नगर निगम में सफाईकर्मी

- 5 हजार से अधिक सफाईकर्मी

- 2500 के करीब स्थाई सफाईकर्मी

- 49 कार्यदायी संस्थाएं निगम से जुड़ी

- 950 सफाईकर्मी कार्यदायी संस्थाओं के

-1550 के करीब संविदा सफाईकर्मी

- सफाई व्यवस्था बेहतर बनाने के लिए हर साल भारी भरकम राशि खर्च की जाती

- शहर को स्वच्छ रखने के लिए कई योजनाएं बनीं लेकिन नतीजा सिफर

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रुष्टयहृह्रङ्ख : शहर की सफाई व्यवस्था बेहतर रहे, इसके लिए निगम प्रशासन के पास न तो मैन पॉवर की कमी है न ही पैसे का संकट है. फिर भी स्वच्छता की पटरी पर शहर सरपट नहीं दौड़ रहा है. सवाल यह भी है कि शहर को स्वच्छ रखने के लिए हर साल भारी भरकम बजट खर्च किया जाता है पर स्थिति में कोई बड़ा सुधार नहीं होता. हाल में ही निगम की ओर से कई योजनाएं भी इंप्लीमेंट की गईं लेकिन इनका भी कोई असर सामने नहीं आया.

5 हजार से अधिक सफाईकर्मी

शहर में सफाई व्यवस्था के लिए 5 हजार से अधिक सफाईकर्मी हैं. इनमें संविदा कर्मी भी शामिल हैं. कुछ इलाकों में तो सफाई व्यवस्था ठीक है लेकिन ज्यादातर में यह पूरी तरह फ्लॉप है. शहर के पुराने इलाकों में स्थिति काफी खराब है.

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यह है खर्च का अनुमान

शहर में कूड़ा कलेक्शन में आरआर विभाग की गाडि़यों को लगाया गया है. जिन्हें टाइम टेबिल के हिसाब से पेट्रोल-डीजल आदि दिया जाता है. इस पर लाखों रुपए खर्च होते हैं फिर भी कई जगहों से डेली कूड़ा नहीं उठता है.

खर्च एक नजर में

पेट्रोल-डीजल

- दिसंबर 18 तक 2176.84 लाख खर्च

- 2019-20 के लिए 3000 लाख खर्च का अनुमान

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वेतन से लेकर सफाई पर खर्च

सफाई कर्मियों के वेतन, भत्तों आदि पर भी हर साल करोड़ रुपये खर्च होते हैं. जबकि निगम क्षेत्र में आने वाले वार्डो में डेली सफाई के हिसाब से भी काफी खर्च किया जाता है.

कुल खर्च एक नजर में

दिसंबर 17 तक 149.12 लाख खर्च

दिसंबर 18 तक 187.73 लाख खर्च

2019-20 के लिए 1000 लाख खर्च का अनुमान

आरआर विभाग पर खर्च

आरआर विभाग की ओर से सफाई व्यवस्था में जिम्मेदारी निभाई जाती है. निगम प्रशासन की ओर से इस विभाग पर भी काफी खर्च किया जाता है.

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हाल ए ईकोग्रीन

ईकोग्रीन कंपनी शहर में डोर टू डोर कूड़ा कलेक्शन का काम करती है. अभी सिर्फ 55 फीसद घरों से कूड़ा कलेक्ट हो रहा है.

कंपनी बैकग्राउंड एक नजर में

- मार्च 2017 में ईकोग्रीन कंपनी ने काम शुरू किया

- 70 फीसदी घरों से कूड़ा कलेक्शन का दावा

- 55 फीसदी घरों से नियमित नहीं उठ रहा कूड़ा

वर्जन

सफाई व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए नए सिरे से एक्शन प्लान बन रहा है. इसी प्लान के आधार पर शहर को स्वच्छ रखने के लिए कदम उठाए जाएंगे.

डॉ. इंद्रमणि त्रिपाठी, नगर आयुक्त