-69000 शिक्षक भर्ती में हाईकोर्ट के आदेश के बाद अब शासन के पाले में गेंद

-शासन का निर्देश मिलने के बाद सुप्रीम कोर्ट के डायरेक्शन के अनुसार शुरू होगी भर्ती प्रक्रिया

-सुप्रीम कोर्ट के डायरेक्शन से भी चेंज हो जायेगा पूरा रिजल्ट, नए सिरे से जारी करनी पड़ेगी काउंसिलिंग के लिए लिस्ट

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PRAYAGRAJ: सूबे के परिषदीय स्कूलों में सहायक अध्यापक के 69 हजार पदों पर भर्ती प्रक्रिया पर हाईकोर्ट के डबल बेंच के फैसले ने अभ्यर्थियों की बड़ी राहत दी। हाईकोर्ट के निर्णय के बाद अब भर्ती प्रक्रिया आगे बढ़ाने के लिए गेंद सरकार के पाले में चली गई है। बेसिक शिक्षा परिषद भी सरकार के निर्देश के इंतजार में है। सरकार का निर्देश मिलने के बाद भर्ती प्रक्रिया के लिए आगे की स्थिति स्पष्ट हो जाएगी।

बढ़ गई उम्मीदें

69000 भर्ती पर आया संकट हाईकोर्ट के निर्देश के बाद हट गया है। इससे लिखित परीक्षा पास करने के बाद नियुक्ति के इंतजार में बैठे अभ्यर्थियों की उम्मीदें बढ़ गई है। हालांकि हाईकोर्ट के आदेश मिलने के बाद शुक्रवार की शाम तक शासन की ओर से काउंसिलिंग शुरू कराने को लेकर कोई निर्देश जारी नहीं हो सका था। जबकि अभ्यर्थियों का कहना था कि सिंगल बेंच के निर्देश मिलते ही काउंसिलिंग रोक दी गई थी। ऐसे में डबल बेंच का आदेश मिलने के बाद काउंसलिंग और नियुक्ति की प्रक्रिया भी तेजी से शुरू करायी जाए।

सीएम के नाथ संप्रदाय से जुड़े प्रश्न पर भी था विवाद

सहायक अध्यापकों के 69000 पदों पर नियुक्ति की लिखित परीक्षा के बाद अभ्यर्थियों की तरफ से 150 में से 142 प्रश्नों पर आपत्तियां दर्ज करायी गई थी। इसमें सीएम योगी आदित्यनाथ के नाथ संप्रदाय के प्रवर्तक कौन थे। इस प्रश्न के आंसर पर भी अभ्यर्थियों ने आपत्तियां दर्ज करायी थीं। इसको लेकर भी काफी चर्चा रही। वहीं 142 प्रश्नों पर आपत्तियां दर्ज कराने वाले अभ्यर्थियों की संख्या करीब 20 हजार थी। हालांकि परीक्षा नियामक की ओर से इन आपत्तियों को स्वीकार नहीं किया गया था। सिर्फ तीन प्रश्नों के विवाद को स्वीकार करते हुए उसका निस्तारण किया गया था। ऐसे में हाईकोर्ट की डबल बेंच के आदेश के बाद 142 प्रश्नों को लेकर चल रहा विवाद भी आखिरकार खत्म हो गया। इसके बाद सुप्रीम कोर्ट के डायरेक्शन के अनुसार बचे पदों पर काउंसलिंग कराने और नियुक्ति पत्र देने का रास्ता साफ हो गया।

गड़बड़ी करने वाले सेंटर्स की जाएगी मान्यता

शिक्षक भर्ती परीक्षा के समय से ही नकल कराने और पेपर आउट होने को लेकर मामले सामने आने लगे थे। लेकिन उस समय सरकार ने पेपर आउट होने के मामले से इंकार कर दिया था। पिछले कुछ दिनों में बड़ी संख्या में नकल माफियाओं के पकड़े जाने के बाद मामला फिर से सुर्खियों में आ गया। ऐसे में सरकार भी पूरे एक्शन में आ गई है। अधिकारियों के मुताबिक ऐसी गड़बड़ी करने वाले स्कूलों को चिन्हित करने का क्रम शुरू हो गया है। ऐसे स्कूलों को चिन्हित करके उनकी मान्यता खत्म करने की तैयारी पर भी विचार हो रहा है। हालांकि इस मान्यता खत्म करने को लेकर अभी कोई भी अधिकारी स्पष्ट रूप से कुछ भी कहने से बच रहे हैं। लेकिन दबी जुबान में इस को स्वीकार कर रहे हैं।

शासन के आदेश के अनुसार आगे की प्रक्रिया पूरी करायी जाएगी। अभी तक शासन की ओर से बेसिक शिक्षा परिषद को कोई नया निर्देश नहीं मिला है।

-विजय शंकर मिश्र

सचिव, बेसिक शिक्षा परिषद