RANCHI : नहाय-खाय के साथ छठ महापर्व रविवार से शुरू रहा है। इस मौके पर पूजा-पाठ से लेकर साफ-सफाई तक में पानी की जरूरत पड़ती है। पर, ऐसे समय में पानी की किल्लत हो जाए तो पर्व-त्योहार का उमंग-उत्साह फीका पड़ जाता है। एचईसी एरिया में कुछ ऐसा ही हाल है। पानी के लिए यहां लोगों को भटकना पड़ रहा है। खासकर सप्लाई वाटर के भरोसे रहने वालों को सबसे ज्यादा परेशानी हो रही है। इसकी वजह धुर्वा डैम से पानी की राशनिंग है। ऐसे में बिन पानी छठ महापर्व कैसे मनाएंगे, इसे लेकर ज्यादा परेशान हैं।

चापानल भी खराब

डैम से सप्लाई वाटर की राशनिंग हो जाने से एचईसी एरिया में रहने वालों की मुश्किलें बढ़ गई है। कुछ लोग तो डैम जाकर नहाने के अलावा कपड़े वगैरह साफ कर लेते हैं, लेकिन ज्यादातर लोग सप्लाई वाटर के अलावा चापानल के भरोसे हैं, पर यहां ज्यादातर चापानल खराब पड़े हैं। ऐसे में पीने के पानी की भी आफत आ गई है। ऐसे में व्रतधारियों को अभी से ही डर सता रहा है कि वे कैसे छठ महापर्व करेंगे।

लोगों ने क्या कहा

पानी की किल्लत से परेशान हैं। हटिया डैम से पानी की राशनिंग कर दी गई है। रविवार से छठ महापर्व शुरू हो रहा है। पानी के लिए तो डैम जाने के अलावा कोई उपाय नहीं है।

पवन कुमार साह

डैम में पानी का लेवल कम हो गया है। ऐसे में राशनिंग कर पानी की सप्लाई कम कर दी गई है। इसका खामियाजा हमें भुगतना पड़ रहा है। अगर छठ में प्रॉपर वे में पानी की सप्लाई नहीं हुई तो परेशानी बढ़ जाएगी।

रजनीश कुमार

इस इलाके में पानी के लिए धुर्वा डैम ही सहारा है। जब पानी की सप्लाई नहीं होती है तो डैम पर आकर साफ-सफाई से लेकर कपड़े धोते हैं। लेकिन, यह हर दिन आसान नहीं है। पानी की राशनिंग किए जाने से हमारी मुश्किलें बढ़ गई है।

विक्की

आज से नहाय खाय शुरू हो जाएगा। पानी की तो काफी दिक्कत है, लेकिन हमलोग कर भी क्या सकते है। काम ज्यादा होता है तो डैम चले जाते है। अब पूजा पाठ में भी दिक्कत होगी। हमारी समस्या सुनने वाला कोई नहीं है।

बबिता कुमारी

पानी की किल्लत पिछले कई दिनों से बनी हुई है। चापालनल है, लेकिन इसे काफी देर तक चलाने के बाद ही पानी आता है। पार्षद से शिकायत करने गए तो मुलाकात ही नहीं हुई। अब छठ में पानी की ऐसी ही दिक्कत बनी रहेगी।

अनिल कुमार

पानी की किल्लत से पूजा-पाठ में काफी मुश्किलें आती है। छठ महापर्व रविवार से है। लेकिन, पानी के लिए हमें भटकना पड़ रहा है। आसपास के इलाकों में डीप बोरिंग से ग्राउंड वाटर लेवल काफी नीचे चला गया है। ऐसे में खामियाजा हमें भुगतना पड़ रहा है।

मैनेजर बड़ाईक

Posted By: Inextlive