-पिछले महीने ही इंस्पेक्शन कर डायरेक्टर ने नर्सो को लगाई थी फटकार

-सर्जरी विंग के डी 2 में एडमिट मरीज कर रहे कंप्लेन

RANCHI: रिम्स में यूज्ड सिरिंज का यूज बंद होने का नाम नहीं ले रहा है। सर्जरी विंग के डी 2 में मरीजों को फिर एक ही सिरिंज से बार-बार इंजेक्शन दिया जा रहा है। जबकि पिछले महीने ही रिम्स में इस तरह की शिकायत होने पर डायरेक्टर ने हास्पिटल का निरीक्षण कर नर्सो को सख्त हिदायत दी थी। इसके बावजूद नर्स अपनी आदतों से बाज नहीं आ रही हैं। इतना ही नहीं स्वास्थ्य मंत्री भी रिम्स की व्यवस्था को लेकर लगातार दौरा कर रहे हैं, लेकिन सब बेकार साबित हो रहा है।

बीपीएल भी बाहर से खरीद रहे दवा

हास्पिटल में बीपीएल मरीजों के इलाज व दवा की मुफ्त व्यवस्था है। इसके बावजूद मरीजों को बाहर से दवा खरीदनी पड़ रही है। सर्जरी विंग के डी 2 में एडमिट गढ़वा के संजय पासवान ने बताया कि उन्हें बाहर से दवाएं खरीदनी पड़ी है। संजय बताते हैं कि उन्हें जो टेस्ट कराने के लिए लिखा गया है, वो रिम्स में नहीं होने की बात कही जा रही है। टेस्ट का खर्च बाहर के लैब में कराने पर 6-7 हजार रुपए बताया गया है। यह सुनकर उसके परिजन परेशान हैं कि टेस्ट के लिए इतने पैसे कहां से लाएंगे। वहीं रोशन मिश्रा भी डी 2 में भर्ती है। उन्हें भी एक ही सिरिंज से कई बार इंजेक्शन दिया जा रहा है।

अटेंडेंट लगा रहे इंजेक्शन

सर्जरी डी 2 में मरीजों की बढ़ी संख्या के बावजूद एक ही नर्स को ड्यूटी पर लगाया गया है। ऐसे में मरीजों के परिजन खुद ही जेल्को में इंजेक्शन लगा रहे है। वहीं जिन लोगों को जानकारी है वह टाइम होने पर दवाएं भी मरीज को खुद ही दे रहे हैं। वहीं कई बार परिजनों ने नर्स की ड्यूटी से गायब रहने की भी शिकायत की।

वर्जन

मुझे इसकी जानकारी मिली है। इसमें जो भी दोषी होगा उसे निकाला जाएगा। वहीं बीपीएल मरीज द्वारा दवा खरीदने की बात है, तो इस मामले को भी देखा जाएगा।

-डॉ.एस हैदर, डायरेक्टर, रिम्स