वीरप्पा मोइली का कहना है कि इन प्रस्तावों में पेट्रोल पंपों को रात आठ बजे से सुबह आठ बजे तक बंद करना भी शामिल है.

बंगलौर में पत्रकारों से बातचीत में उन्होंने कहा कि ख़र्च कम करने के लिए कई प्रस्ताव सामने आए हैं, जिनमें पेट्रोल पंपों को रात में बंद करना भी शामिल है.

लेकिन पेट्रोलियम मंत्री ने यह स्पष्ट किया कि अभी इस पर कोई फ़ैसला नहीं हुआ है, ये सिर्फ़ एक प्रस्ताव है. वीरप्पा मोइली ने लोगों से अपील की कि वे ईंधन की बचत करें.

विपक्षी भारतीय जनता पार्टी ने इस पर कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की है और कहा है कि सरकार को पहले ख़ुद बचत करनी चाहिए. पार्टी प्रवक्ता शाहनवाज़ हुसैन ने कहा कि पेट्रोल पंप ही नहीं ये सरकार इस देश को ही बंद करना चाहती है.

"हमें खपत कम करने की आवश्यकता है ताकि आयात कम किया जा सके. अन्यथा पेट्रोल की क़ीमतें बढ़ती रहेंगी और रुपया भी गिरता रहेगा"

-वीरप्पा मोइली, पेट्रोलियम मंत्री

दबाव

पेट्रोलियम मंत्रालय 16 सितंबर से छह सप्ताह का एक ईंधन बचाओ अभियान शुरू करने वाला है.

वीरप्पा मोइली ने कहा, "हमें खपत कम करने की आवश्यकता है ताकि आयात कम किया जा सके. अन्यथा पेट्रोल की क़ीमतें बढ़ती रहेंगी और रुपया भी गिरता रहेगा."

केंद्र सरकार पर ये दबाव है कि वो तेल आयात के ख़र्चों को कम करे, जो पिछले साल 144.2 अरब डॉलर था. पेट्रोलियम मंत्रालय को भरोसा है कि वो ख़र्चों में कमी कर 20 अरब डॉलर तक बचा सकता है.

वीरप्पा मोइली ने कहा कि जब भी डॉलर के मुक़ाबले रुपए की क़ीमत में एक रुपए की गिरावट आती है, तेल आयात का ख़र्च 7900 करोड़ रुपए बढ़ जाता है. उन्होंने कहा, "तेल कंपनियाँ डीजल पर प्रति लीटर 10 रुपए और केरोसीन तेल पर प्रति लीटर करीब 33 रुपए का नुक़सान झेल रही हैं."

तेल मंत्रालय का ये भी आकलन है कि मौजूदा स्तर पर तेल कंपनियों का नुक़सान एक लाख 80 हज़ार करोड़ तक का हो जाएगा.

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