राजधानी में सरकारी निर्माण कार्यों की ऐसी बानगी जो पब्लिक को सहूुलियत देने के बजाए उनके लिए मुसीबत ही बन गई है। हकीकत ये है कि कुछ इलाकों में जो निर्माण कार्य हुए हैैं उनसे सकरार के क्वालिटीयुक्त निर्माण कार्यों की पोल खुलकर सामने आ जा रही है।

-ट्रांसपोर्टनगर में निर्माण कार्यों पर उठे सवाल, एमडीडीए ने चुप्पी साधी
-एक बारिश से मच रहा हाहाकार, नालियां व सड़कों के कार्य अधूरे

देहरादून, 2 जून (ब्यूरो)। ऐसी स्थिति आजकल इंडस्ट्रियल एरिया ट्रांसपोर्टनगर में देखने को मिल रही है। जहां, कहने के लिए नालियों व सड़क के निर्माण कार्य चल रहे हैं। लेकिन, ये कार्य ट्रांसपोर्टनगर के लोगों व व्यवसाइयों के लिए नई आफत बन गई है। जो सड़कें बनी हैं, वह अधूरी हैं। नालियां भी बन रही हैं, लेकिन वह भी सड़क से दो-दो फुट ऊपर तक बना दी गई हैैं।

10 दिनों से पानी नसीब नहीं
ट्रांसपोर्टनगर में एमडीडीए की ओर से लंबे प्रयासों के बाद सड़क पर व नालियों के निर्माण कार्य चल रहे हैं। स्थानीय लोगों के अनुसार यहां बीते 1 माह से निर्माण के काम जारी है। लेकिन, ये निर्माण कार्य तय मानकों के विपरीत हो रहे हैं। आलम ये कि नालियों का निर्माण करने वाली एजेंसी नालियों का निर्माण सड़क से करीब 2 फुट ऊंचा कर रही है। जिसको ट्रांसपोर्टनगर के कारोबारी व स्थानीय लोग ठीक नहीं बता रहे। यही नहीं नालियों की खुदाई से पेयजल व सीवर लाइन तक तोड़ दी गई है। यही वजह है कि बीते 10 दिनों से लोगों को पीने तक के लिए पानी नसीब नहीं हो रहा है।

कारोबार पर भी असर
राजधानी का एक मात्र ट्रांसपोर्टनगर, जहां कई गोदाम, ऑफिस व ट्रांसपोट्र्स के कार्यालय भी हैं। एमडीडीए के निर्माण कार्य के कारण अब यहां स्थानीय लोगों व व्यापारियों की मुश्किलेें बढ़ गई हंै। कॉमर्शियल एरिया होने के कारण यहां व्यापारियों का माल ट्रक से आता और सप्लाई होता है। जिसे अपलोड और अनलोड की भी दिक्कतें बढ़ गई हैं। इन निर्माण कार्यों के कारण ट्रक को सड़क पर खड़ा करने के बाद सामग्री की लोडिंग और अनलोडिंग की जा रही है। इसके लिए अतिरिक्त लेबर चार्ज भी भुगतान करना पड़ रहा है। वहीं, स्थानीय लोगों को अपने टू-व्हीलर व फोर व्हीलर से घर तक पहुंचने में दिक्कतों का सामना भी करना पड़ रहा है।

पाइपलाइन काट डाली
आरोप हैं कि निर्माण एजेंसी की कार्यप्रणाली की वजह से खुदाई के दौरान ट्रांसपोर्टनगर के घरों व दुकानों के आगे की पाइप लाइन तक कट गई है। जिसके बाद पानी की सप्लाई भी बंद हो गई है। इससे अब लोगों को पीने के पानी के लिए टैंकर की मदद लेनी पड़ रही है।

सीवर पाइप में फंसा मलबा
व्यापारियों के आरोप हैं कि नालियों का निर्माण गलत तरीके से किया जा रहा है। सीवर की लाइन टूटने के कारण उसमें मलबा फंस गया है। नतीजतन, टॉयलेट में भी मलबा भर गया है। लोगों के आरोप हैं कि इलाके में अब टॉयलेट तक की दिक्कत हो रही है।

जहां पहुंच रही नजर, वहां कमियां ही कमियां
-जगह-जगह सड़क का निर्माण काम अधूरा।
-बन रही नालियां सड़क से दो फुट ऊंची।
-कुछ इलाकों में नालियों की खुदाई का आधा अधूरा छोड़ दिया
-नालियों की खुदाई से सीवर लाइन ब्लॉक, पानी की लाइन टूटी

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वर्जन -:
स्थानीय लोग कई दिन से परेशान हंै। इस बावत विभाग से शिकायत भी दर्ज की गई। लेकिन, कोई सुनने वाला नहीं। समझ में नहीं आ रहा कि ये कैसा निर्माण कार्य हो रहा है।
-लव चौधरी, ट्रांसपोटर्स

खुदाई के दौरान निर्माण एजेंसी ने पाइप लाइन तक तोड़ दी है। लोग 15 दिनों से पानी के लिए तरस गए हैं। सीवर लाइन भी ब्लॉक हो गई है। कोई भी अथॉरिटी यहां झांकने तक नहीं आ रहे।
-संदीप चांदना, स्थानीय निवासी

15-20 दिन से पूरे ट्रांसपोर्टनगर वासियों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। नालियों का निर्माण कार्य हुआ है। लेकिन, उनका स्लैब इतना ऊंचा है कि गाडिय़ों से सामान को लोडिंग-अपलोडिंग तक नहीं हो पा रही है।
-स्वरूप असवाल, स्थानीय दुकानदार।

यहां इतने अव्यवस्थित तरीके से खुदाई व निर्माण कार्य हुआ है। जिससे पब्लिक की और परेशानी बढ़ गई है। जबकि, यहां अब गाडिय़ांं सड़कों पर खड़ी करना हमारी मजबूरी हो गया है।
सुदर्शन सिन्हा, स्थानीय निवासी।

बीते एक माह से स्थानीय लोग परेशान हैं। यहां निर्माण सुचारू तौर पर नहीं हो पाया है। नालियां ऊंची बना दी गई हैं, सड़क भी अधूरी छोड़ दी। गड्ढे खोद देने के कारण दुर्घटनाओं की संभावनाएं बढ़ गई हैं।
ऋषिपाल सिंह, स्थानीय निवासी

इस बार में फिलहाल कोई जानकारी नहीं हंै। अगर ऐसा है तो वहां मौके पर जाकर टीम निरीक्षण करेगी। जिसके बाद निर्माण कार्य के दौरान पब्लिक को आ रही परेशानी को कम किया जाएगा।
-सुनील कुमार, ईई, एमडीडीए

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Posted By: Inextlive