पीडीएफ ने खोला किशोर के खिलाफ मोर्चा, कहा- आ गया फैसले का वक्त

-कांग्रेस के हमलों से आजिज आ चुकी पीडीएफ ने पूरी ताकत से किया प्रहार

-पीडीएफ के सभी छह विधायकों ने बैठक में दिखाई एकजुटता

DEHRADUN: कांग्रेस के लगातार हमलों के बाद उसका गठबंधन सहयोगी प्रोग्रेसिव डेमोक्रेटिक फ्रंट यानी पीडीएफ फ्रंटफुट पर आ गया है। पीडीएफ ने कांग्रेस के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। साफ संकेत हैं कि पीडीएफ ने अब आर-पार की लड़ाई की ठान ली है। कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपाध्याय की पार्टी प्रभारी अंबिका सोनी और सह प्रभारी संजय कपूर से शिकायत कर दी गई है। पीडीएफ ने दो टूक कह दिया है कि किशोर उपाध्याय की अनर्गल बयानबाजी पर रोक लगाई जाए। साथ ही पार्टी पीडीएफ की वफा की कीमत भी चुकाए।

गुस्से में दिखे पीडीएफ सदस्य

दरअसल, पीडीएफ से रिश्ते का सवाल अभी तक कांग्रेस संगठन और सरकार के बीच ही घूम रहा था। मगर अब बात बहुत दूर तक पहुंच चुकी है। अभी तक पीडीएफ का रक्षात्मक रुख सामने आ रहा था, मगर सोमवार को पीडीएफ ने कांग्रेस पर पूरी ताकत से प्रहार किया। विधानसभा में कैबिनेट मंत्री हरीश चंद्र दुर्गापाल के कार्यालय में बुलाई गई बैठक में पीडीएफ के सभी छह विधायकों ने शिरकत की। डेढ़ घंटे तक चली बैठक में कांग्रेस के रवैये पर पीडीएफ के सदस्य खासे गुस्से में दिखे।

हरीश-किशोर में जुबानी जंग

-पीडीएफ के साथ रिश्तों को लेकर सीएम हरीश रावत और प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपाध्याय के बीच परोक्ष रूप से जुबानी जंग चल रही है। पिछले दिनों उपाध्याय ने कहा था कि पीडीएफ के कारण कांग्रेस को बर्बाद नहीं होने दूंगा। इसके जवाब में सीएम हरीश रावत ने कह दिया था कि पीडीएफ से रिश्तों पर फैसले के सर्वाधिकार हाईकमान और उनके पास हैं।

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-पीडीएफ को लेकर अनर्गल बयानबाजी पर तुरंत रोक लगनी चाहिए। हमने वफा की है। कांग्रेस सरकार का साथ दिया है और हमसे स्पष्टीकरण मांगा जा रहा है। सब जानते हैं कि अनर्गल बयानबाजी जो कर रहे हैं, उनकी हैसियत क्या है। बयानबाजी नहीं रुकी, तो हम दस जनपथ तक मामले को ले जाएंगे।

-मंत्री प्रसाद नैथानी, पीडीएफ संयोजक और कैबिनेट मंत्री।

टिकट के लिए एप्लीकेशन दे पीडीएफ: किशोर

-पीडीएफ और कांग्रेस संगठन के बीच लड़ाई की स्थिति के बीच कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपाध्याय ने एक बार फिर पीडीएफ को चिढ़ाने वाले अंदाज में बयान दिया है। लालकुंआ में प्रेस कान्फ्रेंस में किशोर उपाध्याय ने कहा कि पीडीएफ को कांग्रेस का टिकट चाहिए, तो पहले वह एप्लीकेशन दे। उन्होंने कहा कि पीडीएफ में बीएसपी, यूकेडी और निर्दलीय विधायक शामिल हैं। ये लोग अभी तक यह तय नहीं कर पाए हैं कि वह कौन से दल से चुनाव लड़ेंगे। यदि वह कांग्रेस से चुनाव लड़ने के इच्छुक हैं तो पहले पार्टी में आवेदन करें। इसके बाद ही पार्टी उनके टिकट पर अंतिम फैसला लेगी। उपाध्याय ने कहा कि जिन क्षेत्रों में पीडीएफ विधायक हैं वहां कांग्रेस के टिकट से चुनाव लड़े नेताओं का भी सम्मान किया जाएगा।