- सपा के जुलूस का वीडियो वायरल होने पर पुलिस ने की कार्रवाई

-कोर्ट से जमानत पर रिहा हुए आरोपी

आगरा। समाजवादी पार्टी के जुलूस में पाकिस्तान ¨जदाबाद के नारे लगने का वीडियो वायरल होने पर गुरुवार शाम पुलिस हरकत में आ गई। जांच के बाद देर रात गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज कर पांच नामजद आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया। कोर्ट से सभी जमानत पर रिहा हो गए।

रिपोर्ट में 20-25 अज्ञात आरोपी

एसपी सिटी बोत्रे रोहन प्रमोद ने बताया कि इंटरनेट मीडिया पर सपा के जुलूस के वायरल वीडियो की जांच की गई। देर रात नाई की मंडी थाने में दारोगा विकास राणा की ओर से नारेबाजी करने वाले युवकों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया। इसमें सुल्तानगंज पुलिया निवासी पंकज सिंह, आरिफ खान, चंद्रप्रकाश, दीपक वाल्मीकि और मधुकर सिंह को नामजद किया गया। पांचों नामजद आरोपितों को गिरफ्तार कर शुक्रवार को कोर्ट में पेश किया गया। कोर्ट में न्यायिक रिमांड स्वीकृत होने के बाद आरोपी पक्षकी ओर से जमानत को प्रार्थना पत्र दिया गया। जमानत अर्जी स्वीकृत होने पर उन्हें रिहा कर दिया गया।

सपा ने झाड़ा पल्ला

जुलूस में पाकिस्तान ¨जदाबाद का नारा लगाने वाले युवकों से सपा ने पल्ला झाड़ लिया है। महानगर अध्यक्ष चौधरी वाजिद निसार का कहना है कि उक्त युवक सपा कार्यकर्ता नहीं हैं। वरिष्ठ नेतृत्व भी वायरल वीडियो मामले में नजर रखे हुए है। पता लगाया जा रहा है कि यह युवक इससे पहले पार्टी के किन-किन कार्यक्रमों में शामिल हुए हैं।

इन धाराओं में दर्ज हुआ मुकदमा

-आईपीसी की धारा 147- उपद्रव करने का दोषी। इसके तहत दो वर्ष तक का कारावास और अर्थदंड का प्रविधान है।

-आईपीसीकी धारा 188-किसी भी लोक सेवक द्वारा जारी किए गए आदेश को न मानना। इसके तहत एक माह तक का कारावास या अर्थिक दंड दिया जा सकता है।

-आईपीसी की धारा 269- विधि विरुद्ध रूप से या उपेक्षा से ऐसा कार्य, जिससे जीवन के लिए संकटपूर्ण किसी रोग का संक्रमण फैलना संभाव्य हो। इसके तहत छह माह का कारावास या आर्थिक दंड का प्रविधान है।

-आईपीसीकी धारा 270- परिद्वेषपूर्ण कार्य, जिससे जीवन के लिए संकटपूर्ण रोग का संक्रमण फैलना संभाव्य हो। इसके तहत दो वर्ष का कारावास या आर्थिक दंड दिए जाने का प्रविधान है।

-आईपीसी धारा 153 बी- राष्ट्रीय अखंडता पर प्रतिकूल प्रभाव डालने वाले लांछन या प्राख्यान करना। इसके तहत तीन वर्ष का कारावास या आर्थिक दंड का प्रविधान है।

-आईपीसीकी धारा 505 (2)-विभिन्न समुदायों के बीच शत्रुता, घृणा व वैमनस्य की भावना पैदा करना। इसके तहत तीन वर्ष का कारावास या आर्थिक दंड दिए जाने का प्रविधान है।

-आईपीसी की धारा 120 बी-साजिश में शामिल होना। तीन वर्ष का कारावास या अर्थदंड या दोनों।

क्या कहते हैं कानूनविद

पाकिस्तान से हमारे देश के संबंध अच्छे नहीं हैं। ऐसे में उस देश के समर्थन में नारेबाजी करना अपराध की श्रेणी में आता है। इसमें नारेबाजी करने वाले की नीयत को देखकर आइपीसी की धारा 153 बी की तहत मुकदमा दर्ज किया जा सकता है।

डॉ। हरिदत्त शर्मा, वरिष्ठ अधिवक्ता।

शत्रु राष्ट्र का सार्वजनिक रूप से गुणगान करना अपराध की श्रेणी में आता है। अगर कोई सार्वजनिक रूप से पाकिस्तान के समर्थन में नारेबाजी करता है तो अपराध की श्रेणी में आएगा। इसमें आइपीसी की धारा 153 बी और आईपीसी की धारा 505 (2)के तहत मुकदमा दर्ज किया जा सकता है।

-दुर्ग विजय सिंह, वरिष्ठ अधिवक्ता।