कैंट रेलवे और बस स्टेशन के आसपास के क्षेत्र अवैध वाहनों के संचालन का अड्डा बने हुए हैं. इसके इर्द गिर्द न सिर्फ मैजिक व अन्य छोटी गाडिय़ां बल्कि मिनी बसें भी फर्राटा भरती हैं. आड़ा-तिरछा खड़े इन वाहनों के चलते परिवहन विभाग को न सिर्फ आर्थिक नुकसान होता है बल्कि जाम जैसी समस्या भी उत्पन्न होती है.

वाराणसी (ब्यूरो)। डग्गामार वाहनों की मनमानी रोडवेज परिसर में भी जारी रहती है। इनके एजेंट आने वाले यात्रियों को बहलाकर और कम किराए का लालच देकर अपने वाहन में भर लेते हैं। जिसको लेकर आए दिन रोडवेज कर्मियों और डग्गामार संचालकों के बीच नोक झोंक होती रहती है। नियमानुसार रोडवेज के एक किलोमीटर के दायरे में किसी भी डग्गामार वाहन को सवारी भरने की अनुमति नहीं है।

केस 1 : यूपी 65 बीटी 1470
सबसे पहले कैंट स्टेशन पुल के नीचे से सवारियां भर रही बस संख्या यूपी 65 बीटी 1470 की पड़ताल की गई। परिवहन विभाग की वेबसाइट में दिए गए डाटा के अनुसार इसका फिटनेस तो समाप्त था ही साथ ही ऑल यूपी परमिट भी अप्रैल माह से समाप्त हो चुका है। बस बडऩपुर, शाहपुर, भटौली, निजामाबाद व आज़मगढ़ के लिए सवारियां भर रही थी।

केस 2 : यूपी 65 ईटी 6195
यूपी 65 ईटी 6195 नंबर की बस जौनपुर खेतासराय, शाहगंज के लिए सवारियां भर रही थी। वहीं यूपी 65 ईटी 9799 नंबर की बस का चालक रोडवेज बस स्टॉप के सामने खड़े होकर प्रयागराज के लिए सवारियां भर रहा था। इतना ही नहीं यात्रियों को लुभाने के लिए ये किराए में 10-20 रुपए तक की छूट भी दे देते हैं।

नंबर प्लेट से करते हैं छेड़छाड़
कार्रवाई से बचने के लिए डग्गामार वाहन चालकों द्वारा तरह तरह की टेक्निक अपनाई जाती है। इसी में एक टेक्निक नंबर प्लेट के साथ छेड़छाड़ करना है। जानकारों की मानें तो नंबर प्लेट में लिखे नम्बरों से छेड़छाड़ के साथ गलत नंबर प्लेट का उपयोग किया जाना शामिल है।

बेहतर सुधार की बस उम्मीद
बनारस में कमिश्नरेट व्यवस्था लागू होने के बाद लोगों को व्यवस्थाओं के बेहतर सुधार की उम्मीद थी। यहां की सबसे प्रमुख समस्याओं में से एक जाम और अवैध वाहनों के संचालन में रोक लगने की आमजन को उम्मीद थी, लेकिन यह उम्मीद सिर्फ उम्मीद ही बनकर रह गई।

कहते हैं जिम्मेदार
डग्गामार वाहनों के खिलाफ शिकायत की जाती है। कई बार शिकायत के माध्यम से उनके खिलाफ चालान व बंदी की कार्रवाई कराई गई। शिकायत मिलने पर आगे भी कार्रवाई की जाएगी।
- केके पांडेय, क्षेत्रीय प्रबंधक रोडवेज

अतिक्रमण और अवैध पार्किंग के खिलाफ अभियान चलाया जा रहा है। हमारा प्रथम उद्देश्य शहर को यातायात मुक्त बनाना है। स्थानीय प्रशासन के द्वारा डग्गामार के खिलाफ भी समय समय पर कार्रवाई की जाती है।
-संतोष कुमार मीना, एसीपी ट्रैफिक

Posted By: Inextlive