प्रयागराज (ब्‍यूरो)। जहां देखिए वहां बमबाजी। ये शहर प्रयागराज है, यहां झगड़ा हुई नहीं कि बमबाजी शुरू हो गई। यूनिवर्सिटी के हॉस्टलरों के बीच बमबाजी की बात सामान्य हो चुकी है। ईश्वर शरण डिग्री कालेज के पास बमबाजी की घटना कई दिनों तक चर्चा में रह चुकी है। गद्दोपुर में एक युवक की बम मारकर हत्या की जा चुकी है। वहीं, पुलिस खुद आए दिन अपराधियों को बम के साथ गिरफ्तार करती है। पुलिस बताती भी है कि बम के साथ वांछित को गिरफ्तार किया गया। ऐसे में सवाल उठना लाजमी है कि आखिर बम आता कहां से है। पुलिस बम का सामान बेंचने वालों पर सख्त कार्रवाई क्यों नहीं करती है। जबकि बमबाजी की घटना आम हो गई है।

बमबाजी के लिए मशहूर है प्रयागराज

बमबाजी के लिए प्रयागराज दूर दूर तक मशहूर है। बम से हमले की घटनाएं प्रयागराज में करीब चार दशक पहले शुरू हुईं। बम से हमला करवाने की घटनाओं को माफिया अतीक अहमद ने शुरू करवाया। अतीक अहमद ने माफियागिरी में कदम रखा तो इसके बाद बमबाजी की घटनाएं आम हो गईं। जिसका नतीजा रहा कि गली गली में घूमने वाले छुटभैये बदमाशों ने भी बम को इस्तेमाल करना शुरू कर दिया। और अब तो बमबाजी न जाने कब हो जाए, कुछ बताया, कहा नहीं जा सकता है।

ये बताते हैं पुलिस रिकार्ड
- धूमनगंज का श्रीराम पांच बज के साथ गिरफ्तार।
- झूंसी का अमर बहादुर बिंद पांच बम के साथ गिरफ्तार
- जार्जटाउन से रजत पासी और राहुल को एक बम के साथ पकड़ा गया।
- सिविल लाइंस से अबू तालिब दो बम के साथ गिरफ्तार।
- धूमनगंज से फिरोज मोमिन दो बम के साथ गिरफ्तार।

हॉस्टलरों के बीच बम चलना आम बात
पिछले दिनों हालैण्ड हॉल और एसएसएल हॉस्टल के छात्रों के बीच कहासुनी के बाद पत्थरबाजी हुई और इसके बाद जमकर बम चले। इस मामले में कर्नलगंज पुलिस ने हालैण्ड हाल हॉस्टल के छात्र मृत्युंजय कुमार और सौरभ दीक्षित के अलावा एसएसएल हॉस्टल के अंकित कुमार को दस बम के साथ गिरफ्तार दिखाया है। यहां तक कि पुलिस ने एसएसएल हॉस्टल की छत पर भी बम बरामद किया था। हाल में दो हॉस्टलरों के बीच हुई बमबाजी की घटना कोई पहली बार नहीं हुई है। इसके पहले एसएसएल हॉस्टल और पीसीबी हॉस्टल के छात्रों के बीच बमबाजी की घटना हो चुकी है। मुस्लिम बोर्डिंग हॉस्टल के अंदर भी बमबाजी की घटना हो चुकी है।

कांपते हैं गुड्डू बमबाज के नाम से
इस शहर में गुड्डू बमबाज का नाम शायद ही कोई भूले। माफिया अतीक अहमद का दाहिना हाथ गुड्डू बमबाजी के लिए कुख्यात है। 24 फरवरी 2023 को धूमनगंज में उमेश पाल हत्याकांड में गुड््डू ने बमबाजी की थी। इस घटना में गुड्डू की बमबाजी सीसीटीवी में कैद है। करीब पच्चीस वर्ष पहले गुड््डू अपने बमबाजी के हुनर की वजह से अतीक गैंग में शामिल हुआ। इसके बाद वह अतीक के लिए काम करने लगा। उमेश पाल हत्याकांड में गुड््डू बमबाज अभी तक फरार है।

डिग्री कालेज के पास हो चुकी है बमबाजी
18 मई को ईश्वर शरण डिग्री कालेज के पास दो गुटों में जमकर बमबाजी हुई थी। एक गुट ने दूसरे गुट पर आधा घंटा तक बमबाजी की थी। बमबाजी में कई लोग घायल हो गए थे। इस मामले में पुलिस ने चार आरोपितों को पकड़कर जेल भेजा है। मगर यहां भी सवाल है कि आखिर बम आए कहां से।

बम मारकर हो चुकी है हत्या
31 मार्च की रात संदीप पाल की बम मारकर हत्या कर दी गई। गद्दोपुर का रहने वाला संदीप पाल दूध का धंधा करता था। शाम को वह अपना काम खत्म करके गद्दोपुर में बड़ी मस्जिद के पास अपने साथी रामनरेश के साथ पान खाने पहुंचा। पान की दुकान पर रूदापुर के अर्स से उसका विवाद हो गया। जान से मारने की धमकी देता हुआ अर्स वहां से चला गया। करीब बीस मिनट बाद वह लौटा। इसके बाद अर्स ने संदीप पाल पर बम से हमला कर दिया। एक बम लगते ही संदीप पाल के चिथड़े उड़ गए। मौके पर ही संदीप पाल की मौत हो गई।

बच्चा पासी से दहशत खाते थे लोग
एक दौर था जब धूमनगंज के बच्चा पासी से बमबाजी की वजह से लोग दहशत खाते थे। बच्चा पासी के साथ रहने वालों में कई बमबाजी से इतनी दहशत फैलाई कि आज भी उन घटनाओं को लोग याद करते हैं। चर्चित अपराधी बच्चा पासी ने हाल फिलहाल राजनीति का दामन थाम लिया है मगर कुछ दिनों पहले एक बार फिर बच्चा पासी का नाम गुण्डा टैक्स वसूलने के मामले में सामने आया था।


बमबाजी की घटनाओं को बेहद गंभीरता से लिया गया है। प्रयास किया जा रहा है कि उन लोगों को ट्रेस किया जाए जोकि बम बनाने का सामान बेचते हैं। ताकि बमबाजी की घटनाओंं को रोका जा सके।
राजेश यादव, एसीपी कर्नलगंज

03 छात्र गिरफ्तार हुए थे दस बम के साथ
10 बम मिला था एसएसएल हास्टल की छत पर
40 से ज्यादा अपराधी पकड़े जा चुके हैं बम के साथ
02 सौ ज्यादा बम बरामद कर चुकी है पुलिस
15 बम चले थे ईश्वर शरण डिग्री कालेज के पास