेगा।

सीटों से ज्यादा ऐसे आवेदन

ज्योग्राफी - 16 सीट 63 फार्म आवेदन

एजूकेशन - 40 सीट 313 फार्म आवेदन

हिंदी - 90 सीट 176 फार्म आवेदन

लॉ- 37 सीट 153 फार्म आवेदन

फिजिक्स - 30 सीट 139 फार्म आवेदन

इस तरह से काफी और भी सब्जेक्ट है, जिनके आवेदन सीट से अधिक है।

पीएचडी के लिए आवेदन सीटों से अधिक आ रहे हैं। इसलिए यूनिवर्सिटी में मीटिंग करके ये फैसला लिया गया है कि पीजी लेवल पर मेरिट लगाई जाएगी। मेरिट में से पीएचडी में एडमिशन लिए जाएंगे।

प्रो। वाई विमला प्रोवीसी, सीसीएसयू

Posted By: Inextlive