लखनऊ (ब्यूरो)। मुजफ्फरनगर के बुटराडा नरसंहार के मामले में 16 वर्ष से फरार कुख्यात अपराधी देवेंद्र उर्फ नीटू को एसटीएफ ने गिरफ्तार कर लिया। एसटीएफ को सूचना मिली थी कि वह देवेंद्र मुजफ्फरनगर के थाना भौपा अंतर्गत भौकरहेडी गांव स्थित अपने घर पर आया है जिसके बाद टीम ने घेराबंदी कर ली और उसे दबोच लिया। ध्यान रहे कि बुटराडा नरसंहार वर्ष 2003 में हुआ था जिसमें प्रधानी की रंजिश को लेकर छह लोगों की निर्मम तरीके से हत्या कर दी गयी थी। इस प्रकरण की जांच सीबीसीआईडी ने की थी जिसने नीटू समेत पांच आरोपितों पर चार्जशीट दाखिल की थी।

तीन तलाक : मारपीट कर घर से निकाला तो FIR दर्ज कर गिरफ्तारी के लिए खोज रही पुलिस

मामा की हत्या का लिया बदला

पूछताछ में नीटू ने बताया कि 1997 से वह अपने मामा मदन के यहां रहकर तितावी शुगर मिल में इलेक्ट्रीशियन की नौकरी करता था। तभी उसके दूसरे मैनपाल की हत्या गांव के रामकिशन के द्वारा प्रधानी को लेकर करा दी गई थी। इस कारण उसके मामा के परिवार व रामकिशन के परिवार के मध्य रंजिश चल रही थी। उन्होंने रामकिशन को मारने की योजना बनाई और नीटू कैल गिरोह को इसके लिए एक लाख रुपये दिए। इसके बाद 14 अक्टूबर 2003 को नीटू व बिट्टू कैल गिरोह ने शामली पुलिस से रेलवे स्टेशन से छीनी गई कारबाइन व अन्य असलहों से रामकिशन, रिजवान व उसका भाई रिहान, सतेन्द्र, सुनील व मारूफ  की हत्या कर दी। बाद में सुरेश, ईश्वर, कंवरपाल कोर्ट में हाजिर हो गये तथा मदन व ओमपाल दोनों को पुलिस ने पंजाब व हरियाणा से गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। वहीं रामभजन जो आरपीएफ में तैनात था, को वर्ष-2012 में पचास हजार रूपये का इनाम होने पर एसटीएफ द्वारा गिरफ्तार किया गया था। नीटू कैल को वर्ष 2004 में पुलिस मुठभेड़ में मार गिराया गया। गैंग की कमान बिट्टू कैल ने संभाली जो वर्ष 2014 में एनकाउंटर में ढेर कर दिया गया। मदन व सुदेश पहलवान को को कोर्ट ने फांसी की सजा व ईश्वर को आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी। ओमपाल की पिछले वर्ष जेल हार्ट अटैक से मौत हो गयी थी।

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