प्रयागराज ब्यूरो । अवैध टेलीफोन एक्सचेंज का मामला एटीएस के लिए गले की फांस बनता जा रहा है। मामला राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़ा होने की वजह से एटीएस मामले की तह तक जाना चाहती है। ऐसे में अब एटीएस पकड़े गए आरोपियों के मोबाइल सीडीआर को खंगाल रही है। एटीएस की तेजी इसी तरह से बरकरार रही तो उम्मीद है कि जल्द इस मामले के तमाम आरोपी सलाखों के पीछे होंगे।

कौशाम्बी और मुंडेरा मंडी निवासी सरफराज, वाजिद और अमन अवैध रूप से धूमनगंज में टेलीफोन एक्सचेंज का संचालन कर रहे थे। एटीएस ने इसका भंडाफोड़ किया था। मामले में एटीएस अब पकड़े गए तीनों आरोपियों के मोबाइल सीडीआर को खंगाल रही है। ताकि उन लोगों तक पहुंचा जा सके जो एक्सचेंज संचालन में इन तीनों की मदद करते थे। उम्मीद है कि इसके जरिए जल्द ही एटीएस बड़ा खुलासा करेगी।

कमरा देने वालों से भी पूछताछ

एटीएस ने अवैध टेली फोन एक्सचेंज संचालन के लिए कमरा देने वाले लोगों से भी पूछताछ की है। हालांकि इन लोगों का टेली फोन एक्सचेंज को लेकर कोई कनेक्शन नहीं मिला है। जानकारी इतनी ही हुई है कि लोकल रिलेशन के चलते इन लोगों ने कमरा दिया। मगर पुलिस या एटीएस चाहे तो इनके खिलाफ भी कार्रवाई कर सकती है। क्योंकि इनके घरों में अवैध रूप से टेलीफोन एक्सचेंज का संचालन हो रहा था। मगर अभी कोई ऐसी कार्रवाई नहीं की गई है।

मामला राष्ट्रीय सुरक्षा का है

अवैध टेलीफोन एक्सचेंज संचालन का मामला तूल पकड़ता जा रहा है। एटीएस मामले को बेहद गंभीरता से ले रही है। दरअसल, एक्सचेंज के जरिए वाइस ओवर इंटरनेट प्रोटोकॉल से लोगों को सस्ती कॉल मुहैया कराई जाती थी, ऐसे में फौरी तौर पर मामला राजस्व के नुकसान का तो बनता है बल्कि राष्ट्रीय सुरक्षा के लिहाज से भी इसे गंभीरता से लिया गया है, ऐसे में एटीएस अपनी जांच का दायरा लगातार बढ़ाती जा रही है।