अमेजिंग बरेली

जुरासिक पार्क, चंद्रयान और अमेजॉन फॉरेस्ट

बरेली यानी जुरासिक सिटी, अमेजॉन फॉरेस्ट और चंद्रयान की लाइव फीलिंग। अब यही होंगे बरेली की नई पहचान। बरेलियंस फख्र से इतरा सकेंगे, क्योंकि जल्द ही आपको इस सब इंटरनेशनल स्पॉट्स का लाइव वर्जन बरेली में मिलेगा।

यह भी जानें

-47 करोड़ का बजट पास

-7 एकड़ में बनेगा साइंस पार्क

-850 हेक्टेयर में बनेगी फॉरेस्ट सिटी

-15 करोड़ से बनेगी फॉरेस्ट सिटी

-228 करोड़ से ली किसानों की जगह

-172 करोड़ पहले दिए थे

-55 करोड़ मंडे को किसानों के लिए स्वीकृत किए गए

- बीडीए वीसी ने प्रेसवार्ता में दी जानकारी

- किसानों को दिए जाएंगे 55 करोड़

बरेली : बीसलपुर रोड में डेवलप हो रहे रामगंगा नगर में 7 एकड़ में हाईटेक साइंस पार्क बनाया जाएगा। इसके लिए 47 करोड़ का बजट पास हुआ है। साइंस ऑफ टेक्नोलॉजी डिपार्टमेंट इस पार्क को बनवाएगा। वही इसका मेंटेनेंस भी करेगा।

जोड़ा-तोड़ा रूम

बीडीए वीसी ने बताया कि वैसे तो साइंस पार्क और सिटी फॉरेस्ट में सबकुछ आकर्षण का केंद्र होगा। लेकिन बच्चों के साथ ही हर वर्ग को एक और रूम होगा, जो लोगों का ध्यान अपनी ओर खींचेगा, वह होगा जोड़ा-तोड़ा रूम। इस रूम में कुछ साइंस की चीजें होंगी, जिन्हें बच्चे तोड़ कर फिर जोड़ेंगे। इसका मेन उद्देश्य बच्चों का मानसिक विकास करना है। उम्मीद है कि बच्चे बीडीए की इस योजना से काफी खुश होंगे।

जापानी टेक्निक पर सिटी फॉरेस्ट

850 हेक्टेयर जमीन पर सिटी फॉरेस्ट को डेवलप किया जाएगा। इसकी खास बात यह है कि इसको जापानी टेक्निक से बनाया जाएगा। साथ ही यहां पर जो पौधे लगाए जाएंगे, वो दो साल में बड़े हो जाएंगे, जिससे वह फॉरेस्ट की तरह दिखने लगेगा। इसके लिए बीडीए करीब 15 करोड़ रुपए खर्च करेगा।

45 मीटर लिंक रोड

बीडीए ने शहरवासियों के लिए सौगात के दरवाजे खोल दिए हैं। डोहरा रोड से बीसलपुर चौराहे तक 45 मीटर की लिंक रोड बनाई जाएगी, जो रामगंगा नगर के सभी सेक्टर को जोड़ेगी। इससे बरेलियंस को लंबी दूरी से मुक्ति मिलेगी और वे आसानी से आ-जा सकेंगे।

इसलिए रुका था डेवलपमेंट

बीडीए वीसी दिव्या मित्तल ने बताया कि रामगंगा नगर आवासीय योजना की शुरुआत साल 2004 में हुई थी, लेकिन जिन किसानों से जमीन खरीदी गई उन्हें भुगतान नहीं किया गया था। जिस कारण जमीन का अधिग्रहण नहीं हो सका। बीडीए पर किसानों का कुल 228 करोड़ बकाया था। जिसमें करीब 172 करोड़ पहले ही दिया जा चुका है बाकि बचा 55 करोड़ भी मंडे को प्रशासन ने जारी कर दिया। वहीं बताया कि किसान कलेक्ट्रेट में आकर अपने रुपए ले सकते हैं।

अब नहीं होगी खेती

बीडीए से भुगतान न होने पर किसान जमीन पर फसल बो देते थे, भुगतान न कर पाने की वजह से बीडीए भी जमीन पर मालिकाना हक नहीं दिखा रहा था लेकिन अब किसानों का भुगतान कर दिया गया है। अब फसल बोने पर बीडीए जेसीबी चलवाएगा।

साइंस पार्क में यह होगा खास

- जुरासिक थीम

- डायनासोर

- सौर मंडल

- मॉडर्न साइंस पर बने झूले

- चंद्रयान, मिसाइल प्रक्षेपण की दिखेगी झलक

- एक्सपर्ट से बच्चों को दी जाएगी जानकारियां।

यह होगा फायदा

फॉरेस्ट सिटी और साइंस पार्क बनने के बाद फ्री ऑफ कॉस्ट लोग इसमें घूम सकेंगे। साथ ही बच्चों की साइंस में दिलचस्पी बढ़ेगी और यहां पर वे ज्यादा से ज्यादा जानकारी ले सकेंगे। वहीं टूरिस्ट प्लेसेज की लिस्ट में शहर का नाम होने से फॉरनर भी यहां घूमने आ सकते हैं।

फॉरेस्ट सिटी में यह होगा खास

- साइकिल ट्रैक और जॉगिंग ट्रैक

- लेक का निर्माण होगा

- इंडोर गेम्स के लिए स्टेडियम

- बोटिंग की सुविधा

- स्पा और रेस्टोरेंट

अब रामगंगा नगर में देश का सबसे बड़ा साइंस पार्क बनाया जाएगा, वही सिटी फॉरेस्ट का भी निर्माण होगा। इससे शहरवासियों को काफी सहूलियत मिलेगी। कार्य योजना तैयार कर ली गई है। मार्च से पहले ही निर्माण शुरू कर दिया जाएगा।

दिव्या मित्तल, बीडीए वीसी।