-कड़ाके की ठंड के बीच अभी भी बेसिक स्कूल के बच्चों को स्वेटर का इंतजार

- स्वेटर के लिए 161 रुपये में हुआ टेंडर, बांटने से पहले ही क्वालिटी को लेकर उठा सवाल

ठंड इन दिनों चरम पर है। सन-सन बहती हवाओं में शरीर सुन्न पड़ जा रहा है। सबसे ज्यादा दिक्कत इस मौसम में छोटे बच्चों को हो रही है। लेकिन शायद शिक्षा विभाग को ठंड नहीं लग रही है। जी हां, क्योंकि बेसिक स्कूल के बच्चों को ठंड से बचाने के लिए सरकार स्वेटर बांटती है। पर इस बार अभी तक बच्चों के बदन पर सरकारी स्वेटर नहीं चढ़ पाया है। जबकि जेम पोर्टल के जरिये 161 रुपये की दर से स्वेटर खरीदने का आदेश अक्टूबर में ही जारी किया जा चुका है। वहीं शासन की ओर से स्वेटर का अधिकतम मूल्य 200 रुपये निर्धारित है। ऐसे में अधिकतम मूल्य से 39 रुपये कम दर पर स्वेटर के लिए टेंडर हुआ है। पर ऐसा लग रहा है कि बच्चों तक स्वेटर पहुंचने में मार्च अप्रैल आ जाएगा।

184646 को स्वेटर का इंतजार

टीचर्स का कहना है कि आज महंगाई के दौर में 161 रुपये में तो ऊन तक नहीं मिल रहा है। ऐसे में इतने कम रेट में अच्छी क्वालिटी का ऊनी स्वेटर मिलना मुश्किल है। यह स्वेटर कितना गर्म करेगा समझा जा सकता है। बहरहाल डिस्ट्रिक्ट के 1368 बेसिक स्कूल्स में रजिस्टर्ड 184646 बच्चों को स्वेटर का इंतजार है। बच्चों को स्वेटर मिले तो उनको ठंड से मिले निजात।

बढ़ी डेट का भी नहीं मिला फायदा

वहीं शासन ने बच्चों में स्वेटर वितरित करने की मियाद 30 नवंबर की थी। लेकिन दिसंबर भी बीतने वाला है लेकिन अभी टेंडर प्रक्रिया में ही स्वेटर उलझा है।

मैरुन रंग का चार साइजों में होगा स्वेटर

-कक्षा एक व दो के बच्चों के लिए 'एस' साइज

-कक्षा तीन व चार के बच्चों के लिए 'एम' साइज

-कक्षा पांच व छह के बच्चों के लिए 'एल' साइज

-कक्षा छह से आठ के बच्चों के लिए 'एक्सएल साइज'