प्रमुख सचिव बेसिक शिक्षा व निदेशक बेसिक शिक्षा से व्यक्तिगत हलफनामा तलब

prayagraj@inext.co.in

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने 17 साल से वेतनमान के लिए भटक रही प्राइमरी विद्यालय की चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी के साथ न्याय किया है। कोर्ट ने निदेशक बेसिक शिक्षा को आदेश दिया है कि दो हफ्ते के भीतर पांच लाख रुपये का याची को भुगतान करें और साथ ही प्रमुख सचिव बेसिक शिक्षा तथा निदेशक बेसिक शिक्षा उत्तर प्रदेश प्रयागराज से एक हफ्ते में हलफनामा मांगा है। याचिका की सुनवाई अब तीन दिसंबर को होगी।

यह आदेश न्यायमूर्ति अशोक कुमार ने श्रीमती अवध रानी की अवमानना याचिका पर दिया है। मालूम हो कि कोर्ट ने निदेशक के आदेश को रद करते हुए याची को चतुर्थ श्रेणी कर्मी का वेतनमान देने का आदेश दिया था और कहा था कि 1983 से लेकर 2001 तक के वेतन भुगतान अंतर का बैंक दर से ब्याज लगाकर भुगतान किया जाए। कोर्ट ने निदेशक पर पांच हजार रुपये हर्जाना भी लगाया था।

अवमानना याचिका पर फैसला

इस आदेश का पालन नहीं किया गया तो आठ माह बाद याची ने अवमानना याचिका दाखिल की। सरकार ने एकल पीठ के आदेश के खिलाफ विशेष अपील दाखिल की, किंतु सरकार को कोई राहत नहीं मिली, जो बाद में अदम पैरवी में खारिज हो गई। सरकार की तरफ से पुनस्र्थापना अर्जी दाखिल की गई है, जो विचाराधीन है। कोई अंतरिम आदेश सरकार के पक्ष में नहीं है। कोर्ट ने कहा पिछले 17 साल से गरीब वादकारी को परेशान किया जा रहा है।