-आमद या फिर छुट्टी से लौटे इंस्पेक्टर, दारोगा और सिपाही को कराना है कोरोना की जांच

- कोरोना की जांच रिपोर्ट आने तक नंदानगर क्वारंटीन होने में करते हैं आनाकानी

GORAKHPUR:

डाक्टर साहब छुट्टी से आए हैं। कोरोना का जांच करवाना है। डाक्टर की तरफ से जवाब आता है कि पहले लाइन से आईए। मरीजों की इतनी लंबी लाइन लगी है और आप लाइन तोड़कर आगे चले आए, वो भी कोरोना की जांच के लिए। दरअसल, इन दिनों जिला अस्पताल में प्रतिदिन जहां सामान्य मरीज इलाज के लिए आ रहे हैं। वहीं पुलिस डिपार्टमेंट की तरफ से भेजे जा रहे कोरोना जांच के लिए इंस्पेक्टर, दरोगा व सिपाही भी पहुंच रहे हैं। लेकिन सामान्य मरीजों के लाइन में लगने के बजाय आगे लाइन तोड़कर डाक्टर से जल्दी दिखाने की सिफारिश कर रहे हैं। लेकिन डाक्टर भी ऐसे पुलिस वालों को कोरोना जांच से साफ इंकार कर रहे हैं।

कोरोना जांच का पुलिस वालों को सता रहा टेंशन

बता दें, जिला अस्पताल में न्यू ओपीडी से लगाए पुराने ओपीडी में मरीजों की संख्या बढ़ती ही जा रही है। शुक्रवार को मरीजों की संख्या भी 800 से ऊपर रही। लेकिन इधर कुछ दिनों से मरीजों के बीच पुलिस वाले कोरोना जांच के लिए इधर-उधर भटक रहे हैं। ये वे पुलिस वाले हैं। जो दूसरे जिले यानी आजमगढ़, मऊ, बलिया, देवरिया, कुशीनगर समेत दूसरे जिले से आमद कराकर या फिर छुट्टी लेकर गोरखपुर जिले में आ रहे हैं। लेकिन कोरोना जांच कंप्लसरी होने के कारण उन्हें जिला अस्पताल जाना मजबूरी है। वहीं जब कोरोना जांच के लिए पुलिस विभाग के पत्र लिए कोरोना प्रभारी डॉ। राजेश कुमार के पास पहुंच रहे हैं तो वे भी इनके जांच कोरोना परीक्षण के लिए सैंपल लेकर इन्हें क्वारंटीन की सलाह दे रहे हैं। डॉ। राजेश ने बताया कि 12-15 पुलिस वाले डेली आते हैं। जिन्हें कोरोना परीक्षण करवाना है। ऐसे लोगों को कोरोना जांच के लिए सैंपल लेकर उन्हें नंदा नंगर स्थित टीबी अस्पताल में क्वारंटीन सेंटर भेज दिया जाता है। क्वारंटीन सेंटर में तब तक रहना है। जब तक की रिपोर्ट नहीं आ है। हालांकि अभी तक किसी की रिपोर्ट पॉजिटिव नहीं आई है। लेकिन रिपोर्ट आने तक इन्हें क्वारंटीन सेंटर में ही रहना है। जिला अस्पताल से मिली जानकारी के मुताबिक, एक इंस्पेक्टर ने इलाज के दौरान डाक्टर को बताया कि उसके मोबाइल में आरोग्य सेतू एप्प डाउनलोड है। लेकिन बार-बार यह बता रहा है कि वह किसी संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में था। इसलिए जल्द से जल्द जांच कीजिए।

रिपोर्ट आने तक रहना है क्वारंटीन सेंटर में

उधर नंदा नगर स्थित टीबी अस्पताल (क्वारंटीन सेंटर) प्रभारी व एडिशनल सीएमओ डॉ। आईवी विश्वकर्मा बताते हैं कि क्वारंटीन सेंटर में आने वाले लोगों को खाने पीने की सुविधा है। प्रॉपर डाक्टर्स द्वारा स्वास्थ्य परीक्षण किया जाता रहता है। वहीं जिन पुलिस वालों को क्वारंटीन किया गया है। वे बराबर अपने रिपोर्ट के इंतजार में क्वारंटीन सेंटर में बीपी व शुगर को लेकर चिंतित हैं। साथ ही साथ रिपोर्ट पॉजिटिव आएगी या निगेटिव, इस बात को लेकर भी बार-बार क्वारंटीन सेंटर के असिस्टेंट डाक्टर्स से भी पूछते रहते हैं। कुछ पुलिस वाले तो अपने कमांडेंट और आईसीओ (उच्च अधिकारी) से बार-बार रिपोर्ट चिंतित दिखाई देते हैं।

वर्जन

कोरोना जांच के सैंपल लिए जा रहे हैं। रिपोर्ट जब तक नहीं आ जाती तब तक क्वारंटीन सेंटर में रूकना होगा। रिपोर्ट आने के बाद ही पुलिस वाले रिपोर्ट प्राप्त कर सकेंगे। पॉजिटिव आने पर आईसोलेशन वार्ड में जाएंगे। वरना उन्हें होम क्वारंटीन की सलाह दी जाएगी।