टीम इंडिया के लिए 10 साल तक क्रिकेट खेलने वाले बाएं हाथ के ओपनर बल्लेबाज गौतम गंभीर ने क्रिकेट से संन्यास ले लिया। गंभीर को साल 2011 वर्ल्ड कप फाइनल में 97 रन की मैचजिताऊ पारी खेलने के लिए याद किया जाता है। गंभीर की इस शानदार पारी की बदौलत भारत विश्व चैंपियन बना था। इसके अलावा गंभीर ने अपने एक दशक लंबे करियर में भारत के लिए कई यादगार पारियां खेलीं। गंभीर ने कुल 147 वनडे मैचों में हिस्सा लिया। इसमें गंभीर के बल्ले से 39.68 की औसत से 5238 रन निकले, जिसमें 11 शतक और 34 अर्धशतक शामिल हैं। वहीं गंभीर ने अपने टेस्ट करियर में 58 मैच खेले। इस दौरान उनके बल्ले से 4154 रन निकले। इसमें 9 शतक और 22 अर्धशतक शामिल हैं।
Flashback 2018 : वो 10 क्रिकेटर जो इस साल क्रिकेट को कह गए अलविदा


भारतीय क्रिकेटर मोहम्मद कैफ ने भी इस साल क्रिकेट के सभी प्रारूपों से संन्यास ले लिया। कैफ को 16 साल पहले इंग्लैंड के खिलाफ नेटवेस्ट ट्रॉफी में भारत को जीत दिलाने के लिए याद किया जाता है। 37 वर्षीय कैफ ने अपने टि्वटर पेज पर एक इमोशनल मैसेज के साथ क्रिकेट को अलविदा कहा। दाएं हाथ के मिडिल ऑर्डर बैट्समैन और शानदार फील्डर रहे कैफ ने करीब 12 साल पहले अपना आखिरी इंटरनेशनल मैच खेला था। कैफ ने भारत की तरफ से 13 टेस्ट और 125 वनडे मैच खेले।

भारतीय क्रिकेट टीम के तेज गेंदबाज प्रवीण कुमार ने भी इस साल क्रिकेट को अलविदा कहा। 32 साल के हो चुके तेज गेंदबाज प्रवीण कुमार ने 2007 में पाकिस्तान के खिलाफ अपने इंटरनेशनल क्रिकेट की शुरुआत की थी। और करीब पांच साल तक टीम इंडिया में रहे। इस दौरान वह कई बार टीम से अंदर-बाहर रहे। वह गेंद को दोनों तरफ घुमाकर बल्लेबाज को आसानी से चकमा दे देते थे। हालांकि उन्होंने अपना आखिरी वनडे भी पाकिस्तान के खिलाफ ही खेला था। प्रवीण कुमार ने अपना आखिरी इंटरनेशनल मैच 2012 में खेला था। हालांकि टेस्ट टीम से वह एक साल पहले ही टीम से बाहर हो गए थे। प्रवीण कुमार ने भारत की तरफ से कुल 6 टेस्ट मैच खेले हैं जिसमें उन्होंने कुल 27 विकेट अपने नाम किए। वहीं वनडे की बात करें तो इस गेंदबाज के नाम 68 वनडे मैचों में 77 विकेट दर्ज हैं।

13 साल लंबे क्रिकेटिंग करियर के बाद तेज भारतीय गेंदबाज आरपी सिंह ने इस साल क्रिकेट को बॉय-बॉय बोल दिया। आरपी सिंह जितने क्रिकेटरों के साथ खेले उसमें उनके सबसे ज्यादा करीबी सुरेश रैना और एमएस धोनी रहे। साल 2007 वर्ल्ड कप फाइनल में धोनी को वर्ल्ड चैंपियन बनाने वाले आरपी सिंह ही थे। आरपी ने अपने पूरे करियर में 14 टेस्ट में 40 विकेट अपने नाम किए वहीं 58 वनडे खेलकर उन्होंने 69 विकेट चटकाए। टी-20 इंटरनेशनल करियर की बात करें तो इस तेज गेंदबाज के नाम 10 मैचों में 15 विकेट दर्ज हैं। करीब 7 साल से अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट नहीं खेल रहे आरपी ने पहले उत्तर प्रदेश और फिर गुजरात की तरफ से फर्स्ट क्लॉस क्रिकेट खेला। उनके नाम 94 मैचों में 301 विकेट दर्ज हैं।

साउथ अफ्रीका के तेज गेंदबाज मोर्ने मोर्कल ने भी इस साल क्रिकेट से संन्यास लिया। मोर्कल अपनी तेज रफ्तार गेंदों से बल्लेबाजों में खौफ पैदा करने के लिए जाने जाते थे। मोर्कल ने साउथ अफ्रीका के लिए 86 टेस्ट मैच खेले जिसमें 309 विकेट अपने नाम किए। वहीं वनडे की बात करें तो 117 मैचों में इस गेंदबाज ने 188 विकेट चटकाए।

श्रीलंका के दिग्गज गेंदबाज रंगना हेराथ अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट से संन्यास ले चुके हैं। बाएं हाथ के स्पिनर हेराथ 20वीं सदी में डेब्यू करने वाले आखिरी एक्टिव क्रिकेटर थे। उनके जाते ही टेस्ट क्रिकेट में अब ऐसा कोई खिलाड़ी नहीं बचा जिसने साल 2000 से पहले डेब्यू किया हो। 40 साल के रंगना हेराथ ने नवंबर 2018 में इंग्लैंड के खिलाफ अपना आखिरी टेस्ट खेला था। रंगना ने 92 टेस्ट मैच खेलकर 430 विकेट अपने नाम किए। इसमें 9 बार उन्होंने 10 विकेट, 34 बार 5 विकेट और 20 बार मैच में 4 विकेट लेने का कारनामा किया। वहीं वनडे की बात करें तो हेराथ ने 71 मैच खेलकर 74 विकेट अपने नाम किए।

इंग्लैंड के इस दिग्गज बल्लेबाज ने इस साल मध्य में इंटरनेशनल क्रिकेट को अलविदा कह दिया। कुक के नाम लगातार 153 टेस्ट मैच खेलने का रिकाॅर्ड दर्ज है। एलिस्टर कुक ने अपने क्रिकेटिंग करियर की शुरुआत 2006 में की थी। पहले तो उन्हें सभी फॉर्मेट में खेलने का मौका मिला, मगर धीरे-धीरे उनकी पहचान एक टेस्ट क्रिकेटर के तौर पर होने लगी। कुक के नाम जहां 160 टेस्ट मैचों में 12,254 रन दर्ज हैं जिसमें 33 सेंचुरी शामिल हैं। आपको बता दें कुक उन चुनिंदा क्रिकेटरों में शामिल हैं जिन्होंने डेब्यू और आखिरी दोनों मैचों में शतक जड़ा। 33 साल के इस खिलाड़ी ने पूरे करियर में सिर्फ चार टी-20 मैच खेले, जिसमें उनके नाम कुल 61 रन दर्ज हैं। वहीं वनडे की बात करें तो कुक ने 92 मैचों में 36.40 की औसत से 3204 रन बनाए हैं। जिसमें पांच शतक और 19 अर्धशतक शामिल हैं। एलिस्टर ने अपना आखिरी टी-20 2009 में और आखिरी वनडे 2014 में खेला था।

साउथ अफ्रीका में जन्में केविन पीटरसन ने इंग्लैंड की तरफ से सालों तक इंटरनेशनल मैच खेले हैं। 2005 में अपने अंतरर्राष्ट्रीय करियर की शुरुआत करने वाले पीटरसन के नाम 104 टेस्ट में 8181 रन दर्ज हैं। इसमें 23 शतक और 35 अर्धशतक भी शामिल हैं। वहीं वनडे की बात करें तो उन्होंने 134 वनडे मैचों में 41.32 की औसत से 4,442 रन बनाए हैं। इस दौरान उनके बल्ले से 9 शतक और 25 अर्धशतक भी निकले। पीटरसन इंग्लैंड के केवल तीसरे ऐसे बल्लेबाज हैं जिन्होंने टी-20 इंटरनेशनल मैचों में हजार से ज्यादा रन बनाए हैं।

साउथ अफ्रीका के महान बल्लेबाज एबी डिविलियर्स ने मई 2018 में इंटरनेशनल क्रिकेट से संन्यास लिया। 14 साल लंबे करियर में एबी ने बहुत उपलब्धियां हासिल की। अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में सबसे तेज़ वनडे शतक लगाने का रिकॉर्ड भी ए बी डिविलियर्स के नाम ही है। ये कमाल उन्होंने 18 जनवरी 2015 को वेस्टइंडीज के खिलाफ महज 31 गेंदों में शतक लगाकर किया था। डीविलियर्स ने कोरी एंडरसन के 36 गेंदों में शतक के रिकॉर्ड को ध्वस्त कर ये रिकॉर्ड बनाया था। उन्होंने 16 छक्कों और 9 चौके की मदद से वनडे का यह कीर्तिमान बनाया। उन्होंने इस मैच में कुल 149 रन बनाए थे। डिविलियर्स ने 114 टेस्ट मैचों में 50.66 की औसत से 8765 रन बनाए। इसमें 22 शतक और 46 अर्धशतक शामिल हैं, वहीं वनडे की बात करें तो इस दिग्गज बल्लेबाज ने 228 वनडे मैचों में 53.50 की औसत से 9577 रन बनाए। इसमें 25 शतक और 53 अर्धशतक शामिल हैं।

टीम इंडिया के तेज गेंदबाज रहे मुनाफ पटेल भी 2018 में क्रिकेट को अलविदा कह गए। मुनाफ ने साल 2006 में भारत के लिए डेब्यू किया था। मुनाफ ने पहला टेस्ट और वनडे इंग्लैंड के खिलाफ खेला था। इस तेज गेंदबाज ने भारत के लिए 13 टेस्ट खेले जिसमें 35 विकेट अपने नाम किए वहीं वनडे की बात करें तो इस तेज गेंदबाज के खाते में 70 मैच आए जिसमें 86 विकेट चटकाए। आपको बता दें मुनाफ 2011 वर्ल्ड कप में भारतीय टीम का हिस्सा रहे हैं।