RANCHI: पूरे देश में झारखंड का जामताड़ा जिला साइबर क्राइम के मामले में विख्यात है। पर, अब इसका दायरा पूरे देश में फैल गया है। रांची पुलिस ने कर्नाटक पुलिस की मदद से ऐसे साइबर ठगों को गिरफ्तार करने में सफलता पाई है, जो तेलंगाना, बिहार, कर्नाटक, तमिलनाडू से आकर रांची में रहते थे और लोगों से ठगी करते थे। रांची एसएसपी ने बताया कि कर्नाटक पुलिस चिक मंगलूर टाउन थाना में बीते ख्0 मार्च को दर्ज हुए कांड संख्या क्8ख्/क्7 की छानबीन करते हुए रांची पहुंची थी। यहां जगन्नाथपुर पुलिस के साथ मिलकर पटेलनगर रोड नंबर क्भ् स्थित एक दो मंजिले मकान में छापेमारी कर अपराधियों को गिरफ्तार किया गया। गिरोह का सरगना कारू सिंह समेत चार लोग अबतक फरार हैं।

क्ख् लाख की सफारी के नाम पर ठगे क्.ब्8 लाख

कर्नाटक पुलिस की टीम में शामिल सब-इंस्पेक्टर केआर रघु के मुताबिक, ऊडु़पी जिला निवासी व्यवसायी मोहन भट्ट से अपराधियों ने चेहरा पहचानों और इनाम जीतो प्रतियोगिता के जरिए क्.ब्8 लाख रुपए की ठगी कर ली। अपराधियों ने उन्हें क्ख् लाख की सफारी कार निकलने के नाम पर झांसे में लिया और तीन किस्तों में क्.ब्8 लाख रुपए जमा करवा लिए। इसमें पहली किस्त में क् प्रतिशत राशि, दूसरी में क्.भ् प्रतिशत और तीसरी किस्त में तीन प्रतिशत राशि अपने बैंक खाते में जमा करवाए। इसके बाद लगातार पैसे की मांग करते रहे। ठगी का मामला दर्ज कराया गया है।

छापेमारी टीम के पुलिसकर्मी (बॉक्स)

सब इंस्पेक्टर केआर रघु, शशिधर सरकार, रोहित, गौड़ा और मधुकर कुमार शामिल हैं।

ऐसे करते थे जालसाजी (बॉक्स)

फोन के माध्यम से एटीएम का पिन पूछकर ऑनलाइन ठगी, नौकरी के नाम पर ऑनलाइन ठगी, ऑनलाइन शॉपिंग के नाम पर ठगी, सेक्सव‌र्द्धक दवाओं की बिक्री के नाम पर ऑनलाइन ठगी।

ये सामान हुए हैं बरामद

गिरफ्तार अपराधियों के पास से एक लैपटॉप, म्भ् मोबाइल फोन, क्ख् एटीएम, एक प्रिंटर बरामद किया गया है।

ये साइबर क्रिमिनल्स गिरफ्तार (बॉक्स)

-बिहार के गोपालगंज उचक्का निवासी विजय सिंह, तेलंगाना महबूब नगर निवासी एम चीना, पिता हनुमान नायक, अड़ाकेल निवासी रवि पिता मनेश, के वेंकेट पिता गोपाल, बंबापुर संजीव के पिता राजना, कमरपलि निवासी कृष्णकांत मृर्ति पिता तुकाराम, जिला करीमनगर, के रबिंदु पिता लइसीन राजक, अदलाबाद जिला के बेलापाली निवासी टेचन दूबे पिता नेमी प्रसाद दूबे, शंकर एस पिता बोन देओल, मोहनूर जिला के तारयां पिता मानयां, कर्नाटक चिक मेंगलूर निवासी अब्दुल हाशिम पिता अब्दुल मजीद, रमयापुरी निवासी संजीत पिता डिसनी, गदाग जिला निवासी हुसैन पिता कासीम, रायचुर गौरडना भावी निवासी मंजूनाथ पिता गोवी सिद्धाया, कोपका बेनूर निवासी नागलिगा पिता हनुमानथ, अमरेश पिता बसना, आंध्र प्रदेश के पाला ससुडम निवासी राजमोहन पिता अपागोरे, तमिलनाडु के राजानगर निवासी राजा पिता सेलवम, विगनेस पिता राजवी, तेलुवलूर निवासी मारती गान व परवीन कुमार पिता आर मुगम शामिल हैं।

नौकरी की तलाश में बन गए साइबर अपराधी (बॉक्स)

गोपालंगज के विजय सिंह ने पुलिस को बताया कि वह नौकरी की तलाश में रांची पहुंचा था। अखबार में विज्ञापन देखकर इंटरव्यू देने पहुंचा तो साइबर अपराधी मिले। इसके बाद उन्होंने साइबर अपराध करने के लिए प्रेरित किया। जल्दी पैसे कमाने की होड़ में वह साइबर अपराधी बन गए। अन्य अपराधियों ने बताया है कि उन्हें साइबर अपराध के लिए काम करने के एवज में क्ख् से क्ब् हजार रुपए वेतन दिया जाता है।