- एसएन की रिसर्च में हुआ खुलासा

- एड्स पीडि़तों के जीवन की गुणवत्ता पर हुई रिसर्च

आगरा। कहा जाता है कि संक्रमण वाले रोग ज्यादातर वहां फैलते हैं, जहां लोग अनपढ़ हो। अनपढ़ लोग रोग को लेकर ज्यादा सावधानी नहीं बरतते क्योंकि उनमें जागरूकता नहीं होती। और अगर बात एड्स जैसे रोग की हो तो पीडि़तों की संख्या में अनपढ़ लोगों की संख्या ज्यादा होने की आशंका पूरी रहेगी। लेकिन ऐसा नहीं है। आगरा में एड्स पीडि़तों में अनपढ़ से ज्यादा पढ़े-लिखे हैं। एसएन मेडिकल कॉलेज के एसएपीएम विभाग द्वारा हुई एक रिसर्च में यह दावा किया गया है। दो साल तक चली इस रिसर्च के बाद रिपोर्ट में चौंकाने वाले तथ्य सामने आए।

एसएन में हुई रिसर्च

एसएन मेडिकल कॉलेज के एसपीएम विभाग में एड्स पीडि़तों के जीवन की गुणवत्ता पर हुई रिसर्च में यह खुलासा हुआ है। डॉ। सुनील मीणा ने विभागाध्यक्ष डॉ। एसके मिश्रा की गाइडिंग व डॉ। शैलेंद्र चौधरी की को-गाईडिंग में यह रिसर्च की। उन्होंने एड्स के 160 मरीजों पर दो साल तक रिसर्च की और उनके जीवन की गुणवत्ता पर निष्कर्ष निकाला।

इतने लोगों ने जारी रखा इलाज

रिसर्च में देखने को मिला कि एड्स पीडि़तों में पढ़े-लिखे लोग ज्यादा थे। इसमें 70 प्रतिशत पढ़े-लिखे थे जबकि सिर्फ 30 प्रतिशत लोग अनपढ़ थे। वहीं रिसर्च में एक बात और चौंकाने वाली निकली कि मरीजों में सिर्फ 86 प्रतिशत मरीजों ने अपना इलाज जारी रखा। एड्स जैसी बीमारी होने के बाद भी अपने इलाज को लेकर लापरवाही देखने को मिली। एसएन में एआरटी सेंटर (एंटी रिट्रो वायरल ट्रीटमेंट सेंटर) में एड्स पीडि़तों को फ्री दवाई मिलती है। इलाज जारी रखने वालों का प्रतिशत रोग को देखते हुए कम ही है।

छह भागों में बंटी जीवन की गुणवत्ता

रिसर्च में एड्स होने के बाद मरीजों के जीवन की गुणवत्ता कैसी है। इस पर रिसर्च की गई। मरीज के जीवन की गुणवत्ता को छह भागों में बांटा गया। इनमें शारीरिक, मानसिक, सामाजिक, आस-पास का वातावरण, रोग के बाद आजादी और रोग से लड़ने के जुझारूपन पर शोध हुआ। इसमें मरीजों को अलग-अलग भाग में अलग स्कोर दिया गया।

प्रदेश में 13 हजार नए पॉजिटिव

यदि पूरे प्रदेश की बात की जाए तो वित्तीय वर्ष 2016-17 में एचआईवी के 13332 नए मरीज आए। इस वर्ष पूरे प्रदेश में 10.25 लाख लोगों ने एचआईवी की जांच करवाई थी। एक वर्ष में 13 हजार से ज्यादा नए एचआईवी पॉजिटिव आना चिंताजनक है। वहीं आगरा में पिछले वर्ष 760 नए मरीज आए।