-आई नेक्स्ट की मुहिम 'पॉवर का मामला' के साथ स्कूल के छात्र और शिक्षक भी जुड़े

-क्लास रूम मे लास्ट पीरियड के बाद मानीटर व क्लास टीचर लाइट के स्विच ऑफ करके जाते हैं

KANPUR:

पॉवर सेविंग के मामले में स्टूडेंट्स के साथ-साथ टीचर और स्कूल मैनेजमेंट भी अवेयर हैं। स्कूलों में अब बल्ब की रोशनी बीते जमाने की बात हो गई है। अब ज्यादातर सभी स्कूलों में सीएफएल का यूज हो रहा है। वहीं बदलाव की जो बयार चल रही है, उसमें एलईडी पर फोकस किया जा रहा है। अहम बात यह है कि आई नेक्स्ट की मुहिम 'पॉवर का मामला' को इनका फुल सपोर्ट मिला। छात्रों का कहना है कि बिजली बचाएंगे तो हमारे राष्ट्र का ही फायदा होगा। चाहे रीडिंग रूम हो या फिर क्लास रूम, स्टूडेंट्स काम खत्म होते ही स्विच ऑफ कर देते हैं। स्कूल एडमिनिस्ट्रेशन ने तो बाकायदा इसकी जिम्मेदारी क्लास टीचर और मॉनीटर को सौंप रखी है। सर पदमपत सिंहानिया एजुकेशन सेंटर मे स्विच बोर्ड पर पॉवर सेविंग के स्टीकर भी लगाए गए हैं।

नेचुरल लाइट का भरपूर इस्तेमाल

पॉवर सेविंग के लिए स्टूडेंट्स काफी जागरूक हैं। उनका कहना है कि घर हो या फिर स्कूल, बिजली की जितनी जरूरत होती है उतना ही प्रयोग करते हैं। अगर सूरज की पर्याप्त रोशनी मिल रही होती है तो फिर लाइट बंद कर देते हैं। टीवी के चैनल लगातार नहीं बदलते हैं। क्योंकि ज्यादा चेंज होने पर बिजली की खपत भी ज्यादा होती है। रूम जैसे ही ठंडा हो जाता है, तुरंत एसी बंद कर देते हैं।

हर संभव बचत कर रहे हैं

टीचर्स का कहना है कि घर में जहां पर लाइट की जरूरत होती है, वहीं पर जलाते हैं। एसी की सर्विस प्रायोरिटी पर रहती है। भ् स्टार एसी का यूज कर रहे हैं, जिससे कम पॉवर की खपत हो। टीवी बंद करने के बाद प्लग भी निकाल देते हैं। घरों में सीएफएल को रिप्लेस करके एलईडी लगाना शुरू कर दिया है। दो महीने में पूरे घर में एलईडी लाइट का प्रयोग शुरू कर देंगे। टीचर्स का कहना है कि आई नेक्स्ट पॉवर सेविंग को लेकर जो मुहिम चला रहा है, वो वाकई में काबिले तारीफ है।

अब टीवी का प्लग निकाल देंगे

बीएनएसडी शिक्षा निकेतन इंटर कॉलेज बेनाझाबर की कुछ टीचर्स का कहना है कि टीवी का स्विच बंद कर देते हैं, लेकिन अब आई नेक्स्ट से जानकारी मिली है कि प्लग हटाने पर ही फायदा होता है तो अब इस पर पूरा फोकस करेंगे। हालांकि हमारे स्कूल में जो भी न्यू बिल्डिंग बन रही है, उसमें एलईडी का यूज किया जा रहा है। कुछ टाइम में ही पूरे स्कूल में एलईडी लाइट्स का यूज शुरू कर दिया जाएगा।

लाइट की जरूरत होती है, तभी जलाते हैं। सीएफएल की जगह एलईडी का प्रयोग शुरू कर दिया है। जो भी घरेलू इलेक्ट्रानिक्स प्रोडक्ट्स यूज करते हैं, वह पॉवर सेविंग वाले हैं।

-वीएस मुदगिल, प्रिंसिपल, सर पदमपत सिंहानिया(फोटो नं। 9फ्ख्9)

पॉवर सेविंग के लिए जो भी एहतियात बरतनी होती है, वह बरत रही हूं। पहले की तुलना में बिल कम आने लगा है।

-हरप्रीत कौर, टीचर(फोटो नं9फ्ख्0)

हर संभव प्रयास यही रहता है कि बिजली की बचत ज्यादा से ज्यादा कर लें, ताकि देश के विकास में कुछ योगदान किया जा सके।

-सौरभ सिंह, टीचर (फोटो नं। 9फ्क्7)

हमारा पहला प्रयास है कि स्कूल में बिजली की जितनी खपत हो, उतनी ही प्रयोग की जाए। एलईडी का यूज शुरू कर दिया है।

-आशीष भार्गव, मैनेजर (फोटो नं.9फ्फ्म्)

अब घर में सीएफएल की जगह एलईडी लगाने की कवायद शुरू कर दी गई है। जहां जरूरत होती है वहीं लाइट जलाते हैं।

-अभय गौड़, टीचर

जिस तरह से बिजली की किल्लत होती है, उसका हमें अहसास है। हम बिजली बचत के सभी उपाय करते हैं

-प्रखर केशरवानी, छात्र -9ख्9ख्

हम क्लास के साथ-साथ घर में भी बिजली का उतना ही यूज करते हैं जितनी जरूरत होती है।

-नलिन कक्कड़, छात्र - 9ख्9ब्

पॉवर को लेकर हम सभी लोग जागरूक हैं। घर मे पेरेंट्स ने ऐसे उपकरण खरीदे हैं, जिनमें बिजली की कम खपत होती है।

-अगम सिंह, छात्र,

स्कूल में अगर किसी क्लास में छात्र नही हैं और फैन या लाइट का यूज हो रहा है तो फिर हम उसे बंद कर देते हैं।

-निष्ठा, छात्रा

सुबह घर में पढ़ाई के टाइम जैसे ही सन लाइट मिलती है, हम सबसे पहले लाइट ऑफ कर देते हैं।

-यशी, छात्रा

एसी की प्रॉपर सर्विस पर फोकस करती हूं। इसके अलावा फ्रिज भी भ् स्टार का यूज कर रही हूं। सीएफएल भी बदल रही हूं।

-मंजू शुक्ला, वाइस प्रिंसिपल बीएनएसडी शिक्षा निकेतन बेनाझाबर

हकीकत यह है कि टीवी का प्लग रात में नहीं निकालते हैं, लेकिन अब जानकारी हो गई है इस पर भी अमल करेंगे।

-रश्मि त्रिपाठी, टीचर

अब जो नया घर बनवाया है, उसमें एलईडी लाइट्स का यूज कर रहे हैं। एसी भी ऐसा खरीदा है, जिसमें पॉवर कम खर्च हो।

-सुनील शुक्ला, टीचर

बिजली की बचत को लेकर हम हमेशा जागरूक रहे हैं। अब भी एलईडी का यूज कर रही हूं। एसी जरूरत पड़ने पर ही चलाते हैं।

-ममता तिवारी, टीचर

करीब तीन साल पहले सीएफएल का प्रयोग शुरू किया था, लेकिन अब एलईडी का यूज शुरू कर दिया है। बिजली की बचत के जितने सिस्टम है, सब पर फोकस रहता है।

-आकांक्षा सक्सेना, टीचर

जब स्कूल की छात्र संसद की प्राइम मिनिस्टर थी, उस वक्त पॉवर सेविंग पर फोकस किया था। अब आदत बन गई है।

-हर्षिता मालवीय, छात्रा

हम क्लास में रहते हैं अगर सन लाइट अच्छी तरह से मिल रही है तो फिर लाइट बंद कर देते हैं। घर में भी बिजली बचत पर फोकस करती हूं।

-नव्या सक्सेना, छात्रा

घर में गर्मी के टाइम भी सुबह दो घंटे फ्रिज बंद रखते हैं। इसके अलावा एसी की प्रॉपर सर्विस भी कराते हैं।

-सत्यम पांडेय, छात्र

कई बार दिन में स्ट्रीट लाइट जलते नजर आती हैं। अगर स्विच मिल गया तो हम रुक कर उसे बंद कर देते हैं। आखिरकार नुकसान तो हमारा ही है।

-कनिष्क सिंह, छात्र