सेंकंड हेडिंग- रजिस्ट्रेशन की ले ली फीस पूरी, एडमिशन देने में बना रहे दूरी
फ्लैग- यूजी में 45 परेसेंट वाले स्टूडेंट्स को आरयू में नहीं मिल रहा एडमिशन
यह भी जानें
-535 कॉलेजेज आरयू से संबद्ध
-9 डिस्ट्रिक्ट में हैं आरयू के कॉलेजेज
-20 मई तक यूजी के लिए ऑनलाइन हुए थे आरयू में रजिस्ट्रेशन
-30 मई तक पीजी के लिए हुए ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन
- थर्ड डिवीजन वाले स्टूडेंट्स को आरयू से संबद्ध कॉलेजज नहीं दे रहे एडमिशन
- पीजी के सैकड़ों कैंडिडेट्स का भविष्य दांव पर, साल बर्बाद होने का छाया संकट
बरेली: स्टूडेंट्स के भविष्य से खिलवाड़ करने से आरयू बाज नहीं आ रहा है। यूजी के सैकड़ों स्टूडेंट्स से फीस जमा कराने के बाद आरयू अब एडमिशन नहीं दे रहे है। और तो और जब वह एडमिशन लेने पहुंच रहे हैं तो उन्हें रूल्स समझाए जा रहे हैं। आरयू से संबद्ध कॉलेज स्टूडेंट्स से कह रहे हैं कि आपके यूजी में 45 परसेंटेज हैं इसलिए हम पीजी में एडमिशन नहीं दे सकते। हैरत की बात है कि सब रूल्स में परसेंटेज कम होने पर एडमिशन का प्रावधान नहीं तो आरयू ने रजिस्ट्रेशन फीस क्यों जमा करा ली। गलती किसी भी को इसका खामियाजा तो स्टूडेंट्स को ही भुगतना पड़ेगा। अब यह स्टूडेंट्स डेली आरयू के चक्कर लगा रहे हैं पर कोई राहत मिलती नहीं दिख रही है।
100 रुपए है रजिस्ट्रेशन फीस
45 प्रतिशत से कम मार्क्स वाले सैकड़ों स्टूडेंट्स ने आरयू से ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन कराया है। सभी स्टूडेंट्स ने रजिस्ट्रेशन के लिए 100-100 रुपए दिए हैं। लेकिन जब स्टूडेंट्स एडमिशन लेने गए तो उन्हें एडमिशन देने से इनकार कर दिया। कॉलेजज का कहना है कि यूजी में 45 प्रतिशत मार्क्स से कम आए हैं। ऐसे में वे एडमिशन नहीं दे सकते। आरयू ने यह रूल पहले ही लागू कर रखा है इसलिए वे पीजी में रेग्यूलर एडमिशन नहीं दे सकते।
प्राइवेट का दिखाया रास्ता
आरयू से संबद्ध कॉलेजज का कहना है कि स्टूडेंट्स प्राइवेट फार्म अप्लाई कर एडमिशन ले सकते हैं। वहीं स्टूडेंट्स की रजिस्ट्रेशन की बात बताने पर उन्होंने कहा कि रजिस्ट्रेशन कैसे हो गए, उन्हें इसकी कोई जानकारी नहीं है।
जिम्मेदारों ने झाड़ा पल्ला
बड़ी खामी होने पर आरयू के जिम्मेदार पल्ला रहे हैं। आरयू प्रशासन का कहना है कि इसमें एजेंसी की कहीं कमी रह गई है। जिस कारण यूजी में 45 प्रतिशत मार्क्स से कम लाने वाले कैंडिडेट्स के भी रजिस्ट्रेशन पीजी के लिए हो गए हैं।
पिछले साल भी हुई थी गलती
आरयू का इस तरह का मामला पिछले वर्ष भी सामने आया था। जिस पर आरयू ने गलती ठीक कराने को कहा था, लेकिन वेबसाइट की कमी को सुधारा नहीं गया। जिसकी वजह से स्टूडेंट्स इस साल परेशान हो रहे हैं।
- कक
प्रो। अनिल शुक्ल, वीसी, आरयू
आरयू ने धोखा किया
-यूजी में जिन स्टूडेंट्स के 45 परसेंट से कम मार्क्स हैं। उनके पीजी के लिए रजिस्ट्रेशन ही नहीं होने चाहिए। जब रजिस्ट्रेशन कर लिए है तो एडमिशन भी देना चाहिए।
शीतल
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-स्टूडेंट्स के साथ आरयू ने यह तो धोखा किया है। जिन कैंडिडेट्स की योग्यता नहीं थी उनके एडमिशन नहीं लेने थे तो ऐसे कैंडिडेट्स के रजिस्ट्रेशन ही क्यों कराए।
प्रीती गंगवार
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रजिस्ट्रेशन करने के बाद आरयू अब एडमिशन नहीं दे रहा है, जिससे स्टूडेंट्स कॉलेजेज के चक्कर लगा रहे हैं। आरयू ने रजिस्ट्रेशन फीस रख ली और अब एडमिशन नहीं दे रहा है।
चांदनी
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-कैंडिडेट्स को सिर्फ आरयू ने परेशान करने का काम किया है। इस तरह से कैंडिडेट्स को परेशान नहीं करना चाहिए। जब एडमिशन नहीं देना था तो रजिस्ट्रेशन क्यों कराया।
प्रीती