नवरात्र की चतुर्थी पर भक्तों ने मां के कुष्मांडा स्वरूप का किया पूजन- अर्चन

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PRAYAGRAJ: आदि शक्ति मां भगवती सभी भक्तों की मनोकामना पूर्ण करती है। यही कारण है कि नवरात्र के पावन अवसर पर भक्त भी अपनी मां को रिझाने और उनकी आराधना में कोई कसर नहीं छोड़ना चाहते हैं। सुख व समृद्धि हासिल करने के लिए भक्तों की टोली पूरे नवरात्र मां की आराधना व उनकी पूजन में लीन रहती है। नवरात्र के चौथे दिन शुक्रवार को भक्तों ने मां के कुष्मांडा स्वरूप का पूजन और अर्चन किया। कलश स्थल पर दीप जलाकर दुर्गा सप्तशती का पाठ किया। मां को उनके प्रिय पुष्प, फल व अपने सामर्थ के अनुसार मिष्ठान आदि अर्पित किया। कोरोना महामारी को देखते हुए व्रती महिलाओं ने शारीरिक दूरी के मानक का पालन करते हुए घर में भजन-कीर्तन के जरिए मां भगवती की महिमा का बखान किया। शुक्रवार को मां अलोपशंकरी के दरबार में मेला लगा है। मां अलोपशंकरी के पालने का दर्शन-पूजन करने के लिए दूर-दूर से भक्त पहुंचे। इस दौरान भक्तों ने पालने में फूल-माला, चुनरी, नारियल व प्रसाद अर्पित किया।

दिन भर हुआ मुंडन, नामकरण संस्कार

मां अलोपशंकरी के दरबार में शुक्रवार को पूरे दिन मुंडन, नामकरण व कण छेदन का संस्कार चलता रहा। पारम्परिक मान्यता के अनुसार मां अलोपशंकरी के दरबार में यह संस्कार कराने से मां की विशेष कृपा भक्तों पर होती है। मां खेमा माई के दरबार में दर्शन-पूजन के लिए भक्तों के पहुंचने का सिलसिला दिनभर चला। भक्तों ने पूरी श्रद्धा के साथ मां के आगे मत्था टेका और उनका आर्शीवाद प्राप्त किया। उसके बाद परिक्रमा करके उनसे मनोवांछित फल प्राप्ति की कामना की। मां कल्याणीदेवी का दरबार भक्तों से भरा रहा। कोविड-19 नियम का पालन करते हुए भक्तों ने मां कल्याणी के दिव्य स्वरूप का दर्शन व पूजन किया। मां के दरबार में मत्था टेककर नारियल, चुनरी व पुष्प अíपत किए। शाम को मंत्रोच्चार के बीच श्यामजी पाठक ने मां के कूष्मांडा स्वरूप का श्रृंगार करके महाआरती उतारी। इस दौरान भक्तों ने आकाशभेदी जयकारों ने पूरे मंदिर परिसर को गुंजायमान कर दिया। मां ललिता देवी का रत्नजडि़त आभूषणों से कूष्मांडा स्वरूप का श्रृंगार करके पूजन हुआ। शाम को मां ललिता की महाआरती उतारी गई। मंदिर समिति के अध्यक्ष हरिमोहन वर्मा व महामंत्री धीरज नागर के निर्देशन में शतचंडी यज्ञ में आहुतियां डाली गई।

काली बाड़ी मंदिर में भी लगा रही कतार

नवरात्र के मौके पर मुट्ठीगंज स्थित काली बाड़ी मंदिर में भी दिन भर भक्तों की कतार लगी रही। हालांकि मंदिर के पास और मंदिर के अंदर सोशल डिस्टेसिंग का खास इंतजाम किया गया था। जिससे किसी भी प्रकार के संक्रमण को बढ़ने से रोका जा सके और कोविड 19 के नियमों का पालन हो सके। इस दौरान भक्तों ने विधि विधान से पूजन करके मां से शारीरिक, मानसिक, आर्थिक व भौतिक कष्टों से मुक्ति देने की कामना की।