मंडी परिषद और प्रशासन के दबाव में खुले दो काउंटर

निरंजनपुर मंडी में भी कम नहीं प्याज के दाम

दैनिक जागरण आई नेक्स्ट की ओर से की गई पड़ताल

देहरादून।

मंडी परिषद और प्रशासन के दबाव में मजबूरी का सस्ता प्याज बिक तो रहा है लेकिन व्यापारी इससे मुनाफा तो दूर, लागत का ब्याज तक नहीं निकाल पा रहे हैं। मंडी परिषद की ओर से सस्ते प्याज के वादे के बाद थर्सडे को दैनिक जागरण आई नेक्स्ट की ओर से मंडी पहुंचकर पड़ताल की गई। यहां थोक और फुटकर दोनों ही व्यापारियों से प्याज के भाव पूछे गए। किसी ने भी 80 रुपये से कम भाव नहीं बताया। प्याज के दो काउंटरों पर व्यापारियों ने 75 रुपये किलो भाव तो बताया, लेकिन वह इस रेट पर प्याज बेचने से नाखुश नजर आए।

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सब बहकाने की बाते हैं

वेडनेसडे को डीएसओ और मंडी परिषद के सचिव ने निरंजनपुर सब्जी मंडी में निरीक्षण किया था। उन्होंने यहां बाजार से सस्ते प्याज मिलने की बात कही थी। असलियत जानने के लिए दैनिक जागरण आई नेक्स्ट की टीम की ओर से थर्सडे को पड़ताल की गई तो अधिकतर दुकानों में प्याज 80 रुपये किलो बताया गया। जब व्यापारियों को प्रशासन का हवाला देते हुए सस्ता प्याज देने को कहा गया तो बोले कि सस्ता प्याज कहीं नहीं है, ये तो सब बहकाने की बाते हैं। इसके बाद भी उनसे बार-बार रिक्वेस्ट की गई तो उन्होंने मना कर दिया।

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दस से हुए दो काउंटर

पहले तक जहां मंडी परिषद की ओर से सस्ते प्याज के दस काउंटर खुलवाए गए थे, वहीं अब इनकी संख्या दो रह गई है। तब दस काउंटरों पर प्याज का दाम 51 रुपये रखा गया था, लेकिन दुकानदारों ने हाथ खड़े कर दिये थे। इसके बाद प्याज के रेट लगातार बढ़ते रहे। अब प्रशासन द्वारा केवल दो काउंटर खुलवाये गये हैं। हालांकि व्यापारी इसे नुकसान बता रहे हैं। उनका कहना है कि काउंटर लगाकर सस्ता प्याज बेचने से उन्हें नुकसान हो रहा है, लेकिन मजबूरी में ऐसा करना पड़ रहा है।

नासिक के बाद होगी दिक्कत दूर

मंडी परिषद में अफगानिस्तान, तुर्की, अलवर, दिल्ली के बाद थर्सडे को इंदौर से भी प्याज पहुंचना शुरू हो गया.जल्द ही यहां नासिक का प्याज भी पहुंचने वाला है। मंडी परिषद के अधिकारियों के अनुसार नासिक का प्याज पहुंचने के बाद प्याज की किल्लत काफी हद तक दूर हो जाएगी। बताया कि अलवर के प्याज में हवा लगते ही उनका वजन भी यहां पहुंचते-पहुंचते कम हो जा रहा है।

तुर्की का प्याज बेस्वाद

तुर्की का प्याज दूनाइट्स को नहीं भा रहा है। इस प्याज को होटल और हॉस्टल वाले ही खरीद रहे हैं। दरअसल ये प्याज बेस्वाद है। जिसे सलाद या अन्य तरह से खाने में यूज नहीं कर सकते। ऐसे में इसे सिर्फ ग्रेवी के लिए यूज किया जा रहा है।

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इजिप्ट भी आयेगा प्याज

अब मंडी में इजिप्ट का प्याज पहुंचने वाला है। मंडी परिषद की ओर से सरकार के सामने बात रखी गई थी। परिषद ने और प्याज मंगवाने की डिमांड रखी थी। इसके बाद नेफ्ट के माध्यम से इजिप्ट और तुर्की का प्याज मंगवाने का फैसला किया गया था। तुर्की का प्याज पहले ही दून पहुंच चुका है, जबकि इजिप्ट का प्याज कुछ दिन में पहुंच सकता है। गढ़वाल और कुमाऊं मंडल के लिए भी इजिप्ट का प्याज सप्लाई किया जाएगा। यह प्याज 25 दिसम्बर को दिल्ली पहुंचने की संभावना है।

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रेडीमेड ग्रेवी पर जोर

इन दिनों होटल, रेस्टोरेंट, कैफे आदि में रेडीमेड ग्रेवी से काम चलाया जा रहा है। प्याज महंगा होने के बाद से रेडीमेडी ग्रेवी से ही ग्रेवी वाले वेज और नॉनवेज आयटम्स तैयार किये जा रहे हैं। होटल व्यापारियों के अनुसार महंगे और बेस्वाद प्याज की तुलना में रेडीमेड ग्रेवी यूज करना ज्यादा फायदेमंद है।

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मंडी परिषद की ओर से खुलवाए गए दोनों काउंटर्स पर 75 रुपये किलो प्याज मिल रही है। उसके आसपास की दुकानों को भी इतने ही रेट रखे जाने को कहा जाएगा।

विजय थपलियाल, सचिव, मंडी परिषद

Posted By: Inextlive