- बिजली कटौती से दवाओं के खराब होने का डर

- कोल्ड चेन में रखी जाती हैं कई महंगी वैक्सीन

- लगातार बिजली कटौती से बिलिंग पर हो रहा असर

आगरा। बिजली कटौती से पूरा शहर त्राहिमाम कर रहा है। लेकिन क्या हो अगर बिजली कटौती आपकी सेहत ही बिगाड़ दे। हैरान हो गए ना लेकिन यह सच्चाई है। बिजली कटौती की वजह से बहुत सारी दवाओं के खराब होने का संकट खड़ा हो गया है। इन दवाओं में हजारों रुपये की वैक्सीन शामिल हैं। दवा व्यापारी परेशान हैं। मरीज अंजान है।

दवाएं खराब होने का बना डर

बिलिंग के अलावा जिस चीज का सबसे ज्यादा डर बना हुआ है वो ही वैक्सीन खराब होने का। कुछ वैक्सीन स्पेशल कोल्ड चेन में रखी जाती हैं। इस कोल्ड चेन से दवाएं बाहर आते ही खराब हो जाती हैं। अगर बार-बार लाइट जाएगी तो उनकी कूलिंग पर असर पड़ेगा जिसका सीधा प्रभाव दवाओं पर पड़ेगा। वो खराब हो सकती हैं।

25 हजार तक की है वैक्सीन

इन वैक्सीन की कीमतें भी काफी हैं। इनमें महंगी एंटीबायोटिक्स से लेकर कैंसर की दवाएं, प्रेग्नेंसी की दवाएं और हार्ट की दवाएं भी शामिल हैं। इनकी कीमत 500 से लेकर 25 हजार रुपये तक है

मरीजों की जान को है खतरा

अगर दवाएं खराब होती हैं तो इसका सीधा असर मरीजों की जान पर पड़ेगा। दवा व्यापारियों को भी नहीं पता कि कौन सी दवा खराब हो गई और कौन सी सही है। उन्होंने अगर खराब वैक्सीन बेच दी तो इससे मरीज की जान भी जा सकती है, इसी बात से दवा व्यापारी डरे हुए हैं कि इसके लिए वो दोषी बन जाएंगे।

यह वैक्सीन रहती हैं कोल्ड चेन में

- एनजेरिक्स बी वैक्सीन -हेपेटाइटिस के लिए

- गायनोटोसिन व मेथरजिन - गायनाकोलोजिस्ट के लिए

- प्रोस्टोडिन प्रेग्नेंसी में आर्टीफिशियल पेन के लिए

- एलब्यूमिन- हिमोग्लोबिन बढ़ाने के लिए

- रैबीपुर

- वेवोरेब

-ह्यूमालोग

- सर्विप्रिम जेल

- बोट्रोपास

- हिस्टाग्लोब

- इविग- प्लेटलेट्स बढ़ाने के लिए

- इंसूलिन

घंटों गायब रहती है लाइट

यह समस्या पूरे शहर की है। लेकिन इसका सबसे ज्यादा असर दवा बाजार पर दिख रहा है। दवा बाजार में भी घंटों लाइट गायब रहती है। दुकानदारों ने बताया कि सैटरडे को पूरा दिन लाइट नहीं रही थी, जिससे बिलिंग पर सबसे ज्यादा असर हुआ।

नहीं हो पा रही है बिलिंग

बिजली ना रहने से सबसे ज्यादा समस्या बिलिंग में आती है। दवा व्यापारियों का सारा काम अब ऑनलाइन हो गया है। बिलिंग से लेकर ऑर्डर तक वो ऑनलाइन ही करते हैं। ऐसे में लाइट ना रहने से उनका यूपीएस भी बैठ जाता है, इनवर्टर भी चार्ज नहीं हो पाता है। बिलिंग नहीं हो पाती है तो नुकसान भी काफी हो जाता है।

करोड़ों की बिलिंग पर असर

दवा बाजार में दवाओं की 400 के आसपास दुकानें हैं। हर दुकान पर एक अनुमान के मुताबिक हर रोज 30 हजार की सेल होती है। सेल का आंकड़ा अनुमान पर तय किया गया है क्योंकि किसी दुकान पर एक दिन में 25 हजार की सेल होती है तो किसी दुकान पर एक लाख की। इसलिए बीच का एक आंकड़ा निकाल लिया गया है। इस हिसाब से हर रोज एक करोड़ बीस लाख रुपये की बिलिंग पर असर पड़ता है।

आश्वासन के सिवा कुछ नहीं मिला

दवा व्यापारी कई बार टोरंट अधिकारियों से बात कर चुके हैं। उन्हें सारी समस्याएं बता चुके हैं। लेकिन अब तक उन्हें सिवाय आश्वासन के कुछ नहीं मिला.अब दवा व्यापारी आंदोलन की योजना बना रहे हैं।

हम परेशान हो चुके हैं। कई बार शिकायत करने के बाद भी सुनवाई नहीं हो रही है। हम अब आंदोलन करेंगे।

- पुनीत कालरा, दवा व्यापारी

वैक्सीन खराब हो जाएंगी तो इसका जिम्मेदार कौन है? यह हमारी जिम्मेदारी बन जाएगी लेकिन मरीज को हम समझा नहीं पाएंगे। बिजली की समस्या को टोरंट को दूर करना ही होगा।

- आशीष शर्मा, दवा व्यापारी

कोल्ड चेन में रखी जानी वाली दवाएं बहुत ही सेंसेटिव होती हैं। लाइट नहीं होगी तो इनके खराब होने का डर होता है।

- डॉ। सुनील बंसल, फिजीशियन

प्रेग्नेंसी में इस्तेमाल होने वाली कई दवाएं कोल्ड चेन में रखी जाती हैं। यह सारी दवाएं दवा बाजार से ही आती हैं। अगर कोई खराब दवा आ गई तो मां को भी नुकसान होगा और बच्च्े पर भी इसका असर होगा। जान भी जा सकती है।

- डॉ। रजनी पचौरी, गायनोकोलोजिस्ट

बिजली कटौती हमारे हाथ में नहीं है। जब लाइट कट होती है तो पूरे प्रदेश की एक साथ होती है। इसमें हम कुछ नहीं कर सकते हैं। लोकल फॉल्ट को हम एक-दो घंटे में ही ठीक कर देते हैं। बाकी का इंतजाम दवा व्यापारियों को रखना होगा।

- पंकज सक्सेना, एजीएम पीआर, टोरंट