हंसी हमेशा एक मैसेज के साथ आती है जिसमें हमारी सिचुएशंस, डर, मुश्किलों, खुशियों और इच्छाओं का एक सच होता है. जब यह सच हंसी की फुहारों के साथ हम तक पहुंचता है तो हम लम्बे वक्त तक सुकून महसूस करते हैं. अगर आपको हंसने का कोई मौका मिले तो चूकिए मत. खुलकर हंसिए. इतना हंसिए कि आपके साथ दुनिया हंसे.

हंसने के लिए किसी भाषा की जरूरत नहीं होती, कोई तरीका भी नहीं होता. जब चाहें, जैसे चाहें, जहां चाहें दिल खोलकर हंसें. जब तक आप खुद पर हंसते हैं लोग आपकी इज्जत करते हैं लेकिन जब आप हंसना बंद कर देते हैं तो दूसरे आप पर हंसने लगते हैं, इसलिए हंसना बंद न करें.खुश रहने के लिए हेल्दी एंड वेल्दी फैमिली, ऑफिस वर्क सेटिस्फैक्शन, दोस्तों का साथ... और भी बहुत सी वजहें हो सकती हैं लेकिन हंसी इसमें सबसे खास है. हंसने के लिए इन ढेर सारी चीजों की जरूरत नहीं होती.

कॉमेडियन राजन श्रीवास्तव कॉमेडी को जिंदगी की जरूरत बताते हैं, ‘कॉमेडी लोगों के खालीपन को भरती है. मैंने रियलाइज किया है कि जो लोग सुकून में होते हैं वे कम हंसते हैं लेकिन जो परेशानियों से घिरे होते हैं वे खुलकर हंसते हैं.’

कॉमेडियन राजीव निगम कहते हैं, ‘कॉमेडी से लोग केवल दिल से नहीं बल्कि पूरे शरीर से हंसते है. यह लोगों का दर्द बांटती है और खुशियां लौटाती है. कॉमेडी अपने साथ सच्चाई और अच्छाई  तोहफे में लाती है, जो हेल्दी सोसायटी के लिए टॉनिक का काम करती है.’

Laugh, and establish a connection with yourself

अक्सर उदासी के पलों में आप खुद से ही अलग-थलग सा महसूस करते हैं वहीं मूड अच्छा हो तो खुद से जुड़ी छोटी-छोटी बातों पर भी ध्यान देते हैं.

प्रसिद्ध व्यंगकार आलोक पुराणिक के शब्दों में, ‘जो सरल और सहज होते हैं वे सबसे ज्यादा हंसते हैं, साथ ही अगर आप हंसने का कोई मौका नहीं चूकते तो पहले से ज्यादा सहज और सरल बनते जाते हैं.’

हंसी के अंदाज में बात कहने का एक और फायदा भी है, इससे तीखी से तीखी बात को भी एक्सेप्टेंस मिलता है. आलोक पुराणिक कहते हैं, ‘कॉमेडी के साथ सोसायटी डेमोक्रेटिक होती है. लोग अपने खिलाफ और अपने पक्ष में कही हुई सच्चाई को ईजिली एक्सेप्ट करते है. कॉमेडी जब मैसेज कम्यूनिकेट करती है तो दूसरे पल ही तालियों की गूंज उसकी एक्सेप्टेंस साबित करती है.’

Very close to truth

हंसी भी कई तरह की होती है, एक जो बस हंसी-हंसी में ही उड़ जाए. दूसरी, जो हो तो मजाक में ही लेकिन आपको सोचने के लिए मजबूर कर दे. कभी हंसी-हंसी में ही अपने दोस्त से उसकी किसी कमी के बारे में कहकर देखिए. वह रिएक्ट नहीं करेगा, हो सकता है आपके साथ हां में हां मिलाकर अपने ही ऊपर हंसने लगे. तो फिर इस हंसी की एनर्जी को क्यों न अपनी कमियां तलाशने और उन्हें दूर करने में खर्च किया जाए.

It not only relaxes you

फिलॉसफर इमानुअल कांट कॉमेडी को केवल मेंटली रिलैक्स होने तक सीमित नहीं करते. उन्होंने अपनी बुक ‘द क्रिटिक ऑफ जजमेंट’ में लिखा हैं, ‘कॉमिक सिचुएशन की वजह से हमारा मेंटल स्ट्रेस दूर हो जाता है और हम रिलीफ फील करते हैं, लेकिन कॉमेडी का यह कांसेप्ट उसे बहुत लिमिटेड बनाता है. दरअसल कॉमेडी आजादी का एक रूप है जो कि इंसान की इंसानियत की अभिव्यक्ति के लिए जरूरी है.’

Other side

Benefits of laughter therapy

रिसर्चेज ने प्रूव किया है कि हंसी इम्यून सिस्टम को स्ट्रांग करने के साथ ही बॉडी और माइंड के बीच बैलेंस बनाए रखती है. स्ट्रेस रिलीविंग के लिए लॉफिंग थेरेपी लोगों के बीच तेजी से पॉपुलर हो रहा है. आइए जानते हैं इसके दूसरे बेनिफिट्स...

Hormones

हंसी बॉडी में कॉर्टीसोल, ईपीनेफ्रिन और डोपामाइन जैसे स्ट्रेस हॉर्मोंस के लेवल को कम करता है जबकि हेल्थ एन्हैंसिंग हॉर्मोन इंर्डोफिन्स का लेवल बढ़ाती है.

यह बॉडी में एंटीबॉडी बनाने वाले सेल्स को भी बढ़ाता है. इससे ट्यूमर और कैंसर जैसी बीमारियों से लड़ा जा सकता है. लॉफिंग बॉडी में टी-सेल्स को एक्टिवेट करता है.

Internal workout: जोर से हंसते वक्त जब पेट पर बल पड़ता है तो इससे हमारी बॉडी की इंटर्नल एक्सरसाइज हो जाती है. हंसने के बाद मसल्स ज्यादा रिलैक्स्ड होते हैं. इससे हार्ट की भी अच्छी एक्सरसाइज होती है.

Distraction: जब हम गुस्से में होते हैं, ज्यादा गिल्ट फील करते हैं या स्ट्रेस और दूसरे निगेटिव इंमोशंस से घिरे होते हैं तो लॉफिंग रिलैक्स्ड होने के लिए बेस्ट है. यह हमें पॉजिटिव बनाती है और हम हर परेशानी को एक चैलेंज के रूप में एक्सेप्ट करते हैं.

Social benefits of laughter: लॉफिंग आपको सोशल बनाती है. इसके जरिए आप ज्यादा से ज्यादा लोगों से जुड़ते हैं. आपके खुशमिजाज होने का फायदा आपके आसपास के लोगों को भी होता है. सोशल इंटरैक्शन के जरिए आपके साथ ही दूसरों का भी स्ट्रेस लेवल कम होता है.

According to Charlie Chaplin, 'The most wasted day in life, is the day when we have not laughed.'