पटना के नामचीन व्यवसायी के परिवार में ट्रिपल मर्डर, बंद कमरे में मिली लाशें

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PATNA : राजधानी में मंगलवार को एक दिल दहला देने वाली घटना घटी. कोतवाली थाना क्षेत्र के किदवईपुरी स्थित सर्राफ निवास मकान नंबर 46 में रह रहे शहर के प्रतिष्ठित कपड़ा व्यापारी निशांत सर्राफ (37) ने अपनी पत्‌नी अलका (35), बच्ची अनन्या (9) और बेटे इशांत (4) को गोली मार दी. इसके बाद उसने खुद को गोली मार आत्महत्या कर ली. गोली लगने से पत्‌नी और बच्ची की मौत हो गई. वहीं बच्चा कोमा में चला गया है. उसका इलाज शहर के निजी अस्पताल में चल रहा है. व्यापारी ने लाइसेंसी पिस्टल से पूरे परिवार को गोली मारी है. कमरा साउंड प्रूफ होने के कारण परिवार के अन्य लोगों को गोली की आवाज नहीं सुनाई दी. सुबह जब निशांत नाश्ता के लिए डाइनिंग टेबल पर नहीं आए तो परिवार के लोग उन्हें देखने गए लेकिन उनका कमरा नहीं खुला. इसके बाद परिवार के लोगों ने मास्टर की से लॉक खोला तो देखा कि कमरे में चारों लोग खून से लथपथ हैं. तीन लोगों की मौत हो चुकी थी. वहीं, चार साल के बेटे की सांस चल रही थी. लोग तत्काल उसे लेकर अस्पताल भागे. वहां पर उसका इलाज चल रहा है.

पत्‌नी और बच्ची को सोते हुए मारी गोली

जब पुलिस और एफएसएल टीम मौके पर सीन ऑफ क्राइम देखने पहुंची तो उसने देखा कि एक ही बेड पर व्यापारी, उसकी पत्‌नी, बच्ची और बेटा पड़े हुए थे. पत्‌नी और बच्ची चादर ओढ़े हुए नींद की अवस्था में थी. ऐसे में पुलिस ये अनुमान लगा रही है कि व्यापारी ने पत्‌नी और बच्ची को सोते हुए गोली मारी है. उनकी बॉडी देखकर ऐसा लग रहा है कि वो लोग सो रहे हैं.

निशांत की नाक, मुंह से निकल रहा था खून

घटनास्थल पर निशांत की नाक और मुंह से खून निकल रहा था. पत्‌नी और बेटी के शव भी खून से लथपथ थे. वहीं, चार साल का छोटा बेटा इशान तड़प रहा था, जिसे तुरंत इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया. अस्पताल में वो जिंदगी और मौत के बीच जद्दोजहद कर रहा है. बच्चे का बयान पुलिस के लिए काफी अहम रहेगा. इस कारण पुलिस हर घंटे की रिपोर्ट ले रही है.

एफएसएल ने पिस्टल को जांच के लिए भेजा

घटना के बाद मौके पर पहुंची एफएसएल की टीम ने पिस्टल को जब्त कर लिया है. इस पिस्टल की जांच के लिए बैलेस्टिक डिपार्टमेंट भेजा गया है. इसके साथ ही मौके पर पहुंची फिंगर प्रिंट टीम ने कमरे की दीवार, बेड और पिस्टल का फिंगर प्रिंट लिया. एफएसएल टीम सभी एंगल को कड़ी से कड़ी मिलाकर मामले में आगे बढ़ रही है.

अनसुलझे सवाल

गोली की आवाज क्यों नहीं सुनी?

एक बार के लिए ये मान लिया जाए कि कमरा साउंड प्रूफ है लेकिन जब व्यापारी ने पहली गोली चलाई होगी तो कम से कम कमरे में आवाज तो आई होगी और दूसरा जग गया होगा और विरोध किया होगा लेकिन ऐसा नहीं हुआ.

सुसाइड नोट की तारीख पर संदेह

पुलिस को जो सुसाइड नोट मिला है उसमें 10 जून लिखा है. परिवार वालों ने बताया कि 12 बजे सोने गए थे. ऐसे में क्या निशांत गोली मारने से पहले ही सुसाइड नोट लिखा था. अगर गोली मारने के बाद लिखा तो तारीख 10 क्यों लिखा.

मृतकों की खोपड़ी क्यों नहीं खुली

जिस पिस्टल से व्यापारी ने गोली मारी है. उसमें 0.32 बोर का कारतूस है. इस कारतूस से लगने के बाद भेजा उड़ जाएगा लेकिन तीन लोगों को गोली लेकिन किसी की खोपड़ी नहीं खुली है. ऐसे में ये मामला काफी पेंचीदा हो गया है.

मौत के समय में अंतर की आशंका

मंगलवार को 9:35 बजे पुलिस पहुंची तो पाया कि निशांत का शव जकड़ने लगा था. मेडिकल साइंस के अनुसार, मौत के पांच घंटे से अधिक होने पर शव जकड़ने लगता है यानी घटना रात ढाई बजे से चार बजे के बीच हुई होगी.