शहर में एक दर्जन से अधिक ब्लैक स्पॉट पर आए दिन होते हैैं हादसे कुछ की मरम्मत कर ली गई है बाकी हैं जस के तस

वाराणसी (ब्यूरो)बनारस में रोड पर अवैध अतिक्रमण, साइन बोर्ड का अभाव, अवैध व अमानक ब्रेकर, पब्लिक की लापरवाही, ओवर स्पीडिंग और अब ब्लैक स्पॉट की वजह से सुरक्षित सफर पर हादसे व मौत का साया मंडरा रहा है। सीएम योगी ने हाल में कड़ी हिदायत देते हुए 48 घंटे में रोड सफर सो सुगम बनाने के निर्देश संबंधित विभागों को दिए थे। लेकिन अधिकारी सिर्फ खानापूर्तिं में ही जुटे हैैं।

बीत गए पांच दिन

सीएम के अल्टीमेटम को पांच दिन से अधिक समय बीत गए। इधर कैंट, लंका, डाफी, तरना, शिवपुर, लहरतारा, पांडेयपुर, सारनाथ, भेलुपुर, कमच्छा, सुंदरपुर, कचहरी, पहडिय़ा समेत कई अन्य इलाकों में आज भी यातायात रेंग रहा है और कई ब्लैक स्पॉट पर दुर्घटनाएं बदस्तुर जारी है। बतौर मीडिया रिपोर्ट शहर के दर्जन भर से अधिक ब्लैक स्पॉट पर रोजाना हादसे होते हैैं। इनमें लगभग आधा लोग घायल भी हो रहे हैैं।

एक दर्जन ब्लैक स्पॉट

बनारस की सड़कों पर 15 से अधिक ब्लैक स्पॉट हैं। इसमें 10 डेडली ब्लैक स्पॉट पर वाहन दुर्घटनाओं को रोकने के लिए सुधार के काम किए गए थे, लेकिन अधिकांश ब्लैक स्पॉट पर सुधारीकरण काम करने के बाद भी हादसे थम नहीं रहे हैं। यहां होने वाले हादसों में न केवल लोग घायल हो रहे हैं, बल्कि कई लोगों की जान भी गई है। यातायात निरीक्षक पंकज तिवारी ने बताया कि अब दोबारा से इन ब्लैक स्पॉटों पर सुधार के काम करने की तैयारी है। शहर की सड़कों पर हर साल ब्लॉक स्पॉट का सर्वे होता है। इस बार करीब आधे से अधिक ब्लैक स्पॉट का सर्वे किया जा चुका है। इन स्थानों पर साइन बोर्ड, रेड सिगनल और बूथ लगाने की व्यवस्था आदि पर विचार किया जा रहा है।

हाइवे किनारे हादसे

शहर में सबसे ज्यादा 10 ब्लैक स्पॉट राष्ट्रीय राजमार्गों के किनारे या इनसे लगे हुए हैैं। इसमें से आधा दर्जन ब्लैक स्पॉट पर सुधार के बाद वाहन हादसे थम गए हैं। लेकिन पीडब्ल्यूडी और एनएचएआई के अधीन जो सड़कें हैं, उनके ब्लैक स्पॉट पर सुधार के बाद भी हादसे हो रहे हैं। पीडब्ल्यूडी की सड़कों की बात करें तो इनके रोड पर 10 से अधिक ब्लैक स्पॉट हैं। एक्सीएन सुग्रीव राम का दावा है कि ब्लैक स्पॉट को चिंहित कर सुधार किया जा रहा है। इधर, हकीकत ये है कि सुधार के बाद भी ब्लैक स्पॉट पर आए दिन हादसे हो रहे हैैं।

अंधा मोड़ पर दिक्कत

शहर में अंधे मोड़ की तादात भी एक दर्जन से अधिक है। अमूमन रोज सुबह से लेकर शाम तक शॉर्ट कट के चक्कर में आटो और ई रिक्शा वाले मनमाने तरीके से यातायात के नियमों को ताक पर रखकर स्पीड में आते हैैं और बैगर दाएं-बाएं देखे- रोड को क्रास करते हैैं। ऐसे में सामने सा आ रहे बाइक सवार समेत अन्य से टक्कर हो जाती है या होती-होती रह जाती है। फिर मना करने पर बात विनाद में बदल जाती है और मारपीट तक मामला पहुंच जाता है।

आंकड़ों पर एक नजर

- ब्लैक स्पॉट पर हाल के तीन महीनों में तीन लोगों की मौत और चार लोग घायल हुए हैं.

- हाइवे से लगे ब्लैक स्पॉटों पर नौ वाहन हादसे हुए हैं, जिसमें दो लोगों की मौत हुई और आठ घायल हुए हैं।

इन ब्लैक स्पॉट पर हादसे

शहर के तरना बाइपास एरिया, लंका-सिर गोवर्धन एरिया, डाफी बाइपास, सामनेघाट, रामनगर एरिया, शिवपुर-बाबतपुर मार्ग, लालपुर-आजमगढ़ रोड, चौकाघाट-पीलीकोठी एरिया, कमच्छा, लहुराबीर, पिशाचमोचन एरिया, सारनाथ-पांडेपुर, चंद्रा चैराहा-चंदौली बार्डर, राजघाट-पड़ाव मार्ग, गोदौलिया-नई सड़क, अंधरापुल, गाटरपुल, कचहरी समेत अन्य अंधे मोड और संकरे रोड हादसे के सबब बने हुए हैैं।

स्मार्ट शहर में ब्लैक स्पॉट से हो रहे हादसे चिंता का विषय हैैं। संबंधित विभागों को चाहिए कि जितना जल्दी हो सके। इस जानलेवा स्पॉट पर कड़ाई से निगरानी करें, ताकि लोग सुरक्षित आवागमन कर सकें।

रामकृष्ण प्रजापति, वरिष्ठ नागरिक

शहर में कई ऐसे स्थान हैैं, जहां से गुजरने पर सामने से आ रहे वाहनों के टकराने का खतरा अधिक रहता है। ऐसे स्थानों पर सुरक्षा गार्ड तैनात किए जाएं। साथ ट्रैफिक रूल्स तोडऩे वालों पर कड़ी कार्रवाई भी की जाए।

आनंद कुमार मौर्य, यूथ

बेतरतीब यातायात, अतिक्रमण, लापरवाह पब्लिक, आटो, ई-रिक्शा वालों की लावरवाही से स्मूथ आवागमन की बात सोची भी नहीं जा सकती है। पूरा शहर आए दिन जाम और आटो, ई-रिक्शा चालकों के मनमानियों के आगे घुटने टेक चुका है।

वैभव त्रिपाठी, नागरिक

शहर चाहे जो भी स्थानीय प्रशासन की जिम्मेदारी होती है हर प्रकार से नागरिकों की सेफ्टी। ब्लैक स्पॉट को मार्डन कंट्री के तर्ज पर डेवलप किए जाए, ताकि लोगों की जान बचाई जा सके।

शशिकांत सिंह, नागरिक

शहर में एक दर्जन से अधिक ब्लैक स्पॉट को चिंहित किया गया है। इसमे ट्रैफिक, पीडब्ल्यूडी समेत अन्य विभागों के अफसर शामिल रहे। ऐसे स्थानों पर सड़क हादसों को रोकने के लिए खतरे से आगाह करते हुए साइन बोर्ड और अन्य प्रकार अतिक्रमण को हटाने पर सहमती बनी है। जल्द ही ब्लैक स्पॉटों की मरम्मत कर दिया जाएगा ताकि पब्लिक का आवागमन सुगम हो सके।

पंकज कुमार तिवारी, निरीक्षक, यातायात विभाग, वाराणसी

Posted By: Inextlive