ये 'हनीमून पीरियड' है, इसके बाद ट्रैफिक रूल तोड़ा तो घर पहुंचेगा चालान
ट्रैफिक रूल्स तोडऩे वालो के लिए शहर के चौराहों पर एक खास व्यवस्था की गई थी। स्मार्ट सिटी के ड्रीम प्रोजेक्ट में शामिल आईटीएमएस यानि इंट्रीग्रेटेड ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम से आठ चौराहों को लैस किया गया था। इन चौराहों से दिनभर में गुजरने वाले हजारों वाहनों पर निगरानी के लिए एचडी कैमरे लगे हैैं। मगर करीब एक माह बीत जाने के बाद भी इन चौराहों पर ट्रैफिक रूल्स तोडऩे वालों पर कार्रवाई नहीं बल्कि केवल उनकी निगरानी की जा रही है।
मेरठ (ब्यूरो)। गौरतलब है कि शहर के नौ प्रमुख चौराहों पर आईटीएमएस यानि इंटीग्रेटिड ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम लागू किया जाना है। इसमें से आठ चौराहों पर यह सिस्टम चालू हो चुका है। इन चौराहों पर ओवर स्पीड, रेड लाइट जंप, दुपहिया पर तीन सवारी, सीट बेल्ट, काली फिल्म, रश ड्राइविंग करने पर चालान काटकर घर भेजे जाने की व्यवस्था है।
डिग्गी तिराहा और हापुड़ अड्डा
आईटीएमएस से लैस आठों चौराहों पर पिछले एक माह से ट्रैफिक नियम तोडऩे वालों पर नजर रखी जा रही है। जिसमें सामने आया है कि शहर के अधिकतर सभी चौराहों पर जमकर यातायात के नियमों की धज्जियां उड़ रही हैं। मगर हापुड अड्डा और डिग्गी तिराहा सबसे अधिक ट्रैफिक नियम तोडऩे वाले चौराहों में शामिल हैैं। इन दोनों चौराहों पर पहले नंबर पर रेड लाइट जंप और दूसरे नंबर पर बिना हेलमेट वाहन चलाने के सबसे अधिक मामले सामने आए हैैं। इसके लिए गांधी आश्रम और जेल चुंगी पर चौराहे पर भी जमकर ट्रैफिक रूल्स तोड़े जा रहे हैैं।
इन चौराहों पर टूट रहे सबसे अधिक नियम
1. हापुड़ अड्डा
2. डिग्गी अड्डा
3. गांधी आश्रम
4. जेल चुंगी
ये आठ चौराहे आईटीएमएस से लैस हुए
तेजगढ़ी चौराहा
कमिश्नरी आवास चौराहा
डिग्गी तिराहा
हापुड अड्डा
जेल चुंगी
बच्चा पार्क
गांधी आश्रम
ईव्ज चौराहा
इन चौराहों पर आईटीएमएस के तहत एचडी कैमरे और सेंसर लगाए गए हैं। ये सेंसर वाहनों की स्पीड से लेकर नंबर प्लेट तक रीड करने का काम करेंगे। ओवर स्पीड सेंसर तुरंत सिग्नल देकर डाटा आईटीएमएस कंट्रोल रूम के सर्वर में भेज देंगे। ट्रैफिक नियमों का उल्लंघन करने वालों के ऑटोमेटिक चालान वाहन नंबर के माध्यम से उनके घर पहुंच जाएंगे। इन चौराहों पर रात में भी ट्रैफिक नियमों का उल्लंघन करने वालों पर नजर रखने के लिए नाइट विजन कैमरे इंस्टॉल किए गए हैं। नगर निगम में कंट्रोल रुम
नगर निगम में ट्रैफिक सर्विस सेंटर से आईटीएमएस चौराहों पर नजर रखी जा रही है। इस कंट्रोल रूम में साइनेज, रिस्पॉन्सिव ट्रैफिक सिग्नल आदि पर नजर रखी जा रही है। यहां से पैलकिन सिंग्नल, ट्रैफिक सर्विलांस कैमरा, रेडलाइट वायलेंशन डिटेक्शन, साइन बोर्ड, एरिया ट्रैफिक मैनेजमेंट की भी निगरानी हो रही है। आईटीएमएस प्रोजेक्ट पूरी तरह तैयार है। इस प्रोजेक्ट के तहत आठ चौराहों पर निगरानी तो हो रही है लेकिन चालान की कार्रवाई का आदेश लखनऊ मुख्यालय से अभी नहीं आया है। आदेश आते ही ऑनलाइन चालान कटने शुरू हो जाएंगे।
अमित शर्मा, प्रोजेक्ट मैनेजर