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छ्वन्रूस्॥श्वष्ठक्कक्त्र: लौहनगरी सहित जिले के सभी सरकारी अस्पतालों में एक माह से रोटा वायरस वैक्सीन खत्म होने से बच्चों को रोटा वायरस वैक्सीन नहीं मिल पा रही हैं। इससे कोल्हान सहित जिले के हजारों बच्चों की जिंदगी खतरे में हैं। बता दें कि जन्म के बाद बच्चों को जरूरी वैक्सीन दी जाती है जो बच्चों को जानलेवा बीमारियों से बचाती हैं। इनमें से ही एक वैक्सीन रोटावायरस है जो बच्चों को डायरिया जैसी गंभीर बीमारियों से बचाता हैं। बाजार में रोटा वायररस वक्सीन की कीमत 900 से 1099 रुपये होने से गरीब माता-पिता वैक्सीन नहीं लगवा पाते है। जिससे हर साल हजारों की संख्या में नवजात शिशुओं की मौत हो जाती हैं।

हर साल हजारों बच्चों की मौत

शहर के साथ ही देश में रोटावायर वैक्सीन के अभाव में लाखों बच्चे दम तोड़ देते है। कोल्हान के साथ ही शहर में पहले से ही लाखों की संख्या मे बच्चे कुपोषण का शिकार है। जिससे उनको जरूरी पोषण नहीं मिल पा रहा है। यूनीसेफ की रिपोर्ट के अनुसार वर्ष 2015 में 65000 बच्चों की डायरिया से मौत हो गई।

जिले में कुछ समय से रोटा वायरस वायरस वैक्सीन नहीं है। इसके लिए विभाग को लिखा गया है। जल्द ही जिले के सभी अस्पतालों में रोटावायरस वैक्सीन मिलने लगेगी है। सरकार की ओर से दो तरह की वैक्सीन दी जा रही है।

माहेश्वर प्रसाद, सिविल सर्जन, जमशेदपुर