-सीएमओ ने दिए निर्देश, स्कूलों में चलेगी स्पेशल ड्राइव

-स्कूलों में फॉगिंग और एंटी लारवा का होगा छिड़काव

Meerut जिले में डेंगू और चिकनगुनिया के प्रकोप को देख कर स्वास्थ्य विभाग अब स्कूलों में स्पेशल ड्राइव चलाने जा रहा है। सीएमओ ने सभी अफसरों को स्कूलों में ड्राइव चलाकर बच्चों को जानलेवा बुखार से अवेयर करने के निर्देश दिए हैं।

क्या है मामला

शहर में इस समय बुखार का प्रकोप जारी है। रोजाना डेंगू और चिकनगुनिया के नए-नए मामले सामने आ रहे हैं। जबकि बच्चों में इस जानलेवा बुखार की शिकायतें अधिक देखने को मिली है। ऐसे में स्वास्थ विभाग ने बच्चों पर अधिक फोकस करने का प्लान तैयार किया है। प्लान के अनुसार विभाग अब स्कूलों में बुखार को लेकर स्पेशल ड्राइव चलाएगा। ड्राइव के अंतर्गत सरकारी डॉक्टर्स स्कूलों में जाकर बच्चों को बुखार का पाठ बढ़ाएंगे। इस दौरान बच्चों को डेंगू, चिकनगुनिया व मलेरिया बुखार के लक्षण, बचाव और इलाज के बारे में बताया जाएगा।

इम्यूनिटी सिस्टम का खेल

डॉक्टर्स की मानें तो बड़ों की अपेक्षा बच्चों का इम्यूनिटी सिस्टम काफी कम होता है। ऐसे में बच्चे बीमारी को जल्द पकड़ते हैं। जिला मलेरिया अधिकारी डॉ। योगेश सारस्वत ने बताया कि ड्राइव के दौरान बच्चों को बुखार आदि से दूर रहने के उपाय बताए जांएगे। इसके साथ ही उनको फुल बाजू के कपड़े और मौजे पहनने को लेकर प्रोत्साहित किया जाएगा।

एंटी लार्वा का होगा छिड़काव

डॉ। सारस्वत ने बताया कि डेंगू से बचाव को लेकर स्कूलों में फॉगिंग से लेकर एंटी लार्वा का छिड़काव किया जाएगा। सीएमओ के निर्देश पर इसके लिए विशेष टीम का गठन किया जा रहा है। वहीं फॉगिंग कराने के लिए नगर निगम को पत्र लिखा गया है।

सीएमओ ने स्कूलों को फोकस करने के निर्देश दिए हैं। इसके लिए स्पेशल ड्राइव चलाई जाएगी। इस दौरान बच्चों को डेंगू से बचाव के उपाय बताए जाएंगे।

-डॉ। योगेश सारस्वत, डीएमओ

वायरल से ऐसे करें बचाव

मेरठ। केएमसी ग्रुप के निदेशक व वरिष्ठ सर्जन डॉ। सुनील गुप्ता ने संस्थान में आयोजित एक कार्यक्रम के दौरान वायरल बुखार से होने वाले बचाव के बारे में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि किस प्रकार से वायरल बुखार होने से बचा जा सकता है।

- घर में या फिर उसके आसपास पानी का न रूकने दें।

- यदि कहीं पानी रूका है तो उसमें मिट्टी का तेल डाल दें।

- सोते समय मच्छरदानी का प्रयोग अवश्य करें।

- घर में सफाई का विशेष ध्यान देना

- शरीर को कपड़े से ढककर रखें

- पानी का अधिक उपयोग करें