-जंगल धूसड़ स्थित परीक्षा केंद्र के बाहर से किए गए अरेस्ट

-50 हजार रुपए की पेशगी, एग्जाम बाद ढाई लाख रुपए नकद

GORAKHPUR: स्टॉफ सेलेक्शन कमीशन की तैयारी कर रहे सॉल्वर गैंग से जुड़े बिहार के चार युवक पिपराइच एरिया में पकड़े गए। सोमवार शाम जंगल धूसड़ स्थित महाराणा प्रताप पीजी कालेज ऑनलाइन एग्जाम सेंटर के बाहर से पुलिस ने उनको अरेस्ट किया। पकड़े गए लोगों में एक परीक्षार्थी भी शामिल है। गैंग के सरगना कुंदनमणि सहित अन्य की तलाश में पुलिस जुटी है।

सोमवार को सेंटर के बाहर पकड़ा गया गैंग

सीओ क्राइम प्रवीण सिंह ने बताया कि एसएससी की परीक्षा थी। इस दौरान सूचना मिली कि नौसढ़ और जंगल धूसड़ स्थित ऑन लाइन सेंटर पर कुछ सॉल्वर एग्जाम देंगे। इसलिए पुलिस टीम के दोनों जगहों पर एक्टिव कर दिया गया। नौसढ़ में जिस अभ्यर्थी की जगह साल्वर को बैठना था वह नहीं आया। जबकि, जंगल धूसड़ में तीन साल्वर और अभ्यर्थी बाहर खड़े थे। पुलिस ने उनको पकड़ा तो पूछताछ में उनकी पहचान बिहार के जहानाबाद, मखदीमपुर के छकौड़ी बीघा निवासी बलजीत कुमार सिंह, नालंदा के लहेरी, पटेल नगर निवासी सुबोध कुमार, जहानाबाद के घोषी, थल्लू के राजेश कुमार, मनपुर के सिंधू निवासी राहुल के रूप में हुई। बलजीत असली परीक्षार्थी है। तीन अन्य सॉल्वर के रूप में सेंटर पर आए थे।

बलजीत का सिग्नेचर, लगी थी डिफरेंट फोटो

जांच में पता लगा कि बलजीत कुमार सिंह के पास दो एडमिट कार्ड हैं। एक पर बलजीत की फोटो और दूसरे पर किसी अन्य की तस्वीर चस्पा थी जबकि दोनों सर्टिफिकेट पर बलजीत के सिग्नेचर बने हुए थे। एग्जामनेशन सेंटर का नाम ई परीक्षा टेक्निकल कैम्पस जंगल धूषण निकट महाराणा प्रताप पीजी कालेज भट्ठा चौराहा पिपराइच रोड गोरखपुर लिखा था। पुलिस का कहना है कि लेट होने से वह भीतर नहीं जा पाए थे। सॉल्वर के ढाई बजे तक सेंटर पर पहुंचना था। लेकिन वे साढ़े तीन बजे पहुंचे।

यह हुई बरामदगी

चार सौ रुपए नकदी

एडमिट कार्ड

नौ आधार कार्ड

सात मोबाइल फोन

पांच पासर्पो साइज फोटो

एक निर्वाचन कार्ड

एक पैन कार्ड

आठ एटीएम कार्ड

गैंग वसूलता है ढाइर् लाख रुपए

एसएससी एग्जाम पास कराने के लिए साल्वर गैंग पेशगी के रूप में 50 हजार लेता है। जबकि एग्जाम के बाद ढाई लाख रुपए देने में सौदा तय होता है। बिहार में बैठे सरगना कुंदनमणि के इशारे पर प्रापर्टी डीलर सुबोध साल्वर की तलाश करता है। वह परीक्षार्थी की तलाश करके मामला तय कराता है। सौदा तय होने पर वह फर्जी तरीके से कूट रचित दस्तावेज और आधार कार्ड के साथ जरूरत के हिसाब से अन्य कागजात बनवा देता था। सुबोध ही सॉल्वर को गोरखपुर लेकर आया था। व्हाट्सअप के जरिए बातचीत करके गैंग के सदस्य काम करते हैं। कुंदन ने सुबोध के साल्वरों के साथ गोरखपुर भेजा था। जंगल धूसड़ परीक्षा केंद्र पर बलजीत सिंह की जगह राजेश को बैठना था

वर्जन

सॉल्वर गैंग का सरगना कुंदनमणि है। गोरखपुर में उसका किससे जुड़ाव है। इस बात की जानकारी जुटाई जा रही है। सर्विलांस की मदद से सभी के खिलाफ सबूत जुटाकर कार्रवाई होगी।

प्रवीण कुमार सिंह, सीओ क्राइम