कानपुर (इंटरनेट डेस्क)। इंटरनेशनल पॉप स्टार रिहाना ने भारत सरकार द्वारा पेश किए गए तीन कृषि कानूनों के खिलाफ भारत की राजधानी की सीमाओं पर विरोध प्रदर्शन कर रहे किसानों को अपना समर्थन दिया और पूछा कि लोग इसके बारे में बात क्यों नहीं कर रहे हैं। 32 वर्षीय पॉप स्टार ने दिल्ली के पड़ोसी राज्य हरियाणा के कई जिलों में इंटरनेट बंद होने पर सीएनएन द्वारा एक रिपोर्ट साझा किया। रिहाना ने पोस्ट में लिखा, "हम इस बारे में बात क्यों नहीं कर रहे हैं?", इस ट्वीट के साथ उन्होंने हैशटैग #FarmersProtest भी जोड़ा।
कंगना ने दिया करारा जवाब
रिहाना का इधर किसान आंदोलन के समर्थन में ट्वीट करना था, उधर कंगना ने जवाब देना शुरु कर दिया। एक्ट्रेस कंगना जिन्होंने कृषि कानूनों का समर्थन किया था, उन्होंने रिहाना को "मूर्ख" कहा और कहा कि प्रदर्शनकारी किसान नहीं थे, वे आतंकवादी हैं जो भारत को विभाजित करने की कोशिश कर रहे हैं"। कंगना ने रिहाना के ट्वीट का जवाब देते हुए लिखा, 'कोई भी इसके बारे में बात नहीं कर रहा है क्योंकि वे किसान नहीं हैं वे आतंकवादी हैं जो भारत को विभाजित करने की कोशिश कर रहे हैं, ताकि चीन हमारे कमजोर टूटे हुए राष्ट्र पर कब्जा कर सके और इसे संयुक्त राज्य अमेरिका की तरह चीनी उपनिवेश बना सके। आप मूर्ख हो, शांत बैठो।'
No one is talking about it because they are not farmers they are terrorists who are trying to divide India, so that China can take over our vulnerable broken nation and make it a Chinese colony much like USA...
— Kangana Ranaut (@KanganaTeam) February 2, 2021
Sit down you fool, we are not selling our nation like you dummies. https://t.co/OIAD5Pa61a
सोशल मीडिया पर समर्थन में कंगना
बता दें कंगना रनोट काफी समय से सोशल मीडिया पर किसान आंदोलन का समर्थन कर रहे सेलेब्स पर पलटवार कर रही हैं। रिहाना से पहले कंगना ने बाॅलवुड एक्ट्रेस प्रियंका चोपड़ा और एक्टर-सिंगर दिलजीत दोसांझ को भी करारा जवाब दिया था। इस बीच एक कनाडाई YouTuber, कॉमेडियन, टॉक शो होस्ट, और एक्ट्रेस लिली ने भी किसान आंदोलन के समर्थन में ट्वीट किया, "हाँ! आपका बहुत बहुत धन्यवाद। यह रिहाना है। यह मानवता का मुद्दा है! #IStandWithFarmers
लाल किले पर हो चुकी हिंसा
इस बीच, हरियाणा सरकार ने 3 फरवरी को शाम 5 बजे तक राज्य के कई जिलों में मोबाइल इंटरनेट सेवाओं के निलंबन को बढ़ा दिया है। तीन नए अधिनियमित खेत कानूनों के खिलाफ किसान पिछले साल 26 नवंबर से राष्ट्रीय राजधानी की विभिन्न सीमाओं पर विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। इस आंदोलन की आड़ में 26 जनवरी को लालकिले पर हिंसक उपद्रव हुआ था। जिसके बाद दिल्ली पुलिस काफी सख्त हो गई और सीमाओं पर काफी कड़ी बैरेकेडिंग कर दी गई।
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