- दशाश्वमेध घाट से आश्रम शिफ्ट किये गए भिक्षुक

- 13 भिखारियों को सामने घाट स्थित अपना घर आश्रम में शिफ्ट किया गया

धाíमक और पर्यटन नगरी वाराणसी में भिखारी नहीं दिखेंगे। इसके लिए सोमवार से नगर निगम ने एक सामाजिक संस्था के साथ मिलकर शहर को भिखारी मुक्त करने का अभियान शुरू किया। पहले दिन दशाश्वमेध घाट से करीब 13 भिखारियों को सामने घाट स्थित अपना घर आश्रम में शिफ्ट किया गया। फिलहाल सभी को आइसोलेशन में रखा गया है। गंभीर भिखारियों का इलाज करने के साथ ही सभी का पहले कोरोना टेस्ट होगा।

कार्य सिखाया जाएगा

अपर नगर आयुक्त देवी दयाल वर्मा ने बताया कि अपना घर आश्रम के सहयोग से यह अभियान शुरू किया गया है। आश्रम के संचालक नेत्र सर्जन डॉ। निरंजन ने बताया कि नगर निगम की प्रवर्तन दल और पुलिसकर्मी भी हमारे साथ थे। वहीं समाजसेवी केशव जालान ने बताया कि भिखारियों को समाज से जोड़ते हुए उन्हें छोटे-छोटे उद्योगों से जोड़ने के लिए कार्य सिखाया जाएगा। इन्हें समाज की मुख्य धारा से जोड़ने के लिए बागवानी, गोशाला में कार्य समेत अन्य कार्य भी सिखाया जाएगा। डॉ। निरंजन ने बताया जो संतान या परिजन बुजुर्गो को भीख मांगने के लिए छोड़ गये है। उन पर प्रशासन द्वारा कार्रवाई की प्लानिंग चल रही है। सभी के परिवार, सदस्य, जिले का विवरण इकठ्ठा किया जा रहा हैं।

::: कोट :::

काल भैरव मंदिर, अस्सी और संकट मोचन मंदिर पर भी अभियान चलेगा। दिव्यांगों, अपंगों, असहायों को अपना घर आश्रम में ही रखा जाएगा, जो स्वस्थ होंगे उन्हें परमानंदपुर आश्रय स्थल में रखा जाएगा।

-देवी दयाल वर्मा, अपर नगर आयुक्त

Posted By: Inextlive