श्रीकाशी विश्वनाथ धाम के लोकार्पण के बाद एक बार फिर बनारस चर्चा में है. यहां हुए विकास कार्यों की चर्चा पूरे देश में हो रही है. पीएम नरेंद्र मोदी ने काशी मॉडल को अपनाने की अपील भी की. 23 दिसंबर को फिर पीएम का आगमन हो रहा है. इस दौरान वह काशी को सौगात देंगे जिसमें पांच स्मार्ट वार्ड भी शामिल हैं.

वाराणसी (ब्यूरो)। इन वार्डों में करोड़ों की लागत से स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत विकास कार्य हो रहे हैं। दैनिक जागरण आई नेक्स्ट की टीम ने शनिवार को गढ़वासी टोला और राजमंदिर वार्ड में विकास कार्य की प्रगति की पड़ताल की, जिसमें कई चौंकाने वाले तथ्य निकलकर सामने आये। टीम को कहीं विकास कार्य अधूरे मिले तो कहीं अव्यवस्थाओं का बोलबाला था। पेश है एक रिपोर्ट

पहली तस्वीर : गढ़वासी टोला में यह हो रहे विकास कार्य
दैनिक जागरण आईनेक्स्ट की टीम सबसे पहले विश्वनाथ धाम से सटे गढ़वासी टोला वार्ड पहुंची। जहां कार्यदायी संस्था स्मार्ट सिटी व वीडीए की ओर से वार्ड में पुनर्विकास कार्य कराये जा रहे हैं। 7 करोड़ 90 लाख की लागत से वार्ड में चौका बिछाया जा रहा है। वाटर व सीवर लाइन डाली जा रही है। जगह-जगह चैम्बर, रैनपिट, जंक्शन भी लगाए जा रहे हैं।

लाखों की साडिय़ां पानी में
टीम जैसे ही वार्ड के सत्ती चौतरा के पास पाठक सुखलाल शाह गली में पहुंचे तो वहां पूरी गली में खुदाई मिली। दो व्यापारी दुकान के अंदर से पानी निकाल रहे थे। कई दुकानें बंद थीं। बातचीत में पता चला कि शुक्रवार रात जल निगम की लापरवाही के चलते पेयजल पाइप लाइन से कई दुकानों में पानी भर गया। शनिवार सुबह व्यापारी दुकान खोलने पहुंचे तो अंदर पानी देखकर वह हैरान हो गए। लाखों रुपये की साडिय़ां पानी में डूब गयी थीं।

जिम्मेदार बने लापरवाह
पाठक सुखलाल शाह गली के दुकानदारों के अनुसार शुक्रवार शाम को ही जल निगम के जेई को पाइप फटने के बारे में बताया था। ठेकेदार नवाब भाई ने भी कई बार भेलूपुर स्थित जल संस्थान को इसकी जानकारी दी थी। इसके बावजूद बिना कोई इंतजाम के ही वाटर सप्लाई कर दी गयी, जिससे दस से अधिक दुकानों में पानी भर गया। इससे लाखों रुपये की साड़ी खराब हो गई।

गढ़वाली टोला को स्मार्ट बनाया जा रहा है। सुविधाओं के एवज में इतनी बड़ी कुर्बानी देनी होगी, यह पता नहीं था। अधिकारी इतने मनबढ़ हो गए हैं कि पब्लिक की कोई सुनने वाला ही नहीं है। दुकान में पानी भर गया। लाखों रुपये की साड़ी खराब हो गई, इसकी भरपाई कौन करेगा।
-अनिल कानोडिया, दुकानदार

पूरे वार्ड में स्मार्ट सिटी व वीडीए द्वारा घटिया काम कराया जा रहा है। आधुनिक सुविधाएं देने की बात की जा रही है, लेकिन आने वाले समय में इससे दुश्वारियां ही बढ़ेंगी। पीएम द्वारा काशी के विकास के लिए भेजे जा रहे पैसे की बर्बादी हो रही है। सभी कामों की जांच होनी चाहिए।
-अनूप खन्ना, दुकानदार

दूसरी तस्वीर : चमक रही हैं गलियां
गढ़वासी टोला के बाद दैनिक जागरण आई नेक्स्ट की टीम राजमंदिर वार्ड पहुंची, जहां 13.53 करोड़ की लागत से स्मार्र्ट वार्ड का काम चल रहा था। काफी संकरी गली हैं। बावजूद कोने-कोने तक मिर्जापुर के लाल पत्थर मिले, जो चमक रहे थे। वाटर सप्लाई और वेस्ट सीवर मैनेजमेंट के लिए हर गली के मोड़ पर एनआरबी, सुसवाल, चॉबी, रेन फिट लगी है। भविष्य में खुदाई से बचने के लिए घरों के सामने हाउस पेंच लगाए गए हैं। गली की दीवारों पर पेंट लगाकर छोड़ दिया गया है। सिर्फ कुछ जगहों पर आकर्षक पेटिंग की गयी हैं। वहीं यहां पर सबसे बड़ी समस्या पानी को लेकर है, जो जस के तस है। इसके साथ ही गंदगी का चारो ओर अंबार है।


पहले से देखने में गलियां काफी अच्छी लग रही हैं। अच्छा काम हुआ है। सीवर ओवरफ्लो की समस्या खत्म हो गयी, लेकिन पानी की समस्या अभी पूरी तरह से खत्म नहीं हुई है। हर दिन साफ-सफाई भी नहीं होती है।
-विजय सिंह

वार्ड में पहले से काफी सुधार हुआ है। सुविधाएं भी बढ़ी हैं। गलियां भी अच्छी हो गयी है। घर से बाहर निकलते ही अच्छा अहसास होता है, लेकिन सीवर लाइन काम अच्छा नहीं हुआ है।
-मनोज उपाध्याय

तीसरी तस्वीर : स्थानीय की राय को ठुकराया
राजमंदिर के बाद दैनिक जागरण आईनेक्स्ट की टीम कालभैरव वार्ड पहुंची। 16.24 की लागत से निर्माण कार्य चल रहा है। पड़ताल के दौरान चौखंभा गली साफ सुधरी दिखी। गलियों में मिर्जापुर कालाल पत्थर बिछाया गया था। वाटर सप्लाई और वेस्ट सीवर मैनेजमेंट के लिए हर गली के मोड़ पर एनआरबी, सुसवाल, चॉबी, रेन फिट लगी है, लेकिन स्थानीय लोगों के सुझाव को अनदेखी किए जाने से जगह-जगह जलजमाव की स्थिति उत्पन्न हो गयी है। इसके अलावा कई जगह पर पत्थर भी उड़ गए हैं। पूरे वार्ड में गंगा घाट, मंदिर, संत-महात्मा, भगवान शंकर और श्रीराम की आकर्षक पेटिंग उकेरी गयी, जो बनारस की सांस्कृति और पौराणिकता का एहसास करा रही है।


वार्ड में स्मार्ट सिटी ने 90 फीसद तक काम अच्छा किया है। कुछ कमियां हैं, जिससे अवगत कराया गया, बावजूद इसके ठीक नहीं हुआ। गंगा घाट आने वाले श्रद्धालुओं को अच्छा लगता है। मेहमान आते हैं तो गलियों की स्थिति देखकर खुश होते हैं।
-बच्चा यादव

शुरुआत में स्मार्ट सिटी के काम में लापरवाही दिखी थी, लेकिन जब निर्माण पूरा हो गया तो अच्छा लगने लगा है। वहीं ठेकेदार द्वारा स्थानीय लोगों के सुझाव को दरकिनार कर दिया गया, जिससे अब दिक्कतें भी होने लगी हैं।
-आनंद सैनी

Posted By: Inextlive