RANCHI: राजधानी का मौसम रविवार को अचानक से बदल गया। सुबह से फॉग का असर और फिर दोपहर में हुई जमकर बारिश ने ठिठुराने वाली ठंड का अहसास कराया। लेकिन सबसे चौंकाने वाली बात यह थी कि बेमौसम हुई इस बारिश ने रांची नगर निगम के दावों की पोल खोलकर रख दी। दो घंटे की बारिश में ही नालियां ओवर फ्लो होने लगीं, जबकि नालियों का कचरा रोड पर बहकर आ गया। इस वजह से रोड पर चलने वालों को काफी परेशानी झेलनी पड़ी। वहीं कई इलाकों में वाटर लॉगिंग के बाद तो तालाब जैसा नजारा हो गया।

1.40 करोड़ खर्च पर नालियां ओवर फ्लो

रांची नगर निगम सिटी के नालों की सफाई पर हर महीने लाखों रुपए खर्च करता है। वहीं शहर की सफाई के लिए 70 लाख का डीजल फूंका जाता है। इतना ही खर्च स्टाफ्स व गाडि़यों के मेंटेनेंस पर भी किए जाते हैं। लेकिन नालियों की स्थिति जस की तस बनी हुई है। यही वजह है कि दो घंटे की बारिश में ही नालियों का कचरा रोड पर आ गया। अब सवाल यह उठता है कि इतना खर्च करने के बाद भी नालियां साफ क्यों नहीं हैं।

बारिश के बाद लुढ़का सिटी का टेंपरेचर

रांची में शनिवार के बाद रविवार को हुई बारिश से टेंपरेचर में तेज गिरावट दर्ज की गई। इस दौरान सिटी का मैक्सीमम टेंपरेचर 2 डिग्री लुढ़ककर 22 डिग्री पहुंच गया। जबकि मैक्सीमम टेंपरेचर भी गिरावट के बाद 15 डिग्री रहा। ठंडी हवाओं ने लोगों को घरों में रहने को मजबूर कर दिया। मौसम विभाग की मानें तो वेस्टर्न इफेक्ट का प्रभाव सोमवार तक रहेगा। वहीं बादलों के छंटते ही ठंड बढ़ेगी। मिनिमम टेंपरेचर में 2-3 डिग्री गिरावट की भी संभावना जताई गई है।

कई इलाकों में वॉटर लॉगिंग, पेड़ भी गिरे

हवा के साथ हुई झमाझम बारिश ने लोगों को ठिठुराने में कोई कसर नहीं छोड़ी। सिटी के कई इलाकों में वॉटर लॉगिंग भी हो गई। इसके अलावा कुछ इलाकों में पेड़ों की डालियां टूटकर गिरने की भी सूचना मिली हैं। हालांकि इससे किसी तरह के जान माल का नुकसान नहीं हुआ।

दिन में अंधेरा, जल गईं गाडि़यों की लाइट

दिन के बारह बजे तक मौसम ठीक था। फॉग का असर दिख रहा था तो लोगों ने इसे गंभीरता से नहीं लिया। अचानक से एक बजे के बाद अंधेरा छाने लगा। इसी बीच तेज बारिश भी शुरू हो गई। विजिब्लिटी भी कम हो गई कि 20 मीटर में कुछ क्लियर दिखाई नहीं दे रहा था। ऐसे में दिन में ही लोगों को अपनी गाडि़यों की लाइट जलानी पड़ गई।