RANCHI : अगर अब आप घर या अपार्टमेंट बनवाने के लिए नक्शा पास कराना चाहते हैं तो उसके लिए पहले आपको नये बनने वाले कैंपस में रेन वाटर हार्वेस्टिंग कराना अनिवार्य होगा। इसके बाद ही नगर निगम में आपका एप्लीकेशन एक्सेप्ट किया जाएगा। इतना ही नहीं नक्शा के लिए दिये जाने वाले आवेदन में रेन वाटर हार्वेस्टिंग कराने का एफिडेविट भी जमा करना होगा। इस नियम के लागू करने का मकसद शहर में गिरते वाटर लेवल को बचाना है।

300 स्क्वायर मीटर पर छूट

नगर निगम एरिया में 300 स्क्वायर मीटर रूफ से कम एरिया में घर बनाने वालों को इससे छूट रहेगी। इससे अधिक एरिया बढ़ते ही रेन वाटर हॉर्वेस्टिंग कराने का नियम लागू हो जाएगा। इसलिए नक्शे के लिए आवेदन देते समय यह एफिडेविट देना होगा कि बिल्डअप एरिया 300 स्क्वायर मीटर से अधिक है और वह अपने कैंपस में रेन वाटर हॉर्वेस्टिंग जरूर कराएगा।

1.82 हाउस होल्डर्स हैं रजिस्टर्ड

रांची नगर निगम एरिया में हाउस होल्डर्स की संख्या बढ़ती जा रही है। अबतक एक लाख 80 हजार से अधिक हाउस होल्डर्स रजिस्टर्ड हो चुके हैं। वहीं नए हाउस होल्डर्स को जोड़ने के लिए भी अभियान चल रहा है। लेकिन सिटी में अबतक सिर्फ 40 हजार लोगों ने ही अपने कैंपस में रेन वाटर हॉर्वेस्टिंग कराया है। ऐसे में अधिक से अधिक लोगों को रेन वाटर हॉर्वेस्टिंग कराने के लिए अवेयर भी किया जा रहा है।

खतरे की घंटी के बाद जागा निगम

सेंट्रल ग्राउंड वाटर बोर्ड ने जून में एक रिपोर्ट जारी की थी, जिसमें बताया गया था कि रांची में बहुत ही तेजी से ग्राउंड वाटर लेवल नीचे जा रहा है। इसका असर आने वाले 10 सालों में साफ तौर से देखने को मिलेगा। साथ ही यह भी बताया गया था कि हर साल एवरेज छह फीट वाटर लेवल नीचे खिसक रहा है। वहीं इस साल कम बारिश ने भी अधिकारियों की नींद उड़ा दी है। यही वजह है कि इस खतरे की घंटी के निगम के अधिकारियों की नींद खुली है।

वर्जन

कोई भी बिल्डिंग जिसके रूफ का एरिया 300 स्क्वॉयर फीट से अधिक है उसे हर हाल में रेन वाटर हॉर्वेस्टिंग कराना है। जिसका एफिडेविट भी देना होगा। इसके बाद ही नक्शा पास किया जाएगा।

मनोज कुमार, नगर आयुक्त, आरएमसी