- नींद की गोली देने के बाद सगे भाईयों ने वारदात को दिया था अंजाम

- विपुल हत्याकांड का खुलासा कर पुलिस ने हत्यारों को भेजा जेल

बरेली : सोशल नेटवर्किंग साइड पर अजनबी से हुई दोस्ती ने 11वीं के स्टूडेंट्स की जिंदगी निगल ली। फेसबुक फ्रेंड ने छात्र की बाइक हथियाने के लिए उसे कॉल कर अपने घर बुलाया। फिर बीयर में नशा देकर उसकी गला घोंटकर हत्या कर दी और लाश बड़ा बाईपास पर झाडि़यों में फेंकने के बाद उसकी बाइक लेकर फरार हो गए थे। इस मामले में क्राइम ब्रांच ने महानगर के रहने वाले फेसबुक फ्रेंड और उसके बड़े भाई को हिरासत में लेकर पूछताछ की। तब इस हत्याकांड पर पर्दा हटा। मंडे को एसएसपी ने इस हत्याकांड का खुलासा कर हत्यारों को जेल भेज दिया है।

कॉल कर बुलाया था घर

थाना सुभाषनगर के गंगानगर कॉलोनी निवासी विनीत बाजपेई इफ्को आंवला में सुपरवाइजर हैं। उनका बेटा विपुल बाजपेई उर्फ लक्की (18) जीआईसी कॉलेज में 11वीं का स्टूडेंट था। परिजनों ने बताया कि हाल ही में फेसबुक के जरिए विपुल की दोस्ती महानगर निवासी गगन मेहता से हुई थी। गगन के पिता यशपाल मेहता आरयू में कर्मचारी हैं। विपुल अक्सर फेसबुक पर आने दोस्तों से चैटिंग करता था। बीते 28 सितम्बर को परिजन रामगंगा नदी तट पर पितृ विर्सजन का पाठ करने गए थे। तभी गगन ने कॉल कर उसे मिलने के लिए अपने घर बुलाया। वह अपने भाई से शाम तक घर लौटने की बात कहकर बाइक लेकर घर से निकल गया था। जिसके बाद वह वापस नहीं लौटा ।

बॉक्स में छिपा दी थी लाश

इंवेटिगेशन में हत्यारों ने बताया कि वह अपने पिता से बाइक की डिमांड कर रहे थे, लेकिन पिता ने उन्हे बाइक खरीदकर देने से साफ इंकार कर दिया था। फिर गगन और उसे भाई दीपक ने विपुल की बाइक हथियाने की प्लानिंग बनाई। दोनों ने विपुल को अपने घर बुलाकर बीयर में नशा दिया। बेसुध होने पर दोनों भाईयों ने दुपट्टे से गला घोंटकर उसकी हत्या कर दी। फिर लाश को घर में रखे एक बॉक्स में छिपा दिया। अंधेरा होने पर लाश को ले जाकर बड़ा बाईपास के किनारे झाडि़यों में फेंक दिया था।

पुलिस ने कराया अंतिम संस्कार

बीते सात नवम्बर को इज्जतनगर पुलिस को बड़ा बाईपास से विपुल की सड़ी गली लाश मिली थी। जिसकी पहचान पुलिस नहीं कर पाई थी। फिर पुलिस ने ही विपुल का अंतिम संस्कार कर दिया था।

योगी दरबार में की फरियाद

मृतक के पिता विनीत बाजपेई ने बताया कि आठ अक्टूबर को सुभाषनगर पुलिस ने विपुल की मिसिंग रिपोर्ट दर्ज की थी। मगर पुलिस एक्शन लेना तो दूर की बात उन्हें थाने से टालती रही। फिर उन्होने एसएसपी ऑफिस, आईजी दफ्तर में शिकायत दी। बावजूद इसके कोई भी कार्रवाई नहीं हुई। पांच नवम्बर को परिजनों ने योगी दरबार में मदद फरियाद की थी। जिसके बाद बरेली पुलिस हरकत में आई थी। जिसके बाद क्राइम ब्रांच, सर्विलांस ने विपुल की कॉल डिटेल निकाली। जिसके आधार पर पुलिस ने संडे को गगन मेहता और दीपक मेहता को हिरासत में लेकर पूछताछ की। दोनों भाईयों ने अपना जुर्म कुबूल कर लिया। फिर पुलिस ने उन पर हत्या की रिपोर्ट दर्ज की थी.पुलिस को हत्यारों के पास विपुल की बाइक भी बरामद हुई है।

हत्याकांड का खुलासा करने के लिए 16 पुलिसकर्मियों की एक टीम बनाई गई थी, जिसमें क्राइम ब्रांच और सर्विलांस टीम की अहम भूमिका रही हैं। हत्यारों के पास मृतक की बाइक मिली है। बाइक की पहचान मृतक के घर वालों ने की है। दोनों हत्यारों को जेल भेज दिया गया है।

शैलेश कुमार पाण्डेय, एसएसपी

Posted By: Inextlive